व्रतियों ने अस्ताचलगामी सूर्य को दिया अर्घ्य: गंगामुंडा घाट को 3100 दीपों से किया गया रोशन, जमकर हुई आतिशबाजी
छठ महापर्व की संध्या बेला में जगदलपुर के गंगामुंडा तालाब में अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य अर्पित करने के लिए हजारों व्रती महिलाएँ और श्रद्धालु एकत्र हुए।
सूर्य को अर्घ्य देतीं व्रती महिलाएं
अनिल सामंत- जगदलपुर। छठ महापर्व की संध्या बेला में रविवार को जगदलपुर के गंगामुंडा तालाब का दृश्य अनुपम रहा। अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य अर्पित करने के लिए हजारों व्रती महिलाएँ और श्रद्धालु एकत्र हुए। बांस के बने सुपा में पूजा सामग्री लेकर मातृशक्तियाँ कमर तक जल में उतर गईं और गोधूलि बेला में भगवान भास्कर को जल एवं दूध से अर्घ्य अर्पित किया। घाटों पर गूंजते भोजपुरी भजनों और छठ मइया की जय के नारों से पूरा वातावरण भक्तिमय हो उठा। पुरुष सदस्य बांस के बड़े टोकरे में केला, संतरा, गन्ना, शक्करकंद, नींबू, अदरक सहित पूजा सामग्री लेकर पैदल घाट तक पहुंचे। घाट किनारे परिवार की अन्य महिलाएँ भी प्रसाद और दीपक की थाल सजाकर पूजन में लीन रहीं।
गंगामुंडा घाट पर तैयारियों की मिसाल देखी गई। छठ पर्व के पहले से पर्व का मुख्य गंगामुंडा घाट में निगम 20 दिनों पहले से तैयारी में जुटी रही। महापौर संजय पांडे और निगम स्वच्छता समिति के सभापति लक्ष्मण झा के पहल में गंगामुंडा तालाब को आकर्षक रूप दिया गया। घाट के मुख्य तट पर रेड कार्पेट, रंगीन रोशनी और साज-सज्जा ने पर्व की गरिमा बढ़ाई। चारों ओर जल पर परावर्तित दीपों की चमक एक अद्भुत दृश्य बना रही थी। देर शाम को गंगामुंडा तालाब तट पर छठधारी परिवार के द्वारा 3100 द्वीप प्रज्वलित किए गए। जिसे देखने बड़ी संख्या में शहरवासी गंगामुंडा घाट पहुंचे थे। सुरक्षा के मद्देनजर महिला और पुरुष पुलिसकर्मियों की घाट के चारों ओर तैनाती की गई थी। किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए एसडीआरएफ के गोताखोरों को भी घाट में मुस्तैद रखा गया। शाम होते ही घाट पर आतिशबाजी ने पर्व के उल्लास को और भी भव्य बना दिया।
जनप्रतिनिधियों ने दी शुभकामनाएँ
छठ पर्व की पावन बेला पर श्रद्धालुओं को बधाई देने पहुंचे भाजपा प्रदेशाध्यक्ष एवं विधायक किरण देव, सांसद महेश कश्यप, पूर्व विधायक रेखचन्द जैन सहित भाजपा- कांग्रेस संगठन के जिलाध्यक्ष व पदाधिकारी गण पार्षदगणों व अन्य जनप्रतिनिधियों ने व्रतधारियों और श्रद्धालु परिवारों को शुभकामनाएँ दीं। उन्होंने छठ पर्व को समाज में सामूहिक आस्था, स्वच्छता और सांस्कृतिक एकता का प्रतीक बताया।
अन्य घाटों पर भी दिखी श्रद्धा की लहर
गंगामुंडा तालाब के साथ ही शहर के दलपत सागर छठ घाट और इन्द्रावती नदी के महादेव घाट पर भी श्रद्धालुओं की भारी भीड़ रही। व्रती महिलाओं ने कमर तक जल में उतरकर सूर्य देव से परिवार की सुख-शांति,आरोग्य और समृद्धि की कामना की। बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश से आए श्रद्धालुओं ने भी परंपरागत रीति से पूजा-अर्चना कर आस्था का भाव दर्शाया।
आस्था और सुरक्षा का संगम
मुख्य घाट पर रेड कार्पेट और आकर्षक साज-सज्जा की गई थी। साथ ही पुलिस और एसडीआरएफ के जवानों की तैनाती थी। पूरा घाट आतिशबाजी से गंगामुंडा तालाब झिलमिलाया। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष व विधायक, सांसद ने दी शुभकामनाएँ देने दलपत सागर और इन्द्रावती नदी के महादेव घाट पहुंच छठधारी मातृशक्तिया और परिवार को बधाई दी। अन्य घाटों पर भी उमड़ा आस्था का सैलाब उमड़ा रहा।गंगामुंडा तालाब पर कमर तक जल में उतर सूर्य देव को अर्घ्य देती व्रतधारी महिलाएँ को देखने भीड़ जुटी रही। वही घाट तट पर आतिशबाजी और भोजपुरी, मैथली एव मगही भक्ति गीतों से घाट परिसर गूंजता रहा।
आज उदीयमान सूर्य को देंगे अर्घ्य
छठ महापर्व कल सोमवार को छठ महापर्व का अंतिम दिन रहेगा। व्रती महिलाएँ उदीयमान सूर्य को अर्घ्य अर्पित कर चार दिन के इस महान पर्व का समापन करेंगी। बगंगामुंडा तालाब, दलपत सागर और महादेव घाट पर भोर से ही श्रद्धालुओं का तांता लगेगा। प्रशासन ने सुबह की पूजा के लिए प्रकाश, सुरक्षा और साफ-सफाई की अतिरिक्त व्यवस्था की है। भोर के सूर्योदय के साथ जब व्रती महिलाएँ जल में उतरकर सूर्य देव को अर्घ्य देंगी, तब आस्था, भक्ति और समर्पण का वह क्षण पूरे शहर को भाव-विभोर कर देगा।