Investment Tips: T-Bills में करें SIP, पाएं सुरक्षित और बेहतर रिटर्न; RBI की नई सुविधा
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने रिटेल डायरेक्ट प्लेटफॉर्म पर T-Bills के लिए SIP सुविधा शुरू की है। निवेशक सरकारी प्रतिभूतियों में सुरक्षित व ऑटोमैटिक निवेश कर 6-7% तक सालाना रिटर्न पा सकते हैं।
T-Bills में करें SIP निवेश, पाएं सुरक्षित और बेहतर रिटर्न; RBI की नई सुविधा
T-Bills SIP Investment : भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने रिटेल निवेशकों के लिए सरकारी प्रतिभूतियों, विशेष रूप से ट्रेजरी बिल्स (T-Bills) में निवेश को आसान और व्यवस्थित बनाने के लिए SIP सुविधा शुरू की है। इस नई पहल के तहत निवेशक अब नियमित अंतराल पर ऑटोमैटिक तरीके से T-Bills में निवेश कर सकेंगे।
RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा ने मौद्रिक नीति समीक्षा में यह घोषणा करते हुए कहा कि T-Bills पूरी तरह जोखिम-मुक्त सरकारी उपकरण हैं और बैंक बचत खाते की तुलना में बेहतर रिटर्न प्रदान करते हैं।
T-Bills क्या हैं और कैसे काम करते हैं?
T-Bills एक तरह से सरकारी बॉन्ड है, जिसमें सिस्टमैटिक निवेश (SIP) की सुविधा मिलती है। यह निवेश 14 दिन, 91 दिन, 182 दिन और 364 दिन के लिए होता है। निवेशकों को इसमें एक निश्चित रिटर्न मिलता है, जो सामान्यत: बैंक एफडी से अधिक होता है।
- कैसे काम करते हैं: T-Bills डिस्काउंट पर खरीदे जाते हैं और मैच्योरिटी पर फेस वैल्यू पर रिडीम होते हैं।
- न्यूनतम निवेश: ₹10,000 (मल्टीपल्स में अधिक निवेश संभव)
- रिटर्न: औसतन 6-7% वार्षिक (बाजार दरों के आधार पर)
- उदाहरण: ₹130 के फेस वैल्यू वाला 91-दिन का T-Bill ₹128 में खरीदें तो मैच्योरिटी पर ₹130 मिलेंगे यानी ₹2 लाभ।
रिटेल डायरेक्ट प्लेटफॉर्म क्या है?
RBI ने नवंबर 2021 में रिटेल डायरेक्ट प्लेटफॉर्म लॉन्च किया था। निवेशक इसके जरिए सीधे RBI के साथ Gilt Account खोलकर सरकारी प्रतिभूतियों में निवेश कर सकते हैं। मई 2024 में इसका मोबाइल ऐप भी लॉन्च किया है, जिसके बाद स्मार्टफोन से ही निवेश और प्रबंधन संभव है। अब SIP सुविधा शुरू की गई है।
SIP (Systematic Investment Plan) के फायदे
SIP में निवेशक वीकली या मंथली ऑटो-इन्वेस्टमेंट सेट कर सकते हैं। हर बार उन्हें मैनुअल बोली लगाने की जरूरत नहीं पड़ती। इससे लंबे समय के लिए बचत और निवेश करने की आदत विकसित होती है। सरकारी गारंटी होने के कारण यह पूरी तरह सुरक्षित निवेश है।