3 हजार SIP Vs 3 Lakh Lump Sum: लंबी अवधि में किससे होगी ज्यादा कमाई? आसान भाषा में समझें पूरा गणित

SIP Vs Lump Sum: 3 हजार एसआईपी से 10 साल में लगभग Rs 6.72 लाख का फंड बन सकता है। वहीं, 3 लाख को एकमुश्त लगाने पर 10 साल बाद करीब Rs 9.32 लाख मिल सकते हैं।

Updated On 2025-11-14 18:07:00 IST

निवेश के लिए एसआईपी बेहतर या LUMP SUM, जानें। 

SIP Vs Lump Sum: म्यूचुअल फंड आज भारत में सबसे पसंदीदा निवेश विकल्पों में से एक बन चुके हैं। वजह साफ है कि कम रकम से भी बड़ा फंड बनाया जा सकता है और कंपाउंडिंग की ताकत लंबी अवधि में शानदार रिटर्न देती है। लेकिन एक सवाल हर निवेशक के मन में रहता है कि क्या हर महीने एसआईपी करना बेहतर है या फिर एक साथ बड़ा पैसा लगाना यानी लंप संप में

इसी सवाल को आसान भाषा में समझें कि 3000 की SIP और 3 लाख के एकमुश्त निवेश के उदाहरण से।

SIP Vs Lump Sum निवेश में क्या अंतर है?

एसआईपी में आप हर महीने छोटी-छोटी किश्तों में निवेश करते हैं। इससे बाजार के उतार-चढ़ाव का असर कम होता है और आप रुपये की कॉस्ट एवरेजिंग का फायदा उठाते हैं, यानी जब बाजार नीचे हो तो ज्यादा यूनिट मिलती हैं और जब ऊपर हो तो कम।

दूसरी ओर, लंप संप निवेश में पूरा पैसा एक बार में बाजार में डाल दिया जाता है। अगर बाजार नीचे जा रहा तो शुरुआती नुकसान दिख सकता है लेकिन अगर मार्केट अगले सालों में बढ़ता है, तो कंपाउंडिंग की वजह से रिटर्न काफी अधिक मिलता है।

अब आते हैं आंकड़ों पर कि अगर औसत 12 फीसदी रिटर्न मिलता है तो 10 साल में यही निवेश कितना हो जाएगा।

1. 3 हजार की एसआईपी

  • मासिक निवेश: 3000
  • अवधि: 10 साल
  • कुल निवेश: Rs 3.6 लाख
  • अनुमानित रिटर्न: Rs 3.12 लाख
  • मैच्योरिटी अमाउंट: Rs 6.72 लाख

2. 3 लाख Lump Sum

  • एकमुश्त निवेश: 3 लाख
  • अवधि: 10 साल
  • अनुमानित रिटर्न: 6.32 लाख
  • मैच्योरिटी अमाउंट: 9.32 लाख

कौन-सा विकल्प आपके लिए सही है?

अगर आप सैलरी पाने वाले हैं और हर महीने कुछ बचत कर सकते हैं, तो एसआईपी सबसे आसान और सुरक्षित तरीका है। इससे धीरे-धीरे बड़ा फंड बनता है और मार्केट की गिरावट में भी फायदा मिलता है। लेकिन अगर आपके पास पहले से एक बड़ा अमाउंट पड़ा है जैसे 3 लाख रुपये और आप लंबी अवधि (7 से 10 साल या उससे ज्यादा) के लिए निवेश करना चाहते हैं, तो लंप संप अधिक रिटर्न दे सकता है, बशर्ते आप बाजार के उतार-चढ़ाव को संभालने का जोखिम उठा सकें।

यानी, एसआईपी सावधान निवेशकों के लिए और लंप संप उच्च जोखिम उठाने वालों के लिए बेहतर माना जाता है।

(प्रियंका कुमारी)

(Disclaimer: ये आर्टिकल सामान्य जानकारी पर है। हरिभूमि इसकी पुष्टि नहीं करता है। शेयर बाजार या म्यूचुअल फंड में निवेश करने से पहले किसी विशेषज्ञ से जरूर सलाह कर लें)

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