Personal Loan: पर्सनल लोन की EMI लगने लगी है बोझ? 5 आसान तरीकों से हो जाएगी कम!
Personal Loan EMI: पर्सनल लोन की ईएमआई भरने में परेशानी महसूस कर रहे हैं, तो कुछ टिप्स अपनाएं। इनकी मदद से आप ईएमआई को कम कर सकते हैं।
पर्सनल लोन की ईएमआई कम करने के तरीके।
Personal Loan EMI: आजकल की जिंदगी में अचानक पैसों की जरूरत किसी को भी पड़ सकती है—चाहे वो मेडिकल इमरजेंसी हो, शादी का खर्च, बच्चों की फीस या कोई जरूरी खरीदारी। ऐसे समय में पर्सनल लोन एक आसान विकल्प बनकर सामने आता है, जिसे बैंक और नॉन-बैंकिंग कंपनियां (NBFCs) बिना किसी गारंटी के भी जल्दी मंजूरी दे देती हैं। लेकिन इसमें एक दिक्कत होती है ऊंची ब्याज दरें। यही वजह है कि पर्सनल लोन की EMI (मासिक किस्त) कई बार जेब पर भारी पड़ जाती है।
अगर आप भी हर महीने भारी EMI चुकाते हुए परेशान हैं, तो अब चिंता की बात नहीं है। इस खबर में हम आपको बता रहे हैं 5 ऐसे आसान और स्मार्ट तरीके, जिनसे आप अपनी EMI को कम कर सकते हैं और हर महीने का फाइनेंशियल प्रेशर हल्का कर सकते हैं। ये टिप्स आपके लोन को मैनेज करने में मदद करेंगे और साथ ही पैसे की बचत भी करवा सकते हैं।
लोन का टेन्योर बढ़ाएं
अगर EMI चुकाने में दिक्कत हो रही है, तो सबसे आसान तरीका है लोन की अवधि (tenure) को बढ़वा लेना। इससे आपकी EMI कम हो जाएगी क्योंकि अब भुगतान कई महीनों में बंट जाएगा। हालांकि, ध्यान रहे कि ऐसा करने से कुल ब्याज का बोझ बढ़ेगा, लेकिन आपकी हर महीने की परेशानी जरूर कम होगी।
बोनस या एक्स्ट्रा इनकम से करें प्री-पेमेंट
अगर आपको कोई फेस्टिवल बोनस, सैलरी में इंक्रीमेंट, साइड इनकम या सेविंग्स का पैसा मिला है, तो उसका इस्तेमाल प्री-पेमेंट के रूप में करें। इससे आपकी मूल राशि घटेगी और EMI कम हो सकती है। कई बैंक जैसे HDFC, ICICI और Yes Bank कुछ समय बाद प्री-पेमेंट की सुविधा देते हैं—इसका फायदा उठाएं।
बैलेंस ट्रांसफर का विकल्प अपनाएं
अगर आपने ज्यादा ब्याज दर पर लोन लिया है और अब कोई बैंक कम ब्याज पर लोन ऑफर कर रहा है, तो आप लोन को वहां ट्रांसफर कर सकते हैं। इसे बैलेंस ट्रांसफर कहते हैं। इससे आपकी EMI कम हो सकती है। लेकिन ध्यान रहे—नया बैंक कौन-कौन से चार्ज वसूल रहा है, जैसे प्रोसेसिंग फीस आदि, इसकी पूरी जांच-पड़ताल करें।
स्टेप-डाउन EMI प्लान अपनाएं
कुछ बैंक जैसे HDFC, ICICI और Kotak Mahindra अब स्टेप-डाउन EMI प्लान ऑफर करते हैं। इसमें शुरुआत की EMI थोड़ी ज्यादा होती है लेकिन धीरे-धीरे यह कम होती जाती है। अगर आप लंबी अवधि के लिए लोन ले रहे हैं, तो यह प्लान आपकी फाइनेंशियल प्लानिंग में मददगार साबित हो सकता है।
क्रेडिट स्कोर सुधारें
अगर आपका क्रेडिट स्कोर अच्छा है (750 से ऊपर), तो आपको कम ब्याज दर पर लोन मिल सकता है। ऐसे में आप पुराने लोन का बैलेंस ट्रांसफर कर सकते हैं या फिर बैंक से री-निगोशिएशन कर सकते हैं। अच्छी क्रेडिट हिस्ट्री न सिर्फ EMI कम करने में मदद करती है बल्कि भविष्य में भी बेहतर लोन डील्स दिला सकती है।
(Disclaimer: इस आर्टिकल में दी गई सामग्री सिर्फ जानकारी के लिए है। हरिभूमि इनकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी सलाह या सुझाव को अमल में लेने से पहले किसी फाइनेंशियल एक्सपर्ट की एडवाइज़ लें।)