ठाकुर जी की तिजोरी: 12 बैंकों में जमा 350 करोड़ की FD होगी! पढिए पूरी खबर

मंदिर ट्रस्ट ने बेहतर वित्तीय रिटर्न प्राप्त करने और भक्तों के दान का सदुपयोग सुनिश्चित करने के लिए यह फैसला लिया है।

Updated On 2025-10-31 15:12:00 IST

ट्रस्ट का उद्देश्य इस 350 करोड़ की राशि को अलग-अलग बैंकों की फिक्स्ड डिपॉजिट योजनाओं में लगाना है। 

मथुरा : करोड़ों श्रद्धालुओं के आराध्य, श्री बांके बिहारी मंदिर, वृंदावन, ने अपने कोष के बेहतर प्रबंधन के लिए एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। मंदिर प्रबंधन ने 12 विभिन्न बैंकों में जमा लगभग 350 करोड़ की नकद राशि को फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) में बदलने करने का फैसला किया है, ताकि भक्तों के दान से प्राप्त इस धन पर अधिक ब्याज और बेहतर रिटर्न सुनिश्चित किया जा सके।

बांके बिहारी जी के अकाउंट में 350 करोड़ की नकदी

मंदिर ट्रस्ट द्वारा किए गए हालिया वित्तीय आकलन से पता चला है कि बांके बिहारी मंदिर के खातों में इस समय 350 करोड़ की भारी-भरकम राशि जमा है। यह राशि राष्ट्रीयकृत और निजी, कुल 12 बैंकों में रखी गई है। मंदिर को देश और विदेश से बड़ी संख्या में दान प्राप्त होता है। यह राशि मंदिर के रोजमर्रा के खर्चों, कर्मचारियों के वेतन और मंदिर परिसर में विकास कार्यों के लिए इस्तेमाल की जाती है। हालांकि इतनी बड़ी राशि को सामान्य बचत खातों में रखने से उस पर मिलने वाला रिटर्न काफी कम था, जिसे देखते हुए प्रबंधन ने निवेश की रणनीति बदलने का फैसला किया।

अधिक लाभ के लिए एफडी में निवेश की तैयारी

ट्रस्ट का उद्देश्य इस 350 करोड़ की राशि को अलग-अलग बैंकों की फिक्स्ड डिपॉजिट योजनाओं में लगाना है। एफडी में निवेश करने से मंदिर कोष को बचत खाते की तुलना में अधिक ब्याज दर प्राप्त होगी, जिससे भक्तों द्वारा दान की गई राशि समय के साथ और तेजी से बढ़ेगी। इस अतिरिक्त आय का उपयोग भविष्य में भक्तों के लिए सुविधाओं के विस्तार, सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने और मंदिर के जीर्णोद्धार जैसे बड़े प्रोजेक्ट्स में किया जाएगा।

पारदर्शी वित्तीय प्रबंधन

मंदिर ट्रस्ट की प्राथमिकता है कि भक्तों की आस्था से प्राप्त हुई हर पाई का सदुपयोग हो और वह सुरक्षित तरीके से बढ़े। ट्रस्ट के अधिकारियों ने बताया कि इस निवेश से होने वाला लाभ सीधे तौर पर मंदिर के विकास और श्रद्धालुओं की सेवा में लगाया जाएगा, जिससे वृंदावन आने वाले हर भक्त को बेहतर अनुभव मिल सके। 

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