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लोकसभा चुनाव के लिए भी मतदान दल को मतदान के एक दिन पूर्व अलग चारपहिया वाहन से भेजा जाएगा। 

 

अम्बिकापुर।  छत्तीसगढ़ के बेहद संवेदनशील मतदान केन्द्रों में शुमार सामरी विधानसभा के सीमावर्ती मतदान केंद्र चुनचुना पुंदाग में मतदान दल आम चुनाव कराने सड़क मार्ग से पहुंचेगा। हाल में हुए विधानसभा चुनाव के पूर्व सुरक्षा कारणों से मतदान दल को यहां हेलीकाप्टर से पहुंचाया जाता था। स्थितियों में बदलाव आने के बाद लम्बे अर्से बाद विधानसभा चुनाव के लिए मतदान दल को चारपहिया वाहन से भेजा गया था। लोकसभा चुनाव के लिए भी मतदान दल को मतदान के एक दिन पूर्व अलग चारपहिया वाहन से भेजा जाएगा। 

 

बलरामपुर- रामानुजगंज जिलान्तर्गत सामरी विधानसभा क्षेत्र के अनेक मतदान केन्द्र झारखण्ड राज्य की सीमा पर हैं। बीहड़ों वाले सीमावर्ती क्षेत्र में लम्बे समय से नक्सलियों का बोलबाला रहा है। झारखण्ड के सीमावर्ती बूढ़ापहाड़ नक्सलियों का प्रमुख केन्द्र रहा है। लेवी वसूलने के उद्देश्य से नक्सली बीच-बीच में सीमावर्ती क्षेत्र में आतंक मचाते थे। सीआरपीएफ जवानों की नियमित सक्रियता के बाद नक्सलियों को अपना ठिकाना बदलने के लिए मजबूर होना पड़ा। सीमावर्ती क्षेत्र में आवागमन के साथ ही अन्य मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध नहीं होने के कारण नक्सली खुलकर फायदा उठाते थे। सुरक्षा कारणों से दूरस्थ चुनचुना पुंदाग मतदान केन्द्र तक मतदान दल को हेलीकाप्टर से लाया व ले जाया जाता था।

लुल्ह एवं रसौकी पहुंचने करनी होगी मशक्कत

सूरजपुर जिलान्तर्गत गुरुघासीदास नेशनल पार्क में पहाड़ी पर बसे ग्राम पंचायत लुल्ह का मतदान केन्द्र सरगुजा लोकसभा क्षेत्र का पहला मतदान केन्द्र है। जिला मुख्यालय से लुल्ह की दूरी 122 किमी है। मतदान दल पहाड़ी की ऊंची चढ़ाई चढ़‌कर मतदान केन्द्र तक पहुंचेगा। मतदान दल को कंधे पर ईवीएम मशीन एवं अन्य सामग्री लेकर पहाड़ की चढ़ाई तय करनी पड़ेगी। इस मतदान केन्द्र में ग्राम मुण्डा के मतदाता 12 किमी, ग्राम तेलाई पाट के मतदाता 7 किमी एवं दुधवनिया के ग्रामीण 3 किमी लंबा जंगल-पहाड़ का रास्ता तय कर पैदल मतदान करने पहुंचेंगे। इसी तरह दूरस्थ चांदनी-बिहारपुर क्षेत्र अंतर्गत कोरिया सीमा स्थित पहुंच विहीन मतदान केन्द्र रसौकी का कठिन सफर मतदान दल को तय करना करना होगा। आवागमन के लिए सड़क नहीं होने के कारण मतदान दल को कहीं पैदल तो कहीं गाड़ी को धक्का देकर सफर पूरा करना पड़ेगा। मार्ग में तीन नदियों को भी मतदान दल को पैदल पार करना पड़ेगा। इस मतदान केन्द्र में ग्राम उमहार, कछवारी व रामगढ़ के मतदाता 3 किमी का पैदल सफर कर मतदान करने पहुंचेगे।

अन्य केन्द्रों में भी समस्या सरगुजा लोकसभा क्षेत्र

अंतर्गत विभिन्न दूरस्थ क्षेत्रों में ऐसे अनेक मतदान केन्द्र हैं जहां ग्रामीणों को मतदान करने के लिए लम्बी दूरी तय करनी पड़ती है। अम्बिकापुर विधानसभा क्षेत्रन्तर्गत उदयपुर लखनपुर ब्लाक के ग्राम घटौन के पहाड़ी कोरवा व उरांव समाज के मतदाता पैदल 7 किमी की दूरी तय कर मतदान केन्द्र पटकुरा पहुंचते है। इसी तरह उदयपुर ब्लाक अंतर्गत ग्राम खामखूट के पहाड़ी कोरवा मतदान करने 5 किमी दूर शितकालो एवं धवाई पानी के ग्रामीण 3 किमी दूर मरया जाते है

सड़क मार्ग से पहुंचेगा मतदान दल

बलरामपुर कलेक्टर आर एक्का ने बताया कि, मतदान प्रतिशत बढ़ाने प्रशासन लगातार जागरूकता अभियान चला रहा है। सीमावती मतदान केन्द्रों तक पक्की सडक बनने से आवागमन आसान हुआ है। दूरस्थ सीमावर्ती मतदान केन्द्रो में मतदान दल एक दिन पूर्व सहक मार्ग से पहुंचेगा। 

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