Sonipat Police: सोनीपत में DGP ने इंस्पेक्टर को किया सस्पेंड, यूनिवर्सिटी के VC से मांगी थी 15 लाख रुपए की रिश्वत
Inspector Suspended in Sonipat: सोनीपत में यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर से रिश्वत लेने के मामले में एक इंस्पेक्टर को गिरफ्तार कर लिया गया है। उसको सस्पेंड भी कर दिया गया है। यह कार्रवाई DGP शत्रुजीत कपूर के आदेश पर की गई है।
प्रतीकात्मक तस्वीर।
Inspector Suspended in Sonipat: सोनीपत में यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर (VC) से 15 लाख रुपए की रिश्वत लेने के मामले में एक इंस्पेक्टर को गिरफ्तार किया गया है। DGP ने इंस्पेक्टर को सस्पेंड भी कर दिया है। जांच में पता लगा है कि VC, DGP शत्रुजीत कपूर का जानकार है। जब आरोपी ने VC रिश्वत मांगी, तो इसकी शिकायत DGP के पास पहुंच गई। इसके बाद DGP ने पुलिस कमिश्नर को मामले की जांच करने का आदेश दिया था। जब जांच में रुपयों के लेन-देन की बात साबित हुई, तो आरोपी इंस्पेक्टर को गिरफ्तार कर लिया गया।
पुलिस ने यूनिवर्सिटी में की छापेमारी
पूरा मामला सोनीपत की एजुकेशन सिटी में स्थित वर्ल्ड यूनिवर्सिटी ऑफ डिजाइन (WUD) का बताया जा रहा है। ऐसा कहा जा रहा है कि यूनिवर्सिटी में अफीम के 400 पौधे मिले थे। इस मामले की जांच करने के लिए एसीपी अजीत सिंह की अध्यक्षता में SIT टीम का गठन किया गया था। इस टीम में इंस्पेक्टर तेजराम और एक अन्य अधिकारी को भी शामिल किया गया था।
पुलिस ने माली को गिरफ्तार किया
पुलिस ने यूनिवर्सिटी में छापेमारी करके यूनिवर्सिटी की दीवार के पास से कुल 39.750 किलोग्राम अफीम के पौधे जड़ सहित उखाड़ लिए थे। इसके बाद माली संत लाल को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने जब माली से पूछताछ की, तो उसने बताया कि ये पौधे यूनिवर्सिटी के सुपरवाइजर धर्मेंद्र मिश्रा ने लगवाए थे।
इंस्पेक्टर ने VC पर बनाया दबाव
मामले के बारे में पता लगते ही आरोपी धर्मेंद्र फरार हो गया। पुलिस ने आरोपी को पकड़ने के लिए लोकेशन ट्रेस करवाई। पुलिस को धर्मेंद्र की लोकेशन पंजाब स्थित यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर संजय गुप्ता के घर पर मिली। इसके बाद आरोपी इंस्पेक्टर तेजराम ने VC संजय गुप्ता पर आरोप लगाया कि उन्होंने आरोपी को छिपा रखा था। मामले को दबाने के लिए तेजराम ने संजय गुप्ता से 15 लाख रुपए की रिश्वत मांगी।
वीसी संजय गुप्ता ने एक अधिवक्ता के माध्यम से इंस्पेक्टर तेजराम को रिश्वत के 15 लाख रुपए दिए थे। यह मामला जब DGP शत्रुजीत कपूर के पास पहुंचा, तो उन्होंने पुलिस कमिश्नर नाजनीन भसीन को जांच के आदेश दिए। इसके बाद SIT टीम की कार्रवाई में इंस्पेक्टर दोषी पाया गया। इस पर कार्रवाई करते हुए डीजीपी ने आरोपी इंस्पेक्टर तेजराम को अरेस्ट करवाते हुए उसे सस्पेंड कर दिया।