NHM TRANSFER SCAM : तनाव में एकाउंट मैनेजर की मौत, चुनाव आयोग ने IAS अफसर से दो घंटे में मांगा जवाब

एनएचएम में आचार संहिता लगने से एक दिन पहले भारी मात्रा में तबादले किये गए थे। मनमानी इस कदर हुई कि, सिंगल-सिंगल आर्डर निकालकर 50 से अधिक कर्मचारियों और नॉन ट्रांसफरेबल अधिकारियों का भी तबादला कर दिया गया था।

By :  Ck Shukla
Updated On 2024-04-11 15:09:00 IST
निर्वाचन आयोग

रायपुर। छत्तीसगढ़ के एनएचएम में नियम विरूद्ध ट्रांसफर का मामला भारत निर्वाचन आयोग तक पहुंच गया है। आयोग ने इस पर संज्ञान लेते हुए स्वास्थ्य विभाग को कार्रवाई करने के लिए कहा है। स्वास्थ्य विभाग ने एनएचएम के मिशन संचालक आईएएस जगदीश सोनकर को नोटिस देते हुए उनसे जवाब मांगा है। स्वास्थ्य विभाग की अपर सचिव दिव्या वैष्णव ने नोटिस में लिखा है कि, आदर्श आचार संहिता का खुलेआम उल्लंघन और हत्या का मुकदमा दर्ज कर कठोर कार्रवाई करने की शिकायत संबंधी है। दिव्या मिश्रा ने आईएएस से दो घंटे में नोटिस का जवाब मांगा है।

उल्लेखनीय है कि, आचार संहिता प्रभावशील होने के एक दिन पहले एनएचएम में सिंगल-सिंगल आर्डर निकालकर 50 से अधिक कर्मचारियों, अधिकारियों का तबादला कर दिया गया था। विश्वस्त सूत्रों की मानें तो इस मामले में बड़ा खेल हुआ है। जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों ने इसकी शिकायत सीधे निर्वाचन आयोग के पोर्टल में शिकायत कर दी थी और उसकी कॉपी राष्ट्रपति, कैबिनेट, कैबिनेट सेक्रेटरी, मुख्य निर्वाचन आयुक्त को भेजी गई थी। चुनाव आयोग के निर्देश पर छत्तीसगढ़ के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय ने शिकायत की प्रति स्वास्थ्य विभाग को भेजा। इसके बाद विभाग ने जगदीश सोनकर को नोटिस देकर उनसे जवाब मांगा है।

एनएचएम के एकाउंट मैनेजर राकेश देवांगन की मौत का बताया जिम्मेदार 

चुनाव आयोग को की गई शिकायत में महासमुंद के एनएचएम के एकाउंट मैनेजर राकेश देवांगन की हार्ट अटैक से मौत हो गई थी। जिसे विभागीय प्रताड़नापूर्ण ट्रांसफर का नतीजा बताया गया था। स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों की शिकायत के अनुसार राकेश देवांगन नियमों के खिलाफ खरीदी का पेमेंट करने का तैयार नहीं थे। इसलिए उनका ट्रांसफर कर दिया गया था, जिससे वे काफी तनाव में चल रहे थे। उनकी मौत पर उन्होंने हत्या का मुकदमा दर्ज करने की बात कही है। लेकिन बड़ी बात तो यह है कि, जिन लोगों का तबादला किया गया है, वे या तो संविदा नियुक्ति वाले थे या फिर उन्हें उसी पद के लिए उन्हें नियुक्त किया गया है। 

राज्य बनने के बाद पहली बार हुआ ऐसा मामला 

छत्तीसगढ़ राज्य बनने के बाद पहली बार संविदा के साथ नॉन ट्रांसफरेबल अधिकारियों का भी तबादला कर दिया गया था। जिसका एक जिले से दूसरे जिले में ट्रांसफर किया गया है। फार्मासिस्‍ट आरबीएसके (संविदा) के पद शंकरगढ़ बलरामपुर में पदस्‍थ अनिल कुमार कुलस्‍त का ट्रांसफर मरवाही कर दिया गया है। राजीव रंजन जिला कार्यक्रम प्रबंधक (संविदा) बलरामपुर से बीजापुर, असरफ अंसारी जिला कार्यक्रम प्रबंधक (संविदा) कोरबा से कोरिया, पद्माकर शिंदे जिला कार्यक्रम प्रबंधक (संविदा) दुर्ग से कोरबा, सुचिता लकड़ा जिला माइक्रोबायोलाजिस्‍ट (संविदा) बस्‍तर से कोरबा और समीम अंजुम जूनियर सचिवीय सहायक पीएडीए (संविदा) सूरजपुर से मनेंद्रगढ़ सहित ऐसे दर्जनों आर्डर निकाले गए हैं।

एडिशनल चीफ सिकरेट्री मनोज पिंगुआ बोले- नियमानुसार होगी कार्रवाई  

इस पूरे मामले में विभागीय जानकारों की मानें तो किसी भी विभाग में संविदा कर्मी का तबादला नहीं किया जाता है। एनएचएम के भर्ती नियम के अनुसार संविदा के पोस्ट पर ट्रांसफर नहीं होगा। स्वास्थ्य विभाग के एडिशनल चीफ सिकरेट्री मनोज पिंगुआ ने हमारे संवाददाता से बातचीत की थी। जिसमें बाकायदा उन्होंने स्वीकार किया कि, एनएचएम में ट्रांसफर नहीं हो सकता। पिंगुआ ने आगे कहा कि, अगर ऐसा हुआ है, तो उसे दिखवाएंगे और नियमानुसार इस मामले में कार्रवाई की जाएगी।

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