मानसून में वायरल बीमारियों से कैसे बचें: इंफेक्शन होने पर दिख सकते हैं 5 लक्षण, एक्सपर्ट से जानें बचाव के तरीके

मौसमी बीमारियों से बचाव के तरीके।
Viral Diseases in Monsoon: बारिश की बूंदें जहां मन को राहत देती हैं, वहीं यह मौसम सेहत के लिए कई तरह की मुश्किलें भी खड़ी करता है। मानसून के आते ही वायरल इंफेक्शन, फ्लू और सर्दी-जुकाम जैसी बीमारियों का खतरा तेजी से बढ़ जाता है। हर साल जुलाई-अगस्त के दौरान अस्पतालों में वायरल बुखार और गले के संक्रमण के मरीजों की संख्या बढ़ती देखी जाती है।
इंदौर के कोकिलाबेन धीरुभाई अंबानी अस्पताल के डॉ. योगेश शाह के अनुसार, मानसून में तापमान में उतार-चढ़ाव और वातावरण में बढ़ी हुई नमी बैक्टीरिया और वायरस को पनपने का मौका देती है। ऐसे में सतर्क रहना और जरूरी सावधानियां अपनाना ही इस मौसम में स्वस्थ रहने की कुंजी है।
मानसून में वायरल इंफेक्शन क्यों बढ़ते हैं?
मानसून में चारों ओर गीलेपन और गंदगी का माहौल बन जाता है, जिससे जलभराव जैसी स्थिति हो जाती है। इस दौरान वातावरण में बढ़ी हुई नमी और बंद घरों में रहने की आदत वायरस के फैलाव को तेज करती है। साथ ही इस मौसम में शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता भी कुछ कमजोर हो जाती है, जिससे संक्रमण जल्दी पकड़ में आता है।
इस मौसम में कौन-कौन सी बीमारियां होती हैं आम?
मानसून में वायरल बुखार, फ्लू (इन्फ्लुएंजा), सामान्य सर्दी-जुकाम, गले में खराश, छाती में जकड़न और सूखी खांसी जैसी बीमारियां आम हैं। ये बीमारियां बच्चों, बुज़ुर्गों और कमजोर इम्युनिटी वालों को अधिक प्रभावित करती हैं।
वायरल इंफेक्शन के मुख्य लक्षण:
- तेज बुखार और ठंड लगना
- गले में खराश या सूजन
- शरीर में दर्द और सिर दर्द
- सूखी खांसी और सांस लेने में परेशानी
- बच्चों में चिड़चिड़ापन और भूख न लगना
इन लक्षणों को हल्के में न लें और तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें, खासकर अगर बुखार तीन दिन से ज्यादा रहे या सांस लेने में दिक्कत हो।
बचाव के आसान और असरदार उपाय:
हाथों की सफाई रखें: बाहर से आने पर और खाने से पहले साबुन या सैनिटाइज़र से हाथ धोना जरूरी है।
साफ पानी पिएं: केवल फिल्टर या उबला हुआ पानी पिएं ताकि जलजनित रोगों से बचा जा सके।
खुले में मिलने वाले खाने से बचें: स्ट्रीट फूड और कटे फल न खाएं।
भीगने के बाद कपड़े बदलें: बारिश में भीगने पर तुरंत सूखे कपड़े पहनें और सिर-पैर सुखाएं।
मास्क और रुमाल का इस्तेमाल करें: छींकते या खांसते समय मुंह ढकें।
इम्यूनिटी बढ़ाएं: आंवला, नींबू, हल्दी, तुलसी और अदरक जैसी चीजें डाइट में शामिल करें।
फ्लू वैक्सीन लगवाएं: डॉक्टर की सलाह पर फ्लू से बचने के लिए वैक्सीनेशन कराएं।
(Disclaimer: इस आर्टिकल में दी गई सामग्री सिर्फ जानकारी के लिए है. हरिभूमि इनकी पुष्टि नहीं करता है. किसी भी सलाह या सुझाव को अमल में लेने से पहले किसी विशेषज्ञ/डॉक्टर से परामर्श जरूर लें।)
