पर्यावरण प्रेमियों का अनोखा रक्षाबंधन: कबाड़ से बनाई बड़ी-बड़ी राखियां, जीवन रक्षा के संदेशों के साथ पेड़ों को बांधी

बालोद जिले में पर्यावरण प्रेमियों ने कबाड़ और पुराने सामान से 5 फीट लंबी-चौड़ी राखियां तैयार की। इस दौरान उन्होंने जवानों को समर्पित करने के साथ सर्पदंश जागरूकता का भी संदेश दिया।

Updated On 2025-08-09 15:00:00 IST

पेड़ों को बांधी गई 5 फीट की राखी 

राहुल भूतड़ा- बालोद। छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में धूमधाम से रक्षाबंधन का पर्व मनाया जा रहा है। इसी बीच यहां के दो पर्यावरण प्रेमी अनोखा रक्षाबंधन मनाते हुए नजर आए। जिन्होंने कबाड़ और पुराने सामान से 5 फीट लंबी-चौड़ी राखियां तैयार कर समाज को खास संदेश दिया। साथ ही वीर जवानों को समर्पित किया, तो दूसरे ने सर्पदंश जागरूकता का भी संदेश दिया।

बालोद जिले के पर्यावरण प्रेमी भोज साहू ने कबाड़ से जुगाड़ कर साइकिल के रिंग, स्पोक और पुराने कपड़ों से 5x5 फीट की तिरंगे थीम वाली राखियां बनाई और इसे वीर जवानों के नाम समर्पित करते हुए सड़क किनारे नीम के पेड़ पर लगाया। इस राखी पर लिखी पंक्तियां राहगीरों को हमारे जवानों के बलिदान की याद दिलाती हैं। वहीं, ग्रीन कमांडो वीरेंद्र सिंह ने वेस्ट मटेरियल से राखी बनाकर सर्पदंश से बचाव का संदेश दिया।


लोगों से की अपील
भोज साहू ने लोगों से अपील की कि सर्पदंश की स्थिति में झाड़-फूंक की बजाय तुरंत स्वास्थ्य केंद्र पहुंचें, क्योंकि अज्ञानता के चलते हर साल हजारों लोग अपनी जान गंवा देते हैं। इन दोनों पहलों ने साबित किया कि, त्यौहार सिर्फ खुशियां मनाने का ही नहीं, बल्कि समाज को जागरूक करने और प्रेरित करने का भी अवसर हैं। रक्षाबंधन के धागों में जब संवेदनशील संदेश पिरोए जाएं, तो ये रिश्तों के साथ-साथ जिम्मेदारियों को भी मजबूत कर जाते हैं। 

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