Nepal Violence: गाजियाबाद के कपल की दर्शन यात्रा बनी दर्दनाक कहानी, नेपाल हिंसा में पत्नी ने गंवाई जान
Nepal Violence: नेपाल में हुए हिंसक प्रदर्शन के कारण गाजियाबाद का कपल हमेशा के लिए अलग हो गया। प्रदर्शनकारियों ने होटल में आग लगा दी, जिसके कारण कपल को होटल की चौथी मंजिल से कूदना पड़ा।
गाजियाबाद से पशुपतिनाथ मंदिर गई महिला की नेपाल हिंसा में मौत।
Ghaziabad Woman Died In Nepal Violence: पड़ोसी देश नेपाल में हिंसा के बीच एक दर्दनाक घटना सामने आई है। नेपाल में चल रहे हिंसक प्रदर्शन की वजह से गाजियाबाद से दर्शन यात्रा के लिए गया कपल हमेशा के लिए बिछड़ गया। दरअसल, गाजियाबाद के नंदग्राम की मास्टर कॉलोनी में रहने वाले रामवीर सिंह गोला अपनी पत्नी राजेश गोला (55) के साथ पशुपतिनाथ मंदिर दर्शन करने के लिए गए थे। इस दौरान नेपाल के काठमांडू में हिंसा के कारण पत्नी राजेश गोला की मौत हो गई। वहीं, रामवीर सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए।
गाजियाबाद के रामवीर सिंह अपनी पत्नी के साथ काठमांडू के हयात रेजीडेंसी में ठहरे थे। 9 सितंबर की रात को उनकी दर्शन यात्रा मातम में बदल गई। नेपाल में चल रहे Gen-Z आंदोलन के दौरान उपद्रवियों ने हयात रेजीडेंसी होटल में आग लगा दी। पूरा होटल आग की लपटों में घिरने लगा, जिसे देख गाजियाबाद के कपल ने अपनी जान बचाने की कोशिश की। कपल ने होटल की चौथी मंजिल से छलांग लगा दी, जिसके कारण दोनों गंभीर रूप से घायल हो गए। इलाज के दौरान पत्नी की मौत हो गई।
देर रात होटल पर हमला
9 सितंबर की रात करीब 11 बजे उपद्रवियों ने होटल को आग के हवाले कर दिया, जिसके कारण चारों तरफ अफरातफरी मच गई। मौके पर बचाव दल और पुलिस की टीम ने बचाव करने की कोशिश की। इसके लिए नीचे गद्दे बिछाए गए, जिस पर कपल ने ऊपर से ही छलांग लगाई थी। इसी दौरान उपद्रवियों ने फिर से हमला कर दिया, जिसके कारण गाजियाबाद का यह कपल बिछड़ गया।
बुधवार को रामवीर सिंह गोला के बेटे को कॉल आया, जिसमें बताया गया कि उनकी मां की इलाज के दौरान मौत हो गई। वहीं, रामवीर सिंह दो दिन बाद घायल हालत में एक राहत कैंप में पाए गए।
भारत लाया गया महिला का शव
जानकारी के मुताबिक, गुरुवार को भारतीय दूतावास की मदद से मृतक राजेश गोला का शव सोनौली पहुंचा, जिसके बाद परिजनों को सौंप दिया गया। परिजन शव को लेकर गाजियाबाद के लिए रवाना हो गए। मृतक के बेटे विशाल ने बताया कि अगर उनकी मां को समय पर सही इलाज मिल जाता, तो उनकी जान बच सकती थी। विशाल का कहना है कि मां-पिता दोनों एक-दूसरे से अलग हो गए थे। इसके कारण होटल से कूदने से जो चोट लगी, उससे ज्यादा चोट उन्हें अकेलेपन की लगी थी। परिजनों का आरोप है कि नेपाल स्थित भारतीय दूतावास से उन्हें ज्यादा मदद नहीं मिली।
नेपाल में हिंसा क्यों?
बता दें कि नेपाल में सोमवार से हिंसक प्रदर्शन शुरू हुआ था। नेपाल के युवा भ्रष्टाचारी सरकार का विरोध करने के लिए सड़कों पर उतर गए थे। युवाओं का यह प्रदर्शन हिंसा में बदल गया। उपद्रवियों ने नेपाल की संसद से लेकर सुप्रीम कोर्ट समेत कई इमारतों में तोड़फोड़ और आगजनी की। भीड़ ने कई होटलों और बड़ी इमारतों को आग के हवाले कर दिया था।