कारगिल विजय दिवस: पिता ने पाकिस्तान को चटाई धूल; अब बेटे के हाथ में कमान, जानें पूर्व थलसेना अध्यक्ष जनरल वीपी मलिक की कहानी

Kargil Vijay Diwas: कारगिल विजय दिवस हर साल 26 जुलाई को पूरा देश में सेलिब्रेट किया जाता है। ऐसे में जानते है पूर्व थलसेना अध्यक्ष जनरल वीपी मलिक की कहानी...

Updated On 2024-07-25 21:14:00 IST
Kargil Vijay Diwas

Kargil Vijay Diwas: कारगिल विजय दिवस हर साल 26 जुलाई को पूरा देश में सेलिब्रेट किया जाता है। इस दिन 1999 में कारगिल युद्ध में भारत ने पाकिस्तान को हराया था। कारगिल युद्ध में अहम रोल निभाने वाले पूर्व थलसेना अध्यक्ष जनरल वीपी मलिक के बेटे सचिन मलिक के पास अभी 8 माउंटेन डिवीजन की कमान है। यह कमान 25 साल पहले वीपी मलिक ने भी संभाली थी। उन्होंने ऑपरेशन विजय का भी नेतृत्व किया था। पाकिस्तान तब कारगिल की चोटियों पर घुसपैठ नहीं कर सकता था।

पिता ने पाकिस्तान को चटाई थी धूल; अब बेटे के हाथ में कमान
कारगिल विजय दिवस भारत के 140 करोड़ लोगों को गर्व महसूस कराने वाला दिन है। यह युद्ध लगभग 60 दिनों तक चला था। कारगिल युद्ध में असाधारण वीरता दिखाने वाली 8 माउंटेन डिवीजन के लिए यह साल खास है। 25 साल पहले इस डिवीजन ने दुश्मनों को धूल चटाई थी। अब इसी डिवीजन की कमान मेजर जनरल सचिन मलिक संभाल रहे हैं। खास बात यह है कि कारगिल युद्ध के वक्त उनके पिता पूर्व भारतीय सेना प्रमुख जनरल वीपी मलिक सेनाध्यक्ष थे। जनरल वीपी मलिक ने अपने करियर में 8 माउंटेन डिवीजन का नेतृत्व किया था।

भारत का सबसे यादगार युद्ध
कारगिल युद्ध भारत के लिए एक यादगार जीत थी। यह युद्ध दुनिया के सबसे कठिन ऊंचाई वाले युद्धों में से एक था। 8 माउंटेन डिवीजन ने इस युद्ध में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। जनरल वीपी मलिक के नेतृत्व में भारतीय सेना ने पाकिस्तानी घुसपैठियों को खदेड़ बाहर किया था। पिता और पुत्र, दोनों का इस डिवीजन से गहरा नाता रहा है।

8 माउंटेन डिवीजन की कमान संभाला बड़ी चुनौती
मेजर जनरल मलिक ने 8 माउंटेन डिवीजन की कमान संभालने को एक बड़ा सम्मान बताया है। उन्होंने कहा कि 8 माउंटेन डिवीजन की कमान संभालना एक बहुत बड़ा सम्मान है, जिसे 'फॉरएवर इन ऑपरेशन्स' डिवीजन के रूप में जाना जाता है, यह अपनी स्थापना (1963 में) के समय से ही हमेशा ऑपरेशन में रही है। उन्होंने आगे कहा कि जब हम कारगिल युद्ध की रजत जयंती मना रहे हैं, तो हमें यह याद रखना होगा कि मेरे डिवीजन का बड़ा हिस्सा नियंत्रण रेखा पर तैनात है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि ऐसा कुछ दोबारा न हो।

ये चोटियां... इन पर बहुत खून बहाया गया है
उन्होंने इस जिम्मेदारी को महत्वपूर्ण बताया। उनके अनुसार ये चोटियां... इन पर बहुत खून बहाया गया है और ऐसा कोई तरीका नहीं है जिससे हम कभी भी किसी को दोबारा ऐसा करने दें। इसलिए हमें हमेशा पूरी तरह से सतर्क रहना होगा, हमें हर चीज के लिए तैयार रहना होगा और हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि उस प्रकृति का कुछ भी दोबारा न हो। फरवरी 2024 में मेजर जनरल सचिन मलिक ने माउंटेन डिवीजन के 42वें जनरल ऑफिसर कमांडिंग का पद संभाला।

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