हरियाणा का मौसम: 17 जिलों में भारी बारिश, 3 में ओलावृष्टि का अलर्ट, जलभराव में भी जारी रहा RSS का पथ संचलन
बारिश से जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। नूंह और चरखी दादरी की मंडियों में अनाज भीग गया है, जबकि खेतों में धान की फसल बिछ गई है। बहादुरगढ़ में पेड़ गिरने से बिजली गुल हुई है।
सिरसा में बारिश के बीच पथ संचलन करते आरएसएस के स्वयंसेवक और फतेहाबाद में होती बूंदाबांदी।
हरियाणा के अधिकतर जिलों में सोमवार सुबह से ही मौसम का मिजाज पूरी तरह बदल गया है। पश्चिमी विक्षोभ की सक्रियता के कारण राज्य के 17 जिलों में भारी बारिश दर्ज की गई है। मौसम विज्ञान केंद्र चंडीगढ़ (IMD) ने पंचकूला, अंबाला और यमुनानगर में ओलावृष्टि (Hailstorm) का अलर्ट जारी किया है, जिससे किसानों और आम जनता की चिंता बढ़ गई है।
बारिश से जनजीवन प्रभावित, मंडियों में अनाज भीगा
फतेहाबाद, चरखी दादरी, सिरसा, रोहतक, हिसार, अंबाला, पंचकूला, कैथल, महेंद्रगढ़, झज्जर, सोनीपत, भिवानी, फरीदाबाद, कुरुक्षेत्र, पानीपत, गुरुग्राम और यमुनानगर सहित लगभग पूरे हरियाणा में बारिश हुई है। इस बारिश ने जनजीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है।
• मंडियों में नुकसान: नूंह और चरखी दादरी की अनाज मंडियों में खुले में रखा धान और अन्य अनाज भीग गए हैं, जिससे किसानों को भारी नुकसान हुआ है।
• फसलों का नुकसान: कुछ इलाकों में खेतों में खड़ी धान की फसल तेज हवा और पानी के कारण बिछ गई है।
• हादसे और बिजली गुल: बहादुरगढ़ में तेज हवा के साथ हुई बारिश से एक मकान पर पेड़ गिर गया, हालांकि कोई जनहानि नहीं हुई। लेकिन कई इलाकों में बिजली गुल हो गई। इन विपरीत परिस्थितियों के बावजूद, फतेहाबाद में ट्रैफिक पुलिस कर्मी छाता लगाकर भी यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाने में जुटे दिखाई दिए।
RSS का दृढ़ संकल्प
पूरे राज्य में खराब मौसम के बीच सिरसा से एक उल्लेखनीय तस्वीर सामने आई है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के स्वयंसेवकों ने बारिश के कारण सड़क पर जलभराव होने के बावजूद अपना पथ संचलन (रूट मार्च) जारी रखा। जलभराव में भीगते हुए और चलते हुए स्वयंसेवकों की यह तस्वीर उनके दृढ़ संकल्प और अनुशासन को दर्शाती है।
इसलिए मौसम बदला
कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन खीचड़ ने मौसम में अचानक आए इस बदलाव के मुख्य कारण बताए हैं। यह स्थिति एक साथ सक्रिय हुए तीन मौसमी सिस्टमों के कारण बनी है।
1. पश्चिमी विक्षोभ (Western Disturbance): इसका आंशिक प्रभाव राज्य पर पड़ रहा है।
2. कम दबाव का क्षेत्र: बंगाल की खाड़ी में एक कम दबाव का क्षेत्र बना है।
3. साइक्लोनिक सर्कुलेशन: राजस्थान के ऊपर एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बनने से नमी वाली हवाएं उत्तर पश्चिमी क्षेत्रों की ओर आ रही हैं।
राज्य में 7 अक्टूबर को भी बारिश की संभावना
इन सभी मौसमी सिस्टमों के प्रभाव से राज्य में 7 अक्टूबर के दौरान भी ज्यादातर क्षेत्रों में हवाओं और गरज-चमक के साथ हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना बनी हुई है।
किसानों और आम जनता को सलाह दी गई है कि वे मौसम विभाग के अलर्ट पर ध्यान दें और अपनी फसलों और खुले में रखे अनाज को सुरक्षित रखने के लिए आवश्यक उपाय करें।
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