Turbo Engine: कार में लगा टर्बो इंजन कैसे करता है काम? ऐसे करें इसकी देखभाल

टर्बो कंप्रेस्ड एयर को इंजन में पहुंचाता है, जिससे इंजन को ज्यादा ऑक्सीजन मिलती है। जो इंजन का टॉर्क और पावर को बढ़ाता है। यानी इंजन पहले से ज्यादा ताकतवर बन जाता है।

Updated On 2025-10-31 16:30:00 IST

टर्बो इंजन हो या सामान्य, कार को स्टार्ट करने के तुरंत बाद चलाना सही नहीं

Turbo Engine: दुनिया भर में आज भी इंजन वाली कारों का उपयोग सबसे अधिक किया जाता है। समय के साथ ऑटो कंपनियां पारंपरिक इंजनों में नई तकनीकें जोड़ रही हैं ताकि बेहतर पावर और परफॉर्मेंस मिल सके। इन्हीं में से एक तकनीक है टर्बो इंजन (Turbo Engine), जिसे अब कई कार निर्माता अपने मॉडलों में ऑफर कर रहे हैं। अगर आप भी टर्बो इंजन वाली कार चलाते हैं, तो इसका सही रखरखाव बेहद जरूरी है। आइए जानते हैं, टर्बो इंजन की देखभाल कैसे करें।

क्या होता है Turbo Engine?

  • आम तौर पर कारों में साधारण इंजन (Naturally Aspirated Engine) दिया जाता है, लेकिन जब उसी इंजन से ज्यादा पावर की जरूरत होती है, तो उसमें टर्बोचार्जर जोड़ा जाता है।
  • टर्बो का काम होता है कंप्रेस्ड हवा (Compressed Air) को इंजन में पहुंचाना, जिससे इंजन को ज्यादा ऑक्सीजन मिलती है। इसके परिणामस्वरूप टॉर्क और पावर दोनों बढ़ जाते हैं, यानी वही इंजन अब पहले से ज्यादा ताकतवर बन जाता है।

स्टार्ट करते ही कार न चलाएं

टर्बो इंजन हो या सामान्य, कार को स्टार्ट करने के तुरंत बाद चलाना सही नहीं है। इंजन शुरू करने के बाद ऑयल को पूरे इंजन और टर्बो में सर्कुलेट होने में कुछ समय लगता है। अगर आप तुरंत कार चला लेते हैं, तो इंजन और टर्बो दोनों को नुकसान पहुंच सकता है। इसलिए, कार स्टार्ट करने के बाद कम से कम 30 सेकंड से 1 मिनट तक उसे आइडल पर चलने दें।

स्पीड धीरे-धीरे बढ़ाएं

टर्बो इंजन वाली कार में हमेशा धीरे-धीरे एक्सेलेरेशन देना चाहिए। अगर आप अचानक स्पीड बढ़ाते हैं, तो इंजन और टर्बो पर अनावश्यक दबाव पड़ता है, जिससे उनकी लाइफ कम हो सकती है। धीरे-धीरे स्पीड बढ़ाने से न केवल फ्यूल एफिशिएंसी बेहतर रहती है, बल्कि टर्बो की परफॉर्मेंस और दीर्घायु भी बनी रहती है।

ठंडे इंजन में RPM कम रखें

अगर इंजन ठंडा है, तो उसे उच्च RPM पर चलाने से बचें। ठंडे इंजन में टर्बोचार्जर को पर्याप्त ऑयल सप्लाई नहीं मिल पाती, जिससे उसमें घर्षण बढ़ता है और टर्बो डैमेज होने का खतरा रहता है। इसलिए, इंजन के गर्म होने तक लो RPM पर ड्राइव करें।

(मंजू कुमारी)

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