श्री सीमेंट संयंत्र में लॉकडाउन: श्रमिकों की लंबी हड़ताल के बाद प्रबंधन ने लिया कड़ा निर्णय, समझाौते की कई कोशिशें रहीं नाकाम
छत्तीसगढ़ के औद्योगिक जगत में शुक्रवार 19 दिसंबर का दिन खलबली फैलाने वाला रहा। यहां के शांत औद्योगिक माहौल को श्री सीमेंट के लाकडाउन ने झकझोर कर रख दिया है।
श्रमिकों की हड़ताल
कुश अग्रवाल- बलौदाबाजार। छत्तीसगढ़ के बलौदा बाजार जिले में स्थित श्री रायपुर सीमेंट संयंत्र प्रबंधन ने आगामी आदेश तक लॉकडाउन की घोषणा कर दी है। यह निर्णय संयंत्र के करीब 1300 श्रमिकों की जारी हड़ताल के बाद लिया गया है। प्रबंधन के अनुसार, हड़ताल के कारण प्लांट का सामान्य संचालन पूरी तरह प्रभावित हो गया था।
संयंत्र में श्रमिकों की भारी कमी हो गई है, वहीं सीमेंट उत्पादन के लिए आवश्यक चूना पत्थर का परिवहन भी ठप हो गया है। इसके चलते उत्पादन प्रक्रिया बाधित हुई और प्लांट का संचालन गंभीर संकट में आ गया। श्री सीमेंट प्रबंधन का कहना है कि, विवाद सुलझाने के लिए बातचीत और कानूनी सुलह प्रक्रिया के तहत कई बार प्रयास किए गए। मजदूर नेताओं से भी संवाद स्थापित करने की कोशिश की गई, लेकिन किसी ठोस नतीजे तक नहीं पहुंचा जा सका। प्रबंधन के अनुसार, वर्तमान परिस्थितियों में किसी स्थायी समाधान की संभावना नहीं बची है, इसी कारण यह कठोर फैसला लेना पड़ा।
लागू रहेगा ‘नो वर्क-नो पे’ का नियम
प्रबंधन द्वारा जारी आदेश के अनुसार, आज से संयंत्र अनिश्चितकाल के लिए बंद रहेगा। इस दौरान कर्मचारियों पर ‘नो वर्क, नो पे’ का नियम लागू रहेगा। वहीं दूसरी ओर, कर्मचारी यूनियन ने लॉकडाउन को नियमों के विरुद्ध बताया है। यूनियन का आरोप है कि लॉकआउट की घोषणा के बाद एक कर्मचारी नेता को कथित रूप से धोखे में रखकर फैक्ट्री परिषद लाया गया और जबरन पुलिस के हवाले कर दिया गया। आरोप यह भी है कि कर्मचारी नेता को अलग-अलग थानों में घुमाया गया और अनुसूचित जनजाति थाने में रखकर प्रताड़ित किया गया।
पखवाड़ेभर से हड़ताल पर 1300 श्रमिक
गौरतलब है कि संयंत्र के 1300 से अधिक श्रमिक पिछले 15 दिनों से सात सूत्रीय मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं। श्रमिक संगठनों का कहना है कि इस तरह का लॉकआउट छत्तीसगढ़ में संभवतः पहली बार देखने को मिला है।