Corona Risks: इस बार का कोरोना किनके लिए अधिक खतरनाक, जानिए डॉ. गुलेरिया और डॉ. फिलिप्स की सलाह

Delhi-NCR Covid Alert: इस साल कोरोना वायरस का नए वेरिएंट JN.1 आया है। कुछ लोगों को इससे ज्यादा सावधान रहने की जरूरत है। इस बारे में AIIMS के पूर्व डायरेक्टर डॉ. रणदीप गुलेरिया और लीवर स्पेशलिस्ट डॉ. एब्बी फिलिप्स ने जानकारी दी है।

Updated On 2025-05-31 15:37:00 IST

कोरोना के नए वैरिएंट से 109 मौतें, केरल और महाराष्ट्र में सर्वाधिक केस। 

How much serious is New Corona Virus?: कोरोना हर साल एक नए वेरिएंट में वापस आता है। कभी ओमिक्रॉन वेरिएंट, तो कभी डेल्टा वेरिएंट। इस साल कोरोना नए वेरिएंट JN.1 के रूप में लौटा है, इसके साथ ही NB.1.8.1 वेरिएंट और LF.7 जैसे नए वेरिएंट भी पाए गए हैं। पूरे देश में एक बार फिर कोरोना का प्रकोप बढ़ने लगा है। आज कोरोना के एक्टिव मामलों की संख्या 2710 तक पहुंच गई है। इनमें सबसे ज्यादा मामले केरल में दर्ज किए गए, जिनकी संख्या 1147 है। वहीं दूसरे नंबर महाराष्ट्र है, जहां 424 एक्टिव केस हैं। तीसरे नंबर पर दिल्ली है, दिल्ली में 294 एक्टिव मामले दर्ज किए गए हैं। वहीं पूरे देश में अब तक 22 लोगों की मौत हो चुकी है। हालांकि इस बार के वायरस के प्रभाव को भी सामान्य बताया जा रहा है, लेकिन एक्सपर्ट इसके गंभीर होने के प्रति अलर्ट भी कर रहे हैं। कुछ खास बीमारियों वाले लोगों के लिए यह खतरनाक हो सकता है।

एम्स के पूर्व डायरेक्टर ने दी अहम सलाह

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, कोविड के नए वेरिएंट के बारे में दिल्ली AIIMS के पूर्व डॉयरेक्टर रणदीप गुलेरिया का कहना है कि इस बार कोरोना वायरस का नया वेरिएंट जेएन.1 पूरी दुनिया में फैल रहा है। ये साल 2023 में दर्ज किया गया था, लेकिन इस साल पैर पसार रहा है। वैसे तो ये वेरिएंट ज्यादा खतरनाक नहीं है, लेकिन ये लोगों को इंफेक्ट ज्यादा करता है। इसमें खांसी, जुकाम, बुखार, खांसी, नजला, गले में दर्द, खराश जैसी समस्या होती है, जो काफी लंबे समय तक चलती है। इस वेरिएंट में कुछ म्यूटेशन हैं, जिसके कारण ज्यादा इंफेक्शन होता है।

इन लोगों को ज्यादा खतरा

डॉ. गुलेरिया के अनुसार, जिन लोगों को डायबिटीज, हार्ट अटैक जैसी गंभीर बीमारियां हैं या वे ऐसी दवाइयां ले रहे हैं, जिनसे इम्यूनिटी कम हो जाती है, तो उन्हें ज्यादा सावधानी बरतने की जरूरत है।

सीरियस भी हो सकता है

डॉ. गुलेरिया के अनुसार, आने वाले समय यह देखना होगा कि कहीं नया कोरोना वेरिएंट गंभीर तो नहीं हो जाएगा। ऐसे में बुजर्गों और गंभीर बीमारियों से जूझ रहे लोगों को अतिरिक्त सावधानी बरतने की जरूरत है।

फिर से अपनाने पड़ सकते हैं कोविड प्रोटोकॉल

डॉ. गुलेरिया ने बताया कि कोरोना अब भले ही पहले जैसा गंभीर न हो, लेकिन इसके नए वेरिएंट चुनौती बने हुए हैं। वैक्सीनेशन और वैज्ञानिक सलाह ही इससे बचने का आसान तरीका है। अगर केस ज्यादा बढ़े, तो पुराना कोविड प्रोटोकॉल फिर से अपनाना पड़ सकता है।

डॉ. एब्बी फिलिप्स ने दी सलाह

वहीं लिवर रोग विशेषज्ञ डॉ. एब्बी फिलिप्स (एम.डी, डी.एम) ने सोशल पोस्ट में इस बारे में जानकारी देते हुए कहा कि एक बार फिर कोविड पैर पसारने लगा है। इसके कारण लंबे समय तक बुखार बना रहता है। थकान, सुस्ती, गले में दर्द के साथ ही आवाज में बदलाव और गले में जलन भी इसके लक्षण हैं। इसके बाद सांस फूलना और सूखी खांसी भी लोगों को परेशान कर रही है। कोविड सिर्फ फ्लू नहीं है, ये उससे भी आगे है। ये ठीक होने में लंबा समय लेगा। ऐसे में अगर आपको कोविड के लक्षण नजर आते हैं, तो घर पर ही रहें। अपना ध्यान रखें। वहीं बाहर जाने वाले लोग सार्वजनिक जगहों पर मास्क लगाएं और दूसरी सावधानियां बरतें।

डॉ. फिलिप्स के अनुसार, उनके लिए चिंता की बात कोविड का आना नहीं है, बल्कि कोविड ठीक होने के बाद लोगों को जिन गंभीर चुनौतियों का सामना करना पड़ता है, वह अधिक चिंताजनक होता है।

नए वेरिएंट के लक्षण सामान्य है-

  • सर्दी-जुकाम होना
  • बुखार आना
  • खांसी का होना
  • नाक का बन्द होना
  • गले में खराश, जलन
  • थकान और सुस्ती

क्या वैक्सीन अब भी असरदार है?

डॉ. गुलेरिया ने कहा कि कोविड वैक्सीन अभी भी कुछ हद तक सुरक्षा देती है, खासकर जब बीमारी गंभीर है। यह अस्पताल में भर्ती होने में बचाव करती है। वायरस में बदलाव होते रहते है, लेकिन इस वैक्सीन के कारण शरीर में इम्यूनिटी बनी रहती है।

हर साल वैक्सीन में किए जाते हैं बदलाव

हर बार कोविड नए वेरिएंट में आता है और फ्लू की वैक्सीन की तरह कोविड वैक्सीन भी नए वेरिएंट के मुताबिक हर साल बदली जा रही है।

  • 2020-21 में वुहान वायरस के लिए mRNA वैक्सीन (फाइजर और मोडेर्ना) आई।
  • 2022 में मूल वायरस ओमिक्रान BA.4/BA.5 वेरिएंट के लिए वैक्सीन बाइवेलेंट रूप में अपडेट की गई।
  • साल 2023 में ओमिक्रॉन XBB वेरिएंट के लिए मोनोवेलेंट वैक्सीन आई।
  • साल 2024-25 में KP.2 वेरिएंट के मद्देनजर वैक्सीन में बदलाव किए गए।

Tags:    

Similar News