'मोंथा' तूफ़ान में भी डटी रहीं बस्तर की बेटियां: हैदराबाद के हुसैन सागर झील में जीते 9 ब्रॉन्ज मेडल
देश के पहले ट्राइबल कैनो स्प्रिंट नेशनल चैंपियनशिप में बस्तर की खिलाड़ियों ने तूफ़ानी मौसम की चुनौती झेलते हुए अपने शानदार प्रदर्शन कर कुल 9 ब्रॉन्ज मेडल जीते।
बस्तर की बेटियां जीते 9 ब्रॉन्ज मेडल
अनिल सामंत- जगदलपुर। तेज़ हवाएँ, ऊँची उठती लहरें और मौथा तूफ़ान का प्रचंड प्रभाव। लेकिन इन सबके बीच बस्तर की बेटियों ने साहस, संतुलन और संकल्प का ऐसा परिचय दिया, जिसने पूरे प्रदेश का सिर गर्व से ऊँचा कर दिया। हैदराबाद के प्रसिद्ध हुसैन सागर झील में 28 से 31 अक्टूबर तक आयोजित फर्स्ट ट्राइबल कैनो स्प्रिंट नेशनल चैंपियनशिप 2025 में बस्तर की खिलाड़ियों ने तूफ़ानी मौसम की चुनौती झेलते हुए अपने शानदार प्रदर्शन से कुल 9 ब्रॉन्ज मेडल जीतकर नया इतिहास रचा।
जज़्बे और अनुशासन से जीत लिया सबका दिल
देशभर के विभिन्न राज्यों से आए आदिवासी खिलाड़ियों के बीच हुई इस राष्ट्रीय प्रतियोगिता में बस्तर की बेटियों ने अपने जज़्बे और अनुशासन से सबका दिल जीत लिया। विपरीत परिस्थितियों में भी नाव को संतुलन में रखकर मंज़िल तक पहुँचना जहाँ मुश्किल था, वहीं बस्तर की खिलाड़ी अपनी अदम्य इच्छाशक्ति के बल पर सफलता की लहरों पर सवार होती नज़र आईं।
मनवती बघेल ने अकेले जीता 3 पदक
सीनियर वर्ग में बस्तर की मनवती बघेल ने शानदार प्रदर्शन करते हुए सी-2 महिला 500 मीटर, सी-1 महिला 500 मीटर और सी-4 मिक्स स्पर्धाओं में तीन ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किए। इसी वर्ग के पुरुष खिलाड़ी सतदेव बघेल ने के-1पुरुष 500 मीटर में बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए एक और ब्रॉन्ज मेडल जीता। जूनियर वर्ग में सागर और अनुज की जोड़ी ने सी 4 पुरुष 500 मीटर में पदक हासिल किया, जबकि सब-जूनियर महिला वर्ग में ईशा और मालती ने के 2 महिला 500 मीटर में शानदार प्रदर्शन से एक और मेडल बस्तर की झोली में डाला।
कोच और प्रभारी की अहम भूमिका
अन्य इवेंट्स में संयुक्त प्रदर्शन से कुल 9 ब्रॉन्ज मेडल जीतकर बस्तर के जलवीरों ने अपनी पहचान देशभर में दर्ज कराई। ये सभी खिलाड़ी कयाकिंग एवं कैनोइंग उप-प्रशिक्षण केंद्र,बागमुंडा (डोंगरीपारा, आसना), जगदलपुर बस्तर से प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे हैं। तूफ़ानी मौसम में भी खिलाड़ियों के आत्मविश्वास को बनाए रखने में कोच अशोक साहू और कयाकिंग एवं कैनोइंग प्रभारी डी कोटेश्वर राव नायडू की अहम भूमिका रही।
बस्तर की बेटियों ने कठिन परिस्थितियों में साहस दिखाया
अपर कलेक्टर एवं सहायक संचालक, खेल एवं युवा कल्याण विभाग ऋषिकेश तिवारी ने खिलाड़ियों को बधाई देते हुए कहा बस्तर की बेटियों ने कठिन परिस्थितियों में भी जो साहस और आत्मविश्वास दिखाया है,वह प्रदेश के हर युवा के लिए प्रेरणास्रोत है। यह उपलब्धि बस्तर की नई पहचान बनेगी।
बस्तर की बेटियो के आत्मविश्वास और मेहनत की मिसाल
प्रदेश अध्यक्ष एवं विधायक किरण देव ने भी खिलाड़ियों की सफलता पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा यह उपलब्धि बस्तर की बेटियों के आत्मविश्वास और मेहनत की मिसाल है। विपरीत परिस्थितियों में भी उन्होंने अपने जज़्बे से यह साबित किया है कि बस्तर की प्रतिभा देशभर में चमकने को तैयार है।
राष्ट्रीय खेलों में स्वर्ण पदक की राह खोलेगा
प्रतियोगिता का समापन समारोह 31 अक्टूबर 2025 को आयोजित होगा, जिसमें विजेता खिलाड़ियों को सम्मानित किया जाएगा। खेलप्रेमी सुनील पिल्लै, वेदप्रकाश सोनी, श्रवण साहू एवं अन्य ने भी खिलाड़ियों को बधाई देते हुए कहा कि बस्तर का यह प्रदर्शन आने वाले समय में राष्ट्रीय खेलों में स्वर्ण पदक की राह खोलेगा।