वैदिक रीति रिवाज के साथ माता परमेश्वरी देवी पंचतत्व में विलीन: स्वामी रामदेव, दिल्ली के कैबिनेट मंत्री प्रवेश वर्मा समेत हजारों लोगों ने दी श्रद्धांजलि
परमेश्वरी देवी अपने पति दिवंगत मित्रसेन की सामाजिक सेवा की विरासत को आगे बढ़ा रही थीं। उनके निधन से गांव और क्षेत्र में शोक की लहर है। अंतिम यात्रा में पूर्व भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़, मंत्री कृष्ण बेदी भी मौजूद थे।
माता परमेश्वरी देवी के पार्थिव शरीर को कंधा देकर वेदी तक ले जाते स्वामी रामदेव, प्रवेश वर्मा एवं कैप्टन अभिमन्यु।
प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की माता 90 वर्षीय परमेश्वरी देवी का अंतिम संस्कार शनिवार को गांव खांडा खेड़ी में भारत मित्र स्तंभ के पास वैदिक रीति रिवाज के साथ किया गया। उनके बड़े बेटे कैप्टन रूद्र सैन सिंधु ने उन्हें मुखाग्नि दी। इससे पहले श्रद्धांजलि देने पहुंचे योग गुरु स्वामी रामदेव स्वयं माता परमेश्वरी देवी के पार्थिव शरीर को उनके बेटों के साथ कंधा देते हुए वेदी तक लेकर गए। स्वामी रामदेव के अलावा आचार्य बालकृष्ण, दिल्ली के कैबिनेट मंत्री प्रवेश वर्मा, हरिणाणा विस के डिप्टी स्पीकर कृष्ण मिढ्ढा, कैबिनेट मंत्री कृष्ण बेदी, सांसद धर्मवीर सिंह सहित अनेक राजनेताओं, सामाजिक संगठनों तथा साधु-संतों ने उन्हैँ श्रद्धांजलि दी। शोक बैठक रोहतक के सेक्टर-14 स्थित सिंधु भवन में रहेगी।
बता दें कि वैदिक पथ के पथिक चौधरी मित्रसेन की धर्मपत्नी एवं प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की माता परमेश्वरी देवी का शुक्रवार को 89 वर्ष की आयु में दिल्ली के निजी हॉस्पिटल में निधन हो गया था। वे पिछले कुछ समय से अस्वस्थ चल रही थीं।
शनिवार को माता परमेश्वरी देवी के पार्थिव शरीर को रोहतक से गांव खांडा खेड़ी लाया गया। रास्ते में जगह-जगह पर लोगों ने नम आंखों से उन्हें श्रद्धांजलि दी। गांव खांडा खेड़ी के माता जियो देवी कॉलेज के प्रांगण में अंतिम दर्शन करने के लिए पार्थिव शरीर को रखा गया। इस दौरान स्वामी रामदेव हेलीकॉप्टर से पहुंचे और उन्होंने माता परमेश्वरी देवी के पार्थिव शरीर के चरण छूकर नम आंखों से श्रद्धांजलि दी। अंतिम संस्कार की पूरी प्रक्रिया के दौरान स्वामी रामदेव व आचार्य बालकृष्ण समाधी स्थल के पास खड़े रहे।
स्वामी रामदेव व पांच बेटों ने डाली अंतिम 5 आहुति
स्वर्गीय चौधरी मित्र सेन आर्य की समाधी के बराबर ही उनका अंतिम संस्कार वैदिक रीति रिवाज से किया गया। मंत्रोंच्चारण पदमश्री आचार्या डॉ. सुकामा व उनकी टीम ने किया। आखिर की पांच आहुति स्वामी रामदेव, कैप्टन रूद्र सेन सिंधु, वीर सैन, वृतपाल सिंधु, कैप्टन अभिमन्यु, मेजर सत्यपाल, देव सुमन ने डाली।
इन्होंने भी दी श्रद्धांजलि
माता परमेश्वरी देवी को श्रद्धांजलि देने वालों में प्रमुख रूप से सार्वदेशिक आर्य प्रतिनिधि सभा के अध्यक्ष स्वामी आर्यवेश, स्वामी आदित्यावेश, स्वामी प्रणवानंद, स्वामी संपूर्णानंद, स्वामी धनंजय, आचार्य विजयपाल, आचार्य वेदनिष्ठ, दिल्ली के मंत्री प्रवेश वर्मा, डिप्टी स्पीकर कृष्ण मिढ़ा, सामाजिक न्याय अधिकारिता मंत्री कृष्ण बेदी, सांसद धर्मबीर सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुभाष महरिया, पूर्व मंत्री ओमप्रकाश धनखड़, पूर्व मंत्री बिजेंद्र बिल्लू, सफीदों से विधायक रामकुमार गौतम, हांसी से विधायक विनोद भयाना, छपरौली से पूर्व विधायक सहेंद्र सिंह रमाला, पूर्व विधायक बलराज कुंडू, जाकिर हुसैन, जिला परिषद अध्यक्ष सोनू डाटा, भाजपा जिला अध्यक्ष अशोक सैनी, रणधीर धीरू, अजय सिंधु, बिजेंद्र लोहान, पार्षद दर्शनगिरी, प्रवीण जैन, राजेंद्र बेरवाल, डॉ. राजबीर मोर, संजय खरब, राजबीर खेड़ीवाला, जेजेपी नेता अमित बूरा, ईश्वर सिंघवा, ओमप्रकाश ढांडा, अमित मोर, ईश्वर बडाला समेत अनेक गणमान्य लोग शामिल थे।
माता परमेश्वरी देवी एक तपस्विनी और संस्कारी मां थीं : योग गुरुयोग गुरु बाबा रामदेव ने कहा कि मां का स्थान ईश्वर के समकक्ष होता है। माता परमेश्वरी देवी एक तपस्विनी और संस्कारी मां थीं, जिन्होंने देशभक्ति सेवा व त्याग की प्रेरणा दी। उनका जीवन आने वाली पीढियां के लिए मार्गदर्शक रहेगा। ईश्वर से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें और परिवार को यह वियोग सहने की शक्ति प्रदान करें।
सामाजिक न्याय मंत्री कृष्ण बेदी ने कहा कि एक मां के रूप में उन्होंने जो संस्कार व अनुशासन दिए वहीं आज कैप्टन अभिमन्यु की सोच और सेवा में दिखाई देता है। उनका जीवन प्रेरणादायक रहा है, हम उनके चरणों में श्रद्धा सुमन अर्पित करते हैं।
समाज के लिए अपूरणीय क्षतिडिप्टी स्पीकर कृष्ण मिढ़ा ने कहा कि कैप्टन अभिमन्यु की माता का जाना समाज के लिए अपूरणीय क्षति है। उन्होंने संस्कारों से समर्थ एक ऐसा परिवार तैयार किया जो आज राष्ट्र सेवा में समर्पित है। मैं शोक संतृप्त परिवार के साथ इस दुख की घड़ी में खड़ा हूं। पूर्व मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ ने कहा कि माता परमेश्वरी देवी आध्यात्मिक और ऊंच व्यक्तित्व वाली महिला थी। उनका जाना सिर्फ एक परिवार की नहीं समाज की भी क्षति है। उनकी स्मृति सदैव हमारे दिलों में जीवित रहेगी।
पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि मेरी मां मेरे जीवन की पहली गुरु मार्गदर्शक व संबल थी। उनका स्नेह, त्याग व अनुशासन से आज जो भी मैं हूं, उनकी देन है। उनकी कमी को शब्दों में बयां करना असंभव है। हम उनकी शिक्षाओं ओर आदर्शो को जीवन भर आत्मसात करते रहेंगे।