प्राइवेट अस्पतालों पर सख्ती: मनमाने चार्ज वसूले तो होगा एक्शन, लगानी होगी रेट लिस्ट

मध्यप्रदेश में अब निजी अस्पतालों और नर्सिंग होम्स को उनके यहां मरीजों को मिल रही सुविधाओं की जानकारी और उनके शुल्क की जानकारी प्रदर्शित करनी होगी। स्वास्थ्य विभाग ने एक बार फिर इस संबंध में निर्देश जारी किए हैं।

Updated On 2024-12-03 20:49:00 IST
राजस्थान में 20 से ज्यादा अस्पताल आरजीएचएस से बाहर।

सचिन सिंह बैस भोपाल। मध्यप्रदेश में अब निजी अस्पतालों और नर्सिंग होम्स को उनके यहां मरीजों को मिल रही सुविधाओं की जानकारी और उनके शुल्क की जानकारी प्रदर्शित करनी होगी। स्वास्थ्य विभाग ने एक बार फिर इस संबंध में निर्देश जारी किए हैं। सरकार ने तय किया है कि निजी अस्पताल या नर्सिंग होम्स को खर्च का ब्योरा सार्वजनिक करना होगा। मैनेजमेंट को बताना होगा कि उनके अस्पताल या नर्सिंग होम में किस जांच की कितनी फीस ली जाती है। यही नहीं अगर कोई अस्पताल अपनी सुविधाओं या शुल्क में बदलाव करता है तो उसकी जानकारी सीएमएचओ को इसकी जानकारी देनी होगी। स्वास्थ्य चिकित्सा शिक्षा आयुक्त तरुण राठी ने प्रदेश के सभी निजी अस्पतालों को निर्देश दिए हैं कि अपने यहां की मेडिकल सर्विसेज की रेट लिस्ट काउंटर पर लगाएं। मरीज या उनके परिजन मांग करते हैं, तो रेट लिस्ट दिखाना भी अस्पताल प्रबंधन की जिम्मेदारी होगी।

अलग से कोई फीस लेना नियमों का उल्लंघन
स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा आयुक्त तरुण राठी ने कहा है कि अगर किसी अस्पताल को रेट लिस्ट में बदलाव करना है, तो इसकी लिखित सूचना सीएमएचओ को देनी जरूरी है। संशोधित दर सूची को भी प्रमुखता से अस्पताल में लगाना होगा। हेल्थ कमिश्नर ने कहा कि इस फैसले का मकसद मरीजों के अधिकारों की रक्षा करना और मेडिकल सर्विसेज में पारदर्शिता (ट्रांसपेरेंसी) लाना है। रेट लिस्ट के अलावा अलग से कोई फीस लेना नियमों का उल्लंघन है। मनमाना शुल्क वसूलने के मामलों को रोकने के लिए विभाग ने सीएमएचओ को लगातार निरीक्षण करने के निर्देश दिए हैं।

सीएमएचओ पर नियम पालन कराने का जिम्मा
सभी प्राइवेट हॉस्पिटल्स को यह तय करना होगा कि वे इन प्रावधानों का पालन करें। स्वास्थ्य-चिकित्सा शिक्षा आयुक्त तरुण राठी ने सभी सीएमएचओ को इसका पालन कराने के निर्देश दिए हैं।

Similar News