अरुणाचल के पास हेलिपोर्ट बना रहा चीन: सैटेलाइट इमेज से हुआ खुलासा, 600 मीटर लंबा रनवे तैयार

Chinese heliport Near Arunachal Pradesh
X
Chinese heliport Near Arunachal Pradesh
चीन अरुणाचल प्रदेश के 'फिशटेल्स' इलाके के पास एक नया हेलिपोर्ट बना रहा है। यह जगह वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) से महज 20 किलोमीटर की दूरी पर है। जानें पूरा मामला

Chinese heliport near Arunachal Pradesh: चीन अरुणाचल प्रदेश के 'फिशटेल्स' इलाके के पास एक नया हेलिपोर्ट बना रहा है। यह जगह वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) से महज 20 किलोमीटर की दूरी पर है। हेलिपोर्ट बनने पर चीनी सेना इस क्षेत्र में तेजी और आसानी से सैन्य संसाधन जुटा सकेगी। यह क्षेत्र पहाड़ों से घिरा है। सैन्य गतिविधियों के लिए चुनौतीपूर्ण रहा है। हेलिपोर्ट बनने से इस इलाके में चीन की सैन्य ताकत बढेगी।

चीनी सेना की सैन्य गतिविधियों में बढ़ोतरी की संभावना
इस हेलिपोर्ट से चीनी सेना खुफिया जानकारी जुटाने, निगरानी और गश्त जैसे काम आसानी से कर सकेगी। यह एक दूरदराज वाले इलाके में बनाया जा रहा है। इसके तैयार होने पर चीन को तेजी से सैनिक तैनात करने में मदद मिलेगी। सैटेलाइट इमेजरी से पता चला है कि चीने ने इसे 2023 के अंत में बनाना शुरू किया था। फिलहाल इसे बनाने का काम चल रहा है। विशेषज्ञों का कहना है कि यह चीनी सेना की रक्षा और आक्रमण क्षमताओं को बढ़ाने के लिए तैयार किया जा रहा है।

हेलिपोर्ट गोन्ग्रीगाबु नदी के किनारे बन रहा
यह हेलिपोर्ट चीन के निंगची प्रांत में गोन्ग्रीगाबु नदी के किनारे बनाया जा रहा है। यहां कि भौगोलिक स्थिति ऐसी है कि चीनी हेलिकॉप्टरों को अधिक पेलोड के साथ उड़ान भरने में मदद मिलेगी। पहाड़ी क्षेत्रों में हेलिकॉप्टरों के लिए लैंडिंग और टेकऑफ करना मुश्किल होता है, लेकिन इस हेलिपोर्ट पर 600 मीटर लंबी रनवे तैयार किया गया है। इससे हेलिकॉप्टरों आसानी से रोलिंग टेकऑफ कर सकेंगे।

'फिशटेल्स' को लेकर भारत और चीन में विवाद
अरुणाचल प्रदेश के फिशटेल्स इलाके को लेकर भारत और चीन में विवाद चल रहा है। यहां वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर मतभेद हैं। फिशटेल-1 और फिशटेल-2 इलाके डिबांग घाटी और अंजाव जिले में स्थित हैं। यह क्षेत्र भारत के लिए सामरिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है। पूर्वी कमान के पूर्व प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल प्रवीण बख्शी के मुताबिक, यह हेलिपोर्ट भारत की सुरक्षा के लिए गंभीर चुनौती पैदा कर सकता है।

चीन की ‘स्लामी स्लाइसिंग’ रणनीति
चीन ने हाल के वर्षों में LAC पर कई विवादित क्षेत्रों में छोटे गांव तैयार कर दिए हैं। ये गांव चीन की 'स्लामी स्लाइसिंग' रणनीति का हिस्सा हैं। अपनी इस रणनीति के जरिए चीन धीरे-धीरे सीमा से सटे इलाकों पर कब्जा कर रहा है। चीन ने भूटान के साथ-साथ अरुणाचल प्रदेश के कई इलाकों में तरह से जमीनें हड़पी है। चीन इन गांवों को बनाकर इल इलाकों पर अपनी दावेदारी मजबूत करने की कोशिश में हैं।

भारत ने जवाब में शुरू की है वाइब्रेंट विलेजेज योजना
भारत ने इस स्थिति से निपटने के लिए 'वाइब्रेंट विलेजेज' योजना की शुरुआत की है, जिसके तहत अरुणाचल प्रदेश के 3,000 गांवों में विकास कार्य किए जा रहे हैं। इसके अलावा, 2,400 किलोमीटर लंबी ट्रांस-अरुणाचल हाइवे बनाने का काम भी तेजी से किया जा रहा है। इस हाइवे के बनने पर भारतीय फौज आसानी से एलएसी से सटी चौकियों तक पहुंच जाएगी। भारत का यह कदम चीन की जमीन कब्जाने की रणनीति का जवाब है। साथ ही चीन से सटी सीमा पर भारत की सैन्य मौजूदगी भी इससे बढ़ेगी।

WhatsApp Button व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें WhatsApp Logo
Next Story