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एंटी करप्शन ब्यूरो आने वाले वक्त में सीधे ही लोकायुक्त हरियाणा को अपनी जांच रिपोर्ट नहीं भेज सकेगा। अब यह रिपोर्ट पहले सरकार के मुख्य सचिव के पास भेजनी होगी। प्रदेश के नए मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने पूर्व में लिए गए फैसले को पलटते हुए बदलाव कर दिया है।

Haryana: हरियाणा में लगातार शक्तिशाली होती जा रही एसीबी (एंटी करप्शन ब्यूरो) आने वाले वक्त में सीधे ही लोकायुक्त हरियाणा को अपनी जांच रिपोर्ट नहीं भेज सकेगा। अब यह रिपोर्ट पहले सरकार के मुख्य सचिव के पास भेजनी होगी। प्रदेश के नए मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने पूर्व में लिए गए फैसले को पलटते हुए बदलाव कर दिया है। इससे लगातार मजबूत हो रहे ब्यूरो को झटका लगा। नए आदेशों को लेकर वैसे तो कोई भी कुछ बोलने को तैयार नहीं है।

एसीबी काफी अफसरों पर कर चुकी कार्रवाई

पूर्व में मुख्य सचिव आफिस चौथे फ्लोर से समय-समय पर दिशा निर्देश जारी किए जाते रहे हैं। हरियाणा एंटी करप्शन ब्यूरो पूर्व में राज्य के काफी अफसरों पर करप्शन को लेकर कार्रवाई को अंजाम दे चुका है। इस कारण भ्रष्टाचार में लिप्त अफसरों की नींद भी हराम हो चली है। हालांकि जिन अफसरों और कर्मियों के विरुद्ध जांच पूरी कर ली गई हैं, उनके विरुद्ध शिकंजा कसने की तैयारी है। जल्द ही एसीबी की टीम ऐसे अधिकारियों व कर्मचारियों के खिलाफ कदम उठा सकती है।

लोकायुक्त की ओर से जारी हुए थे मामलों में आदेश

लोकायुक्त हरियाणा की ओर से कई मामलों में एसीबी को आदेश जारी करते हुए जांच के लिए कहा गया था।  वैसे, कुछ मामले इस तरह के भी थे, जिनमें पहले ही ब्यूरो अथवा संबंधित अन्य संस्था की ओर से पहले ही निर्णय हो चुका था। इस तरह से राज्य की सरकार द्वारा इस तरह के मामलों को लेकर मामलों की पूरी जानकारी, रिपोर्ट सहित तमाम बिंदुओं को सीएस ऑफिस को जानकारी देना जरूरी होगा। लोकायुक्त के पास अधिकांश मामलों में सरकारी अफसरों के विरुद्ध ही शिकायतें जा रही हैं। कुल मिलाकर मुख्य सचिव आफिस आने वाले वक्त में इस तरह के मामलों पर पैनी नजर रखेगा।

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