कांग्रेस कैंडिडेट ने खोले हार के पत्ते: 'हुड्डा गैंग ने जानबूझकर हरवाया...बागियों को समर्थन देने घर पहुंचे थे', सैलजा के करीबी का बड़ा आरोप

Haryana Election 2024
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कांग्रेस नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा, कुमारी सैलजा और परमिंदर पाल।
Haryana Assembly Election 2024: हरियाणा विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की हार के बाद भूपेंद्र सिंह हुड्डा पर कई बड़े आरोप लगाए जा रहे हैं। कांग्रेस कैंडिडेट हुड्डा पर कई बड़े आरोप लगाए हैं।

Haryana Assembly Election 2024: हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024 में कांग्रेस की हार के बाद से बयानों की राजनीति और अधिक बढ़ गई है। हर कोई कांग्रेस की हार के कारण तलाशने में जुटे हैं, किसी को यकीन नहीं हो रहा है कि हरियाणा में कांग्रेस की हार हुई है। इस कड़ी में कांग्रेस की दिग्गज नेता कुमारी सैलजा के करीबी अंबाला कैंट से कांग्रेस कैंडिडेट परमिंदर पाल परी ने कांग्रेस की हार का कारण बताते हुए भूपेंद्र सिंह हुड्डा पर बड़ा आरोप लगाया है। उन्होंने सीधे तौर पर भूपेंद्र हुड्डा पर कई आरोप लगाए हैं।

'सिर्फ 40 सीट जीतना चाहते थे हुड्डा'

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, परमिंदर पाल परी ने भूपेंद्र हुड्डा पर आरोप लगाते हुए कहा कि अंबाला कैंट से मुझे हुड्डा गैंग ने ही हरवाया है। बता दें कि अंबाला कैंट से बीजेपी प्रत्याशी अनिल विज ने कांग्रेस कैंडिडेट परमिंदर पाल को धूल चटा दी है। इस सीट पर परमिंदर पाल को 15 हजार से भी कम वोट मिले, जबकि विज को 52 हजार से भी अधिक वोट पड़े। परमिंदर पाल ने आगे आरोप लगाते हुए कहा कि भूपेंद्र सिंह हुड्डा खुद चाहते थे कि कांग्रेस 40 सीटों पर ही जीत दर्ज कर सके, ताकि वो निर्दलीय को अपने साथ लेकर सरकार बना सके और खुद मुख्यमंत्री बन जाए। जो दूसरों के लिए गड्ढा खोदता है, वो खुद गड्ढे में गिर जाता है।

'बागी उम्मीदवारों को दिया समर्थन'

परमिंदर पाल ने आगे कहा कि ऐसी कई सीटें हैं, जहां बागियों को मनाने के लिए हुड्डा खुद उम्मीदवारों के घर गए थे। वहीं, मेरी सीट पर उन्होंने फोन कर कह दिया कि ये उनका कैंडिडेट है। असंध विधानसभा में भी कांग्रेस की हार के पीछे हुड्डा का ही हाथ है, इस सीट से शमशेर सिंह गोगी खड़े हुए थे, जो कि सैलजा के करीबी हैं। बता दें कि ये वही सीट है, जहां से राहुल और प्रियंका ने सैलजा के साथ प्रचार की शुरुआत की थी। इस रैली में खुद भूपेंद्र हुड्डा भी उपस्थित थे। पार्टी को सैलजा और सुरजेवाला जैसे बड़े नेताओं का सम्मान करना चाहिए था, ऐसा नहीं किया गया इसलिए इतना नुकसान हुआ है।

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