सिरसा में खौफनाक वारदात: देवर ने की भाभी की निर्मम हत्या, जमीन विवाद बना वजह

महिला की मौके पर ही मौत हो गई। आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। जमीन के विवाद के चलते महिला और उसका पति अलग रह रहा था। पुलिस ने वारदात में इस्तेमाल कुल्हाड़ी बरामद कर जांच जारी रखी है।

Updated On 2025-07-29 14:26:00 IST

हरियाणा क्राइम न्यूज। 

हरियाणा के सिरसा जिले में देवर ने अपनी भाभी की बेरहमी से हत्या कर दी। यह वारदात सोमवार रात डबवाली खंड के एक गांव में हुई जब आरोपी देवर कुल्हाड़ी लेकर अपनी भाभी के घर पहुंचा। इस जघन्य अपराध के पीछे लंबे समय से चला आ रहा जमीन का विवाद बताया जा रहा है।

रात के अंधेरे में दिया वारदात को अंजाम

डबवाली खंड के सुकेरा खेड़ा गांव से लगभग ढाई किलोमीटर दूर आसा खेड़ा रोड स्थित एक ढाणी में यह घटना हुई। आरोपी संजय रात करीब 9 बजे अपनी भाभी राममूर्ति के घर पहुंचा। राममूर्ति उस समय घर में अकेली थीं और दरवाजा अंदर से बंद था। संजय ने दरवाजा खटखटाया। जैसे ही राममूर्ति ने कुंडी खोली संजय ने बिना किसी देर के राममूर्ति के सिर पर कुल्हाड़ी से वार कर दिया। इस अचानक हुए हमले से राममूर्ति नीचे गिर गईं और दर्द से चीखने चिल्लाने लगीं। संजय ने यहीं नहीं रोका उसने तुरंत कुल्हाड़ी से राममूर्ति की गर्दन पर भी वार कर दिया जिससे राममूर्ति की चौखट पर ही मौके पर मौत हो गई।

हत्या के बाद कुल्हाड़ी छुपाई

इस खौफनाक वारदात को अंजाम देने के बाद संजय ने हत्या में इस्तेमाल की गई कुल्हाड़ी को छुपाया और चुपचाप घर लौट गया। हालांकि, उसकी यह क्रूर हरकत गांव की ही एक महिला की नजरों से बच नहीं पाई। पास ही रहने वाली इस महिला ने राममूर्ति की चीखें सुनी थीं और आरोपी संजय को घटनास्थल से भागते हुए भी देख लिया था। हालांकि, उसे उस समय यह स्पष्ट नहीं था कि संजय ने राममूर्ति की हत्या कर दी है, लेकिन उसकी यह गवाही हत्यारे तक पहुंचने में पुलिस के लिए महत्वपूर्ण साबित हुई।

पड़ोसी महिला ने तुरंत अपने पति को इस झगड़े की बात बताई, जिसके बाद वे गांव के सरपंच के पास गए। सरपंच भादूर सिंह ने बिना समय गंवाए मामले की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने मौके पर आकर देखा तो घर की चौखट के पास ही राममूर्ति का शव लहूलुहान पड़ा था।

आरोपी की गिरफ्तारी

सूचना मिलते ही पुलिस टीम तत्काल मौके पर पहुंची और जांच शुरू की। पुलिस उस ढाणी में पहुंची, जहां संजय रहता था। वहां संजय के चेहरे पर किसी तरह की शिकन या डर का कोई भाव नहीं था। जब पुलिस ने उससे उसकी भाभी राममूर्ति के बारे में पूछा, तो उसने अनभिज्ञता जाहिर कर कहा कि उसे कुछ नहीं पता और वह तो अपनी ढाणी में ही था। उसने यह भी कहा कि उनकी राममूर्ति से बनती नहीं थी, इसलिए वह अलग रहती थी।

हालांकि, पुलिस ने संजय को पूछताछ के लिए चौकी ले गई। गहन पूछताछ के बाद संजय ने आखिरकार राममूर्ति की हत्या की बात कबूल कर ली। उसने पुलिस को यह भी बताया कि उसने हत्या में इस्तेमाल की गई कुल्हाड़ी को अपनी ढाणी से करीब 100 मीटर दूर एक दूसरी ढाणी में छिपा दिया है, जिसे पुलिस ने बाद में बरामद कर लिया। डबवाली सदर थाना प्रभारी शैलेंद्र सिंह ने पुष्टि की है कि आरोपी संजय को गिरफ्तार कर लिया गया है और उससे आगे की पूछताछ जारी है। फोरेंसिक टीम ने भी मौके पर पहुंचकर महत्वपूर्ण सबूत जुटाए हैं।

जमीन विवाद बना हत्या की मुख्य वजह

पुलिस जांच और शुरुआती बयानों से पता चला है कि इस निर्मम हत्या के पीछे एक लंबे समय से चला आ रहा जमीन का विवाद था। मृतका राममूर्ति और उनके पति गुरमेश (आरोपी संजय के भाई) के बीच यह विवाद चल रहा था, जिसके कारण वे पिछले काफी समय से अलग-अलग रह रहे थे।

आइए जानते हैं तीन मुख्य बिंदुओं में इस विवाद की जड़ क्या थी।

1. पति-पत्नी के बीच अलगाव और बच्चों की स्थिति : मनफूल सिंह की ढाणी में मनफूल सिंह और गुरमेश रहते हैं। गुरमेश का अपनी पत्नी राममूर्ति से करीब 10 साल से विवाद चल रहा था। गुरमेश ने राममूर्ति पर किसी दूसरे व्यक्ति के साथ संबंध होने के आरोप लगाए थे, जिसके बाद वह उसे अपने से अलग कर दिया था। राममूर्ति अकेली एक अलग घर में रह रही थी, जबकि उनके दो बच्चे गुरमेश के साथ ही रहते थे। गुरमेश अपने छोटे भाई संजय के साथ दूसरी ढाणी में रहता था।

2. खर्चे और संपत्ति को लेकर दबाव : राममूर्ति कोई नौकरी नहीं करती थीं और अपना पेट पालने के लिए गाय पालती थीं, जिसका दूध बेचकर वह अपना गुजारा करती थीं। वह अपने पति गुरमेश से खर्चे के पैसे या अपने नाम में कुछ जमीन करने का लगातार दबाव बना रही थीं, लेकिन गुरमेश ने उन्हें कुछ भी देने से इनकार कर दिया था। इस मामले को सुलझाने के लिए गांव में कई पंचायतें भी हुई थीं, लेकिन कोई समाधान नहीं निकला। यह मामला कोर्ट में भी चल रहा था, जिससे तनाव लगातार बढ़ रहा था।

3. पारिवारिक कलह और संपत्ति का आरोप : गुरमेश अक्सर राममूर्ति पर अपने परिवार को तोड़ने और संपत्ति को नष्ट करने का आरोप लगाता था। इन आरोपों और जमीन-खर्चे को लेकर दोनों के बीच कई बार भयंकर झगड़े हुए। ऐसा प्रतीत होता है कि इन्हीं झगड़ों के चलते देवर संजय ने गुस्से में आकर या भाई के पक्ष में इस जघन्य अपराध को अंजाम दिया।

राममूर्ति गाय पालकर अपना गुजारा करती थी

ग्राम पंचायत सुकेरा खेड़ा के सरपंच भादूर सिंह ने बताया कि उन्हें सूचना मिलते ही उन्होंने तुरंत पुलिस को अवगत करवा दिया था। उन्होंने यह भी पुष्टि की कि गुरमेश ने राममूर्ति को कोई जमीन नहीं दी थी और वह वाकई गाय पालकर अपना गुजारा करती थी।

डबवाली सदर थाना प्रभारी शैलेंद्र सिंह ने कहा है कि आरोपी संजय को गिरफ्तार कर लिया गया है और उससे पूछताछ जारी है। मृतका राममूर्ति के परिजनों के बयान दर्ज किए जा रहे हैं, जिसके बाद शव का पोस्टमॉर्टम करवाया जाएगा। उन्होंने यह भी बताया कि वारदात स्थल को तुरंत सील कर दिया गया था और रात में ही आरोपी को पकड़कर हत्या में इस्तेमाल कुल्हाड़ी भी बरामद कर ली गई थी। सुबह फोरेंसिक टीम ने मौके पर पहुंचकर महत्वपूर्ण सबूत एकत्रित किए हैं। 

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