Voter List Verification: बिहार चुनाव से पहले घर-घर आएंगे BLO, मतदाता सूची में जुड़वा लें नाम; अपात्र होंगे बाहर

चुनाव आयोग ने बिहार में 2003 के बाद पहली बार विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) की प्रक्रिया शुरू की है। इसमें बीएलओ घर-घर जाकर मतदाता सूची का सत्यापन करेंगे। राजनीतिक दलों को भी सक्रिय भूमिका निभाने के लिए कहा गया है।

Updated On 2025-06-24 20:31:00 IST

बिहार: विधानसभा चुनाव से पहले घर-घर आएंगे BLO, मतदाता सूची में जुड़वा लें नाम; अपात्र होंगे बाहर 

Bihar Voter List Verification 2025 : बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision) किया जाएगा। भारत के चुनाव आयोग (ECI) ने मंगलवार, 24 जून को इसके लिए विस्तृत दिशा निर्देश जारी किए हैं। इस पुनरीक्षण का उद्देश्य मतदाता सूची को अद्यतन और त्रुटिरहित बनाना है। ताकि, कोई पात्र नागरिक अपने मताधिकार से वंचित न रह जाए। साथ ही कोई अयोग्य नाम सूची में शामिल न हो।

क्यों जरूरी हुआ गहन पुनरीक्षण?
चुनाव आयोग के अनुसार, पिछले दो दशकों में बिहार में हुए शहरीकरण, आंतरिक पलायन, युवाओं के 18 वर्ष की आयु पार करने, मौतों की सूचना न दिए जाने और विदेशी अवैध प्रवासियों के नाम जुड़ने जैसे मुद्दों ने मतदाता सूची की अखंडता और प्रामाणिकता पर सवाल खड़े कर दिए हैं। इन चुनौतियों से निपटने के लिए गहन पुनरीक्षण आवश्यक हो गया है।

घर-घर जाकर होगा सर्वेक्षण

  • इस विशेष अभियान के तहत बूथ लेवल ऑफिसर (BLO) घर-घर जाकर मतदाता सूची का सत्यापन करेंगे।
  • योग्य मतदाताओं को जोड़ने के साथ अयोग्य या मृत व्यक्तियों के नाम सूची से हटाए जाएंगे।
  • नाम जोड़ने, हटाने और बदलाव के दावे और आपत्तियाँ पूरी पारदर्शिता के साथ दर्ज की जाएंगी।

अपील की सुविधा भी उपलब्ध

  1. किसी दावे या आपत्ति पर असहमति होने पर, मतदाता या दल AERO से जांच करवा सकते हैं।
  2. ERO के फैसले के खिलाफ जिला मजिस्ट्रेट या मुख्य निर्वाचन अधिकारी के पास अपील की जा सकती है।

संवैधानिक और कानूनी प्रावधानों का पालन
भारत के संविधान के अनुच्छेद 326 और जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 16, 23 और 24 के तहत सभी पात्रताओं और अयोग्यताओं का पालन सुनिश्चित किया जाएगा। ERO द्वारा सत्यापन के लिए प्रयोग किए गए दस्तावेज़ ECINET प्रणाली में अपलोड किए जाएंगे। हालांकि, इन्हें सिर्फ अधिकृत अधिकारी ही देख सकेंगे।

राजनीतिक दलों की भागीदारी अनिवार्य
चुनाव आयोग ने कहा है कि राजनीतिक दलों को अपने बूथ लेवल एजेंट्स (BLA) नियुक्त करने चाहिए। ताकि, वे पुनरीक्षण प्रक्रिया की निगरानी कर सकें और किसी विसंगति को समय रहते हल कर सकें। इससे अपीलों और विवादों में कमी आएगी।

वरिष्ठ नागरिकों व PWD को विशेष सुविधा
ECI ने निर्देशित किया है कि वरिष्ठ नागरिकों, बीमार या विकलांग (PwD) मतदाताओं और वंचित वर्गों को सत्यापन प्रक्रिया के दौरान कोई असुविधा न हो। इसके लिए स्वयंसेवकों की तैनाती की जा सकती है।

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