Fake Visa Racket: IGI एयरपोर्ट पर फेक वीजा लेकर पहुंचे 3 लोग... फर्जी रैकेट का हुआ पर्दाफाश, जानें कैसे?

Fake Visa Racket Busted: दिल्ली आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस ने फर्जी वीजा रैकेट का पर्दाफाश किया है। इस रैकेट के मुख्य आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है।

Updated On 2025-12-02 14:21:00 IST

आईजीआई एयरपोर्ट पर फर्जी वीजा रैकेट का भंडाफोड़।

Fake Visa Racket Busted: दिल्ली के इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पुलिस ने तमिलनाडु स्थित बड़े फर्जी वीजा रैकेट का भंडाफोड़ किया है। ये रैकेट भारतीय नौकरी के इच्छुक उम्मीदवारों को विदेश भेजने के लिए फ्रांसीसी डी-टाइप वीजा की व्यवस्था करता था। पुलिस ने इस फर्जी वीजा रैकेट के एजेंट 55 वर्षीय वी. कन्नन को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी तमिलनाडु के नमक्कल जिले का रहने वाला है।

इस रैकेट का भंडाफोड़ तब हुआ, जब तीन भारयीय यात्री फर्जी वीजा लेकर दिल्ली के आईजीआई एयरपोर्ट पर घूम रहे थे। 28 अक्टूबर को ये यात्री एयरपोर्ट के टर्मिनल-3 के इमिग्रेशन काउंटर पर पहुंचे। जांच के दौरान पता चला कि उनके पासपोर्ट पर लगे फ्रेंच वीजा नकली हैं। साथ ही उनमें जरूरी सुरक्षा फीचर्स नहीं थे। इसके बाद आईजीआई एयरपोर्ट थाने में बीएनएस और पासपोर्ट एक्ट की धाराओं की धाराओं में केस दर्ज किया गया।

12-12 लाख देकर बनवाए थे पासपोर्ट

आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस ने पाया कि तीनों यात्रियों के पास नकली वीजा हैं। इस पर तीनों यात्री नवीराज सुब्रमणियम, मोहन गांधी इलंगोवन और प्रभाकरण सेंथिलकुमार के खिलाफ केस दर्ज किया गया। पूछताछ में यात्रियों ने बताया कि उन्होंने पैसे देकर फर्जी वीजा बनवाया था। यात्री नवीराज सुब्रमणियम को उसका भाई 6 लाख रुपये देकर फर्जी वीजा दिलवाकर भेज रहा था।

वहीं, अन्य दो यात्रियों ने एजेंट वी. कन्नन को 12-12 लाख रुपये दिए थे। इस मामले की गंभीरत को देखते हुए एसएचओ के नेतृत्व में स्पेशल टीम बनाई गई। इसके बाद स्थानीय इनपुट और तकनीकी जांच के आधार पर तमिलनाडु के नमक्कल जिले से 55 साल के मुख्य आरोपी वी. कन्नन को गिरफ्तार किया गया।

पूछताछ में खुले राज

न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, आरोपी वी कन्नन से कड़ी पूछताछ की गई, जिसमें पता चला कि वह परमथी में एक सरकारी आईटीआई चलाता है और वेलूर में 'वेट्री ओवरसीज' नाम की विदेशी शिक्षा कंसल्टेंसी भी चलाता है। आरोपी कन्नन ने बताया कि वह अपने साथी मदुरै निवासी साथिक सैयद उर्फ ​​अब्दुल हकीम के साथ मिलकर काम करता था।

उन दोनों ने पेरिस में वेयरहाउस में नौकरी के लिए कम से कम 16 उम्मीदवारों को लालच दिया। इसके बाद वे आवेदकों का इंटरव्यू लेकर नकली वीजा की उपलब्ध कराते थे। इसके बदले वे आवेदकों से मोटी रकम वसूल करते थे। डीसीपी एयरपोर्ट विचित्रा वीर के अनुसार, आरोपी कन्नन ने बताया कि कुछ पैसे बैंक ट्रांसफर के माध्यम से और कुछ कैश में लिए गए। पुलिस आरोपी कन्नन के साथ की तलाश कर रही है। साथ ही इस रैकेट में शामिल अन्य लोगों की पहचान करने की कोशिश की जा रही है।

फर्जी वीजा रैकेट पर कड़ा एक्शन

दिल्ली की आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस ने लगातार फर्जी वीजा रैकेट के खिलाफ कार्रवाई कर रही है। इस साल सिर्फ नवंबर में फर्जी वीजा और पासपोर्ट से जुड़े मामलों में बड़ी कार्रवाई की गई, जिसमें कुल 26 लोगों को गिरफ्तार किया है। इनमें 6 फर्जी एजेंट भी शामिल हैं। इसके अलावा एयरपोर्ट परिसर में अवैध गतिविधियों पर शिकंजा कसते हुए 28 दलालों को भी गिरफ्तार किया गया है।

अगर आपको यह खबर उपयोगी लगी हो, तो इसे सोशल मीडिया पर शेयर करना न भूलें। हर अपडेट के लिए जुड़े रहिए haribhoomi.com के साथ।

Tags:    

Similar News