Nobel Prize 2025: इनोवेशन से अर्थव्यवस्था में क्रांति लाने वाले तीन अर्थशास्त्रियों को मिला नोबेल पुरस्कार, 10 दिसंबर को होंगे सम्मानित
जोएल मोकिर, फिलिप अघियन और पीटर हॉविट को 2025 का अर्थशास्त्र नोबेल पुरस्कार नवाचार और सतत आर्थिक विकास पर उनके अभूतपूर्व शोध के लिए प्रदान किया गया। जानें कैसे उनके कार्य ने वैश्विक समृद्धि को समझने में मदद की।
Nobel Prize 2025: इस वर्ष का अर्थशास्त्र नोबेल पुरस्कार तीन अर्थशास्त्रियों- जोएल मोकिर (अमेरिका), पीटर हॉविट (अमेरिका) और फिलिप एगियॉन (यूके) को प्रदान किया गया है। नोबेल समिति के अनुसार, इन अर्थशास्त्रियों ने दिखाया कि नवाचार (इनोवेशन) आर्थिक विकास को कैसे बढ़ावा देता है। तेजी से बदलती तकनीक हम सभी पर प्रभाव डालती है।
नए उत्पाद और उत्पादन के तरीके पुराने तौर-तरीकों को लगातार बदलते रहते हैं, और यह प्रक्रिया कभी रुकती नहीं। यही निरंतर आर्थिक विकास का आधार है, जो विश्व भर में लोगों के जीवन स्तर, स्वास्थ्य और जीवन की गुणवत्ता को बेहतर बनाता है।
विजेताओं को 1.1 करोड़ स्वीडिश क्रोना (लगभग 10.3 करोड़ रुपये), स्वर्ण पदक और प्रमाण पत्र से सम्मानित किया जाएगा। पुरस्कार समारोह 10 दिसंबर को स्टॉकहोम में होगा।
जोएल मोकिर का योगदान
मोकिर ने ऐतिहासिक दृष्टिकोण से सतत विकास के कारणों को समझाया। उन्होंने बताया कि नवाचारों को लगातार बढ़ाने के लिए वैज्ञानिक समझ और स्पष्टीकरण जरूरी है। औद्योगिक क्रांति से पहले, नई खोजों को आगे बढ़ाना मुश्किल था क्योंकि वैज्ञानिक आधार की कमी थी। मोकिर ने समाज के नए विचारों के प्रति खुलेपन और परिवर्तन को अपनाने के महत्व पर भी जोर दिया।
अघियन और हॉविट का रचनात्मक विनाश
अघियन और हॉविट ने 1992 में रचनात्मक विनाश का गणितीय मॉडल पेश किया। इस मॉडल के अनुसार, जब कोई नया और बेहतर उत्पाद बाजार में आता है, तो पुराने उत्पादों वाली कंपनियां प्रतिस्पर्धा में पिछड़ जाती हैं। यह प्रक्रिया नवाचार को बढ़ावा देती है, लेकिन पुरानी तकनीक वाली कंपनियों के लिए विनाशकारी भी होती है। दोनों ने बताया कि रचनात्मक विनाश के संघर्षों का रचनात्मक प्रबंधन जरूरी है, वरना स्थापित कंपनियां और हित समूह नवाचार को रोक सकते हैं।
पुरस्कार का महत्व
आर्थिक विज्ञान पुरस्कार समिति के अध्यक्ष जॉन हैस्लर ने कहा, "इन विजेताओं का काम दिखाता है कि आर्थिक विकास को हल्के में नहीं लिया जा सकता। रचनात्मक विनाश को बनाए रखना जरूरी है, ताकि हम आर्थिक गतिरोध से बच सकें।" यह पुरस्कार इस बात पर जोर देता है कि नवाचार और परिवर्तन को अपनाना वैश्विक समृद्धि के लिए महत्वपूर्ण है।
पिछले वर्ष के विजेता
पिछले साल, डेरॉन ऐसमोग्लू, साइमन जॉनसन और जेम्स ए. रॉबिन्सन को संस्थाओं के गठन और समृद्धि पर उनके प्रभाव के अध्ययन के लिए नोबेल पुरस्कार मिला था। उनके शोध ने देशों के बीच आर्थिक असमानता को समझने में मदद की थी।
2025 का अर्थशास्त्र नोबेल पुरस्कार नवाचार और सतत विकास के महत्व को रेखांकित करता है। मोकिर, अघियन और हॉविट का काम हमें यह समझने में मदद करता है कि कैसे नई तकनीकें और विचार वैश्विक अर्थव्यवस्था को आगे बढ़ाते हैं और समाज को समृद्ध बनाते हैं।