IND vs SA: गौतम गंभीर ने कोलकाता के क्यूरेटर को दी जादू की झप्पी, पिच विवाद के बाद दिखा 'सब ऑल इज वेल'
हेड कोच गौतम गंभीर ने पिच विवाद के बीच कोलकाता क्यूरेटर को गले लगाकर संदेश दिया कि सब ठीक है। भारत की हार के बाद गंभीर ने बल्लेबाजों को जिम्मेदार बताया
ईडन गार्डन्स पर भारत की 30 रन की चौंकाने वाली हार के बाद पिच को लेकर चल रही बहस थमने का नाम नहीं ले रही। बल्लेबाजों को कम मदद और असमान उछाल वाली इस पिच ने दिग्गजों से लेकर फैंस तक को हैरत में डाल दिया लेकिन टीम इंडिया के हेड कोच गौतम गंभीर ने पहले मैच के बाद साफ कर दिया था कि यह पूरी तरह टीम मैनेजमेंट की मांग पर तैयार की गई स्पिनिंग ट्रैक थी और क्यूरेटर सुजन मुखर्जी ने शानदार काम किया।
मंगलवार को भारत ने ईडन गार्डन्स पर वैकल्पिक अभ्यास सत्र शुरू किया, जहां साई सुदर्शन और ध्रुव जुरेल नेट्स पर बल्लेबाजी करते दिखे। गंभीर भी करीब से अभ्यास पर नजर बनाए हुए थे लेकिन सुर्खियां बल्लेबाजी अभ्यास से ज्यादा गंभीर और क्यूरेटर मुखर्जी की बातचीत ने बटोरीं। गंभीर न सिर्फ मुखर्जी से लंबी बातचीत कर रहे थे, बल्कि उन्होंने उन्हें गले भी लगाया। यह साफ संकेत था कि पिच विवाद के बीच दोनों के बीच कोई तनाव नहीं है।
क्यूरेटर पर क्यों था इतना दबाव?
आईपीएल 2025 के दौरान मुखर्जी ने कोलकाता नाइट राइडर्स की स्पिनिंग पिच की मांग को अनसुना कर दिया था, जिसके बाद से वह चर्चा में रहे। लेकिन इस बार टीम इंडिया की मांग पर पिच को 4 दिनों तक पानी नहीं दिया गया, जैसा कि CAB अध्यक्ष सौरव गांगुली ने बताया। इसका मकसद था कि मैच के पहले ही दिन गेंद स्पिनरों को सहायता मिले। हालांकि मैच खत्म होने के बाद गांगुली ने भी माना कि यह पिच आदर्श नहीं थी और भारत को आगे के मैच बेहतर विकेटों पर खेलने चाहिए।
गंभीर की मांग पर बनी इस पिच पर भारत 124 जैसे आसान लक्ष्य को भी हासिल नहीं कर सका। साइमन हार्मर ने 4 विकेट लेकर भारतीय बल्लेबाजों को ध्वस्त कर दिया और टीम सिर्फ 93 रन पर ऑल आउट हो गई। वाशिंगटन सुंदर को छोड़कर कोई भी बल्लेबाज टिककर खेलने को तैयार नहीं दिखा।
गंभीर ने बल्लेबाजों को जिम्मेदार ठहराया
पोस्ट-मैच प्रेस कॉन्फ्रेंस में गंभीर ने साफ कहा कि गलती पिच की नहीं, बल्लेबाजों की थी लेकिन उनकी इस बात की आलोचना अनिल कुंबले, डेल स्टेन और चेतेश्वर पुजारा ने की। उनका कहना था कि भारत को संतुलित पिच पर खेलना चाहिए था जिसमें बल्लेबाज, तेज गेंदबाज और स्पिनर, तीनों को बराबर मौका मिले।
पिछले साल न्यूजीलैंड में भी भारत स्पिनिंग पिचों पर 0-3 से हार चुका है, जिससे यह रणनीति और भी ज्यादा सवालों में है।