Madhya Pradesh News: कोर्ट में हाजिर नहीं होने पर पूर्व सीएम शिवराज, वीडी शर्मा और भूपेंद्र के खिलाफ वारंट जारी

Former CM Shivraj, VD Sharma, Bhupendra yadav
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पूर्व सीएम शिवराज, वीडी शर्मा और भूपेंद्र के खिलाफ वारंट जारी
MPMLA court warrant in Defamation Case: मध्यप्रदेश से बड़ी खबर है। MPMLA कोर्ट ने अदालत में हाजिर न होने पर पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान, एमपी भाजपा अध्यक्ष वीडी शर्मा और पूर्व मंत्री भूपेंद्र सिंह के खिलाफ जमानती वारंट जारी किया है।

Madhya Pradesh News: MP-MLA कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, एमपी BJP अध्यक्ष वीडी शर्मा और पूर्व मंत्री भूपेंद्र सिंह के खिलाफ जमानती वारंट जारी किया है। कोर्ट ने अदालत में हाजिर न होने पर 500 रुपए का जमानती वारंट जारी किया है। कोर्ट ने अवमानना करने पर पिछली डेट को रिवाइज कर एक महीने पहले हाजिर होने का आदेश दिया। अदालत ने 7 मई 2024 को व्यक्तिगत उपस्थिति होने का आदेश दिया। तीनों नेता लगातार दो बार अदालत में सुनवाई से गैरहाजिर रहे। लोकल इलेक्शन में तीनों नेताओं ने विवेक तन्खा पर ओबीसी आरक्षण रुकवाने का आरोप लगाया था। उनके इस बयान से आहत विवेक तन्खा ने 10 करोड़ का मानहानि का केस दायर किया था।

तीनों ने कोर्ट में माफी आवेदन प्रस्तुत किया था
बता दें कि इससे पहले अभियुक्तगणों यानी तीनों ही नेताओं को कोर्ट ने इस मामले में 22 मार्च को उपस्थित होने का निर्देश दिया था, लेकिन उस दिन भी तीनों ही वरिष्ठ नेताओं ने व्यक्तिगत रूप से उपस्थित न होकर गैरहाजिरी माफी आवेदन प्रस्तुत किया और खुद को लोकसभा चुनाव में व्यस्त बताते हुए एक आवेदन और प्रस्तुत किया। आवेदन में नेताओं ने 7 जून तक का समय दिए जाने की मांग की। कोर्ट ने आवेदन स्वीकार करते ही एक शर्त रखी कि वे 2 अप्रैल को स्वयं उपस्थित होकर ये बात कोर्ट के सामने कहें। 2 अप्रैल को भी जब तीनों नेता MP-MLA कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए तो उनके खिलाफ जमानती वारंट जारी किया गया।

7 जून को उपस्थित होने का आवेदन खारिज
पूर्व मुख्यमंत्री के वकील ने कोर्ट में 7 जून को उपस्थित होने का आवेदन दायर किया था, जिसे कि खारिज कर दिया गया। लोकसभा चुनाव का हवाला देकर व्यक्तिगत उपस्थिति से बचने के लिए तीनों ही नेताओं ने कोर्ट में आवेदन किया था। एमपी/एमएलए कोर्ट की विशेष न्यायाधीश विश्वेश्वरी मिश्रा ने जारी आदेश में महत्वपूर्ण टिप्पणी की है। कोर्ट ने कहा कि सभी भाजपा के वरिष्ठ नेता हैं, वरिष्ठ नेताओं से कोर्ट के प्रति सम्मान दिखाने की अपेक्षा ज्यादा रहती है। व्यक्तिगत व्यस्तता बताकर न्यायालय के आदेशों का पालन न करने से आमजन में गलत मैसेज जाएगा।

ये है मामला
शिवराज सिंह चौहान, वीडी शर्मा और भूपेन्द्र सिंह ने लोकल इलेक्शन के दौरान आरोप लगाया था कि राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने ओबीसी आरक्षण रुकवाया था। अपने ऊपर लगे आरोप को देखते हुए विवेक तन्खा ने तीनों ही नेताओं पर 10 करोड़ रुपए का परिवाद दायर किया था। विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट (एमपी/एमएलए कोर्ट) श्रीमती विश्वेश्वरी मिश्रा ने विवेक तन्खा मानहानि मामले में पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा और पूर्व मंत्री भूपेन्द्र सिंह के खिलाफ जमानती वारंट जारी किया है। 2 अप्रैल को सुनवाई के दिन तीनों नेताओं को व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होना था, लेकिन वे कोर्ट नहीं हुए।

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