अवैध प्लाटिंग का कारोबार फिर शुरू : बिना डायवर्सन और परमिशन के प्लाट काटकर बेच रहे कॉलोनाइजर्स

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अवैध प्लाटिंग
छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव जिले में अवैध प्लाटिंग का खेल बदस्तूर जारी है। प्रशासन की अनदेखी इसके पीछे सबसे बड़ा कारण माना जाता है।

अक्षय साहू- राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव जिले में लगातार अवैध प्लाटिंग जारी है। अवैध प्लाटिंग करने वाले कॉलोनाइजर्स के हौसले बुलन्द हैं, जिसका कारण है प्रशासन की औपचारिकता मात्र कार्रवाई। प्रशासन द्वारा केवल अवैध प्लाटिंग का बोर्ड लगा दिया जाता है, जिसके कुछ समय बाद ही कॉलोनाइजर्स इन बोर्ड्स को कचरे के डिब्बे में फेंककर फिर से धड़ल्ले से अवैध रूप से प्लाट्स की खरीदी बिक्री शुरू कर देते हैं और प्रशासन फिर से कुम्भकर्णीय नींद में सो जाता है।

शहर की रिद्धि-सिद्धि कॉलोनी के पास और डोंगरगांव रोड में कॉलोनाइजर्स द्वारा अवैध प्लाटिंग की जा रही है। इसके अलावा शहर से लगे मोतीपुर, नवागांव, लिटिया में धड़ल्ले से अवैध प्लाटिंग किया जा रहा है और अवैध प्लाटिंग पर अंकुश लगाने का दावा करने वाला प्रशासन हाथ पर हाथ धरे बैठा हुआ है।

अवैध कालोनियों में नहीं मिलती सुविधाएं

शहर में और शहर से लगे इलाकों में अवैध कॉलोनाइजर धड़ल्ले से प्लाटिंग कर रहे हैं, लेकिन प्रशासन अवैध प्लाटिंग पर लगाम कसने में नाकामयाब नजर आ रहा है। अवैध प्लाटिंग का सिलसिला धड़ल्ले से चल रहा है। अवैध कॉलोनियों में नाली, रोड, पानी व गार्डन जैसी सुविधाएं नहीं मिलती। अवैध कालोनाइजर लोगों से लुभावने वादे करके प्लाट और मकान बेच देते हैं। बाद में लोग नाली, बिजली और सड़क के लिए परेशान होते हैं। अवैध प्लाटिंग की शिकायत करने के बाद कुछ जगहों पर औपचारिकता मात्र की कार्रवाई कर लीपापोती कर दिया जाता है।

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प्रशासन का बोर्ड उखाड़ फेंकते हैं कालोनाइजर्स

जिन प्लाट्स में प्रशासन कार्रवाई करता है, दूसरे दिन ही वहां प्रशासन का बोर्ड उखाड़ कर कचरे के डिब्बे के फेंक दिया जाता है और प्रशासन हाथ पर हाथ धरे बैठे रहते हैं। इस मामले में राजनांदगांव एसडीएम अतुल विश्वकर्मा ने कहा कि- ग्रामीण इलाकों में जो अवैध प्लाटिंग की शिकायत है और पटवारी के माध्यम से जो रिपोर्ट आई है। इसके आधार पर हम नोटिस जारी कर रहे हैं। किसान हो या कोई भी मध्यस्थता करने वाला कार्रवाई की जाएगी।

बेखौफ चल रहा है अवैध प्लाटिंग का खेल

इसमें अवैध कॉलोनाइजर और रजिस्ट्री कार्यालय से साठगांठ कर माफिया करोड़ों रुपये की काली कमाई कर रहे हैं। प्रशासन लगातार अवैध प्लाटिंग करने वाले कॉलोनाइजर्स पर नकेल कसने के खोखला दावा करता रहा है, लेकिन इसके बावजूद अभी भी बाईपास सहित मुख्य मार्गों के किनारे सैकड़ों भूखंडों को प्लाटिंग कर बेचा जा रहा है। मतलब साफ है या तो प्रशासन कार्रवाई करने का सिर्फ दिखावा करता है या तो इन कॉलोनाइजर्स को प्रशासन का संरक्षण प्राप्त है।

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