भाजपा का राहुल से सवाल: 'कांग्रेस कई सीट कम अंतर से जीती, तेलंगाना-हिमाचल में चोरी की सरकार?'

भाजपा ने वोट चोरी के आरोपों पर राहुल पर पलटवार करते हुए हरियाणा कम अंतर की कांग्रेस की जीती सीटों व तेलंगाना व हिमाचल में बनी कांग्रेस की सरकार पर जवाब मांगा है।

Updated On 2025-11-06 22:00:00 IST

वोट चोरी का लोगो। 

हरियाणा में भाजपा पर वोट चोरी कर सरकार बनाने के राहुल गांधी के आरोपों के बाद भाजपा नेताओं ने राहुल गांधी पर बड़ा हमला बोलते हुए कहा कि राहुल गांधी व कांग्रेस पार्टी की हार की जिम्मेदारी से बचने के लिए वोट चोरी के आरोप लगा रहे हैं। हरियाणा में कांग्रेस ही नहीं भाजपा के कई उममीदवार कम वोटों के अंतर से हारे हैं। जिसमें भूपेंद्र सिंह हुड्डा के घर रोहतक सीट पर कांग्रेस केवल 1341 वोटों से जीती थी। हिमाचल व तेलंगाना में भी चुनाव के बाद ही कांग्रेस की सरकार बनी। तो क्या हरियाणा में कम अंतर से जीतने वाले कांग्रेसी विधायक बने और तेलंगाना व हिमाचल में वोट चोरी से कांग्रेस ने सरकार बनाई। जनता ने जब से कांग्रेस को नकारा है, तब से सत्ता से बाहर होने की छटपटाहट में कांग्रेस विशेषकर राहुल गांधी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व देश की संवैधानिक संस्थाओं पर झूठे आरोप लगाकर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देश की छवि खराब करने व फर्जी अफवाह फैलाकर देश की सत्ता पर काबिज होने की साजिश कर रहे हैं। जिस प्रकार से वोटर खुद आगे आकर वोट चोरी पर राहुल गांधी को जवाब दे रहे हैं, उससे खुद राहुल गांधी व कांग्रेस की विश्विश्नियता पर सवालिया निशान लगा दिए हैं।

देश को अस्थिर करने के लिए विदेश से टूलकिट लाते हैं राहुल

वरिष्ठ भाजपा नेता एवं मंत्री अनिल विज और मंत्री कृष्ण बेदी ने कहा कि राहुल गांधी गुपचुप तरीके से जब भी विदेश जाते हैं, तभी देश में अस्थिरता फैलाने के लिए नई नई टूलकिट लेकर आते हैं। ताकि चोर दरवाजे से देश विरोधी विदेशी ताकतों के हाथों में खेलने वाली सरकार को देश की सत्ता में काबिज किया जा सके। 2019 में दूसरी बार देश की जनता द्वारा नकारने के बाद कांग्रेस व राहुल गांधी ने खुलकर देश विरोधी ताकतों के हाथों में खेलना शुरू कर दिया था, जो आज भी खुलेआम किया जा रहा है। देश विरोधी जब भी विदेशी धरती से भारत के खिलाफ झूठ फैलाने का प्रयास करते हैं तो देश में राहुल गांधी व कांग्रेस हमेशा उनके साथ मजबूती से खड़ी दिखाई देती है।

भाजपा ने ऐसे कांग्रेस व राहुल को घेरा

भाजपा नेताओं ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के घर रोहतक सीट पर कांग्रेस के बीबी बत्रा 1341 वोटों से जीते थे। भिवानी की लोहारू सीट पर कांग्रेस पार्टी के राजबीर फरटिया ने भाजपा प्रत्याशी और पूर्व मंत्री जयप्रकाश दलाल को 792 वोटों से पराजित किया था। आदमपुर में कांग्रेस के चंद्रप्रकाश ने भाजपा के भव्य बिश्नोई को 1,268 मतों से पराजित किया था। पंचकूला से कांग्रेस के चंद्रमोहन बिश्नोई (पूर्व में डिप्टी सीएम हुड्डा सरकार पार्ट वन) भाजपा के ज्ञान चंद गुप्ता को मात्र 1997 मतों के अंतर से पराजित किया था। यमुनानगर के साढौरा से कांग्रेस की रेणुबाला ने भाजपा के बलवंत सिंह 1699 मतों के अंतर हराया था। कुरुक्षेत्र के थानेसर कांग्रेस पार्टी के अशोक अरोड़ा ने भाजपा प्रत्याशी और पूर्व मंत्री सुभाष सुधा को 3243 मतों से हराया था। फतेहाबाद से कांग्रेस बलवान दौलतपुरिया ने भाजपा प्रत्याशी दुड़ाराम को 2252 मतों से हरा दिया था। यह भी कोई बड़ा अंतर नहीं है। प्रदेश में मामूली अंतर से सात सीट हारने के बाद भी भाजपा ने चुनाव में मिली हार के लिए किसी दूसरे को जिम्मेदार ठहराने की बजाय अपनी कमियों को खोजने का प्रयास किया।

सलाहकारों के दिए कागज को रिर्सच बताकर पढ़ते हैं राहुल

भाजपा नेताओं ने कहा कि राहुल गांधी को उनकी पार्टी के कुछ लोग सलाहकार जो भी कागज पकड़ा देते हैं, वे उसको पढ़कर रिसर्च बता डालते हैं। भाजपा नेताओं का कहना है कि राहुल गांधी भाजपा के हारने वाले प्रत्याशियों के बारे में भी जानकारी दें। भाजपा ने अक्टूबर 2024 में विस चुनावों के दौरान 55 लाख वोट हासिल किए थे और 48 विधानसभा सीटें जीती थी। राज्य में पहली बार हुआ है कि किसी एक पार्टी ने तीसरी बार सरकार बना ली हो। कांग्रेस को 54 लाख वोट मिले और 37 विधानसभा सीटों पर जीत जनता ने दी। उचाना कलां, चरखी दादरी, होडल, सफीदो, घरौंडा, असंध, राई और खरखौदा विधानसभा सीटों पर कांग्रेस भाजपा से साढ़े पांच हजार से भी कम वोटों से चुनाव हारी। भाजपा सात विधानसभा सीटें लोहारू, आदमपुर, पंचकूला, सढ़ोरा, रोहतक, थानेसर और फतेहाबाद विधानसभा सीटों पर साढ़े तीन हजार से कम मतों के अंतर से चुनाव हार गई।

वोट चोरी हार छुपाने का बहाना

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मोहन लाल बड़ौली और मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा है कि वोटों की चोरी सिर्फ हार को छिपाने का बहाना बना रहे हैं, वोटों की चोरी की होती तो भाजपा सात सीटें इतने मामूली अंतर से क्यों हार गई यह भी जनता को बताएं। 12 विधानसभा सीटों पर जीत-हार का अंतर 4623 वोट से कम लोकसभा और विधानसभा चुनाव के बीच मात्र पांच माह में हरियाणा में चार लाख 16 हजार 103 मतदाता बढ़े। मई 2024 में लोकसभा चुनाव में एक करोड़ 99 लाख 38 हजार 247 मतदाता थे। यह बढ़कर विधानसभा चुनाव में दो करोड़ तीन लाख 54 हजार 350 हो गए।

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