सुनीता विलियम्स की वापसी पर ISRO चीफ का बयान: ISS पर फंसना चिंता की बात नहीं, स्पेस स्टेशन एस्ट्रोनॉट्स के लिए बिल्कुल सुरक्षित

Sunita Williams Space Mission : ISRO चीफ डॉ. एस सोमनाथ ने सुनीता विलियम्स की वापसी में देरी को लेकर कहा कि इसमें चिंता की कोई बात नहीं है। इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन एस्ट्रोनॉट्स के लिए सुरक्षित जगह है।

Updated On 2024-06-30 14:24:00 IST
Sunita Williams Space Mission

Sunita Williams Space Mission : इसरो चीफ डॉ. एस सोमनाथ ने सुनीता विलियम्स की वापसी में देरी को लेकर कहा कि इसमें चिंता की कोई बात नहीं है। इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन (ISS) लंबे समय तक रहने के लिए एक सुरक्षित जगह है। सोमनाथ ने बताया कि यह सिर्फ सुनीता विलियम्स का मामला नहीं है, बल्कि किसी भी अंतरिक्ष यात्री का हो सकता है। इस वक्त स्पेस स्टेशन पर नौ अंतरिक्ष यात्री हैं और सभी सुरक्षित हैं।

सुनीता विलियम्स पर हमें गर्व: सोमनाथ
डॉ. सोमनाथ ने NDTV को दिए इंटरव्यू में कहा कि इसरो को सुनीता के साहस पर गर्व है। उनके पास कई मिशन का अनुभव है और उन्होंने नए स्पेस व्हीकल की पहली फ्लाइट में हिस्सा लिया है। सुनीता ने अपने अनुभव के इनपुट का इस्तेमाल किया है, जिससे यह मिशन सफल हो सके। सोमनाथ ने यह भी बताया कि इसरो भी एक क्रू मॉड्यूल बना रहा है, और सुनीता के अनुभव का इससे काफी लाभ मिलेगा।

17 दिन से स्पेस में फंसीं सुनीता
नासा की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स 17 दिन से अंतरिक्ष में फंसी हुई हैं। वे 5 जून 2024 को बोइंग स्टारलाइनर स्पेसक्राफ्ट में सवार होकर स्पेस मिशन पर गई थीं। इस मिशन में सुनीता स्पेसक्राफ्ट की पायलट हैं और बुश विलमोर इसके कमांडर हैं। उन्हें 13 जून को वापस पृथ्वी पर आना था, लेकिन तकनीकी दिक्कतों और हीलियम गैस के रिसाव के कारण अब तक ऐसा नहीं हो पाया है।

नासा ने चार बार टाली सुनीता की वापसी
नासा ने स्पेसक्राफ्ट में तकनीकी खराबी के कारण सुनीता की वापसी को चार बार टाला है। पहली घोषणा 9 जून को की गई थी, जिसमें लैंडिंग को 18 जून तक बढ़ाया गया। इसके बाद वापसी को 22 जून और फिर 26 जून तक बढ़ाया गया। नासा ने 24 जून को बताया कि दोनों अंतरिक्ष यात्रियों को लौटने में और समय लग सकता है, लेकिन वापसी की नई तारीख नहीं बताई गई है।

स्पेसक्राफ्ट में हो रही ईंधन की कमी
बोइंग का स्टारलाइनर स्पेसक्राफ्ट 45 दिन तक स्पेस स्टेशन में रह सकता है। स्पेसक्राफ्ट के स्टेशन में डॉक करने के बाद 22 दिन हो चुके हैं और अब उसके पास सिर्फ 24 दिन का ईंधन बचा है। इसलिए 45 दिन के बाद इसे सुरक्षित तरीके से अन-डॉक नहीं किया जा सकता। इस समय सीमा के पूरा होने पर सुनीता और विलमोर को दूसरे एयरक्राफ्ट से वापस लाने की व्यवस्था करनी होगी।

नासा का मिशन बढ़ाने का प्लान
नासा, बोइंग स्टारलाइनर का मिशन 45 दिन से बढ़ाकर 90 दिन तक करने का प्लान बना रहा है। इसका मतलब है कि सुनीता विलियम्स को अभी और अधिक समय तक इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन पर ही रहना पड़ सकता है। नासा ने फिलहाल सुनीता विलियम्स की वापसी की तारीख को लेकर कुछ भी बताने से इनकार किया है। हालांकि, इस बात के संकेत दिए हैं कि मिशन की अवधि बढ़ाई जा सकती है। 

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