फतेहाबाद में अनोखी पहल: हरियाणा की पहली बालिका पंचायत में सरपंच बिटिया ने लिए ताबड़तोड़ फैसले, महिलाओं की बदलेगी जिंदगी

हरियाणा के फतेहाबाद के बरसीन गांव में बनी प्रदेश की पहली बालिका पंचायत ने ऐसा काम शुरू कर दिया है, जिसके देखकर सभी अचंभित रह गए हैं। गांव में महिलाओं के उत्थान के लिए इस अनोखी पंचायत ने कई अहम कदम उठाए हैं।

Updated On 2025-07-07 22:10:00 IST

फतेहाबाद में बालिका पंचायत में मौजूद सरपंच अस्तुति, पंच व अन्य मौजिज ग्रामीण। 

फतेहाबाद में अनोखी पहल : हरियाणा की फतेहाबाद जिला परिषद की पहल पर प्रदेश की पहली बालिका पंचायत ने अपना काम करना शुरू कर दिया है। बरसीन में 22 अप्रैल को पूरी वोटिंग के साथ गांव की लड़कियों ने इस बालिका पंचायत का चुनाव किया था। अब इसकी प्रथम बैठक का आयोजन ग्राम सचिवालय में किया गया। पहली ही बैठक में बालिका पंचायत की सरपंच अस्तुति कुमारी ने कई ताबड़तोड़ फैसले लिए, जो गांव में महिलाओं की जिंदगी बदल सकते हैं।

इस माह पूरे गांव की महिलाओं का होगा सर्वे

बैठक में तय किया गया कि जुलाई माह में बालिका पंचायत पूरे गांव का सर्वेक्षण करेगी। इसमें बेटियों और महिलाओं की स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार, पोषण और सुरक्षा संबंधी जानकारी एकत्रित की जाएगी। इस सर्वेक्षण के आधार पर गांव की बेटियों की आवश्यकताओं का आंकलन कर योजनाएं बनाई जाएंगी।

9 अगस्त को पहली बालिका बाल सभा

बालिका पंचायत में यह निर्णय भी लिया गया कि 9 अगस्त को पहली बालिका बाल सभा आयोजित की जाएगी, जिसमें पूरे गांव की बेटियां भाग लेंगी। इस बाल सभा में महिला अधिकारी उपस्थित होकर कानूनी अधिकारों, शिक्षा, स्वास्थ्य, बाल शोषण, लैंगिक समानता आदि विषयों पर संवाद करेंगी।

महिला पंच की जगह नहीं आएगा कोई प्रतिनिधि

बैठक में यह भी प्रस्ताव पारित किया गया कि ग्राम पंचायत की बैठकों में किसी महिला पंच की जगह उनके पति उपस्थित नहीं होंगे। भविष्य में केवल महिला पंच ही बैठकों में भाग लेंगी, जिससे महिला जनप्रतिनिधियों की भागीदारी और सशक्तीकरण सुनिश्चित हो सके।

बच्ची के जन्म पर उसके आंगन में रोपेंगे पौधा

निर्णय लिया गया कि गांव में जब भी किसी नवजात बालिका का जन्म होगा, बालिका पंचायत उस परिवार के आंगन में नवजात के नाम पर पौधारोपण करेगी। इससे बेटियों के प्रति सकारात्मक संदेश दिया जा सके। महिलाओं के स्वास्थ्य हित में स्वास्थ्य जांच शिविर का आयोजन किया जाएगा, जिसमें खून की जांच कर रक्त की कमी, अन्य बीमारियों या पोषण की स्थिति की जानकारी प्राप्त कर निशुल्क उपचार और परामर्श दिया जाएगा। इस अवसर पर सुभाष खीचड़, ग्राम सरपंच विकास कम्बोज, ग्राम सचिव राजेश कुमार, अमरजीत सिंह सहित बालिका पंचायत की सदस्या एवं अन्य गणमान्य लोग उपस्थित रहे। बालिका पंचायत की यह पहल गांव में बेटियों के नेतृत्व, जागरुकता और सशक्तीकरण की दिशा में मील का पत्थर साबित होगी। बता दें कि जिला परिषद बरसीन गांव के बाद अब दूसरे अन्य गांवों में भी बालिका पंचायत के गठन की रूपरेखा बना रही है ताकि अधिक से अधिक बालिका पंचायतों का गठन हो सके।

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