गिद्ध मित्र दल का सराहनीय कदम : दुर्लभ भारतीय गिद्ध के बीमार बच्चे को दिया नवजीवन, 5 दिन तक की सेवा

गिद्ध मित्र दल ने बीमार गिद्ध के बचचे का रेस्क्यू कर 5 दिन तक उपचार किया। डिहाइड्रेशन के चलते वह उड़ने में असमर्थ था।

Updated On 2024-07-05 18:14:00 IST
गिद्ध मित्र दल

महेंद्र विश्वकर्मा- जगदलपुर। छत्तीसगढ़ के टाइगर रिजर्व बीजापुर के विशेषज्ञ सूरज नायर ने गिद्धों के संरक्षण के लिए रिजर्व से सटे गांव मेनूर, बामनपुर, मददेड़ क्षेत्र में 6 गिद्ध मित्र बनाए। वे गिद्ध का सर्वेक्षण, रहवास के स्थान, इनकी आबादी का अवलोकन, इनके वंशनाश के कारण स्थानीय ग्रामीणों में जागरूकता का प्रचार-प्रसार कर रहे हैं। 

गिद्ध मित्रों का ये दल जंगल में गस्त करते हैं, गस्त के दौरान हाल ही में दल को सीमावर्ती राज्य तेलंगाना के रूद्रारम के जंगलों में भारतीय प्रजाति के गिद्ध का बच्चा गिरा हुआ मिला। उसकी जांच की तो पता चला कि, डिहाइड्रेशन के चलते वह उड़ नहीं पा रहा है। गिद्ध मित्रों ने उसे बेहतर से बेहतर सेवा दी, जिससे उसका रेस्क्यू करने में सहायता मिली और गिद्ध के बीमार बच्चे को उन्होंने अपने साथ बीजापुर लाकर रेस्ट हाऊस में रखा। 

पांच दिन की सेवा के बाद उड़ चला नील गगन की ओर

वहां टाइगर रिजर्व बीजापुर के उप निदेशक संदीप बलगा, डिप्टी डॉयरेक्टर वेटनरी एवं डॉक्टर्स के माध्यम से विशेषज्ञ सूरज नायर गिद्ध मित्रों के साथ 5 दिन तक उसे दवाई देते रहे और दिन - रात उसको अपनी निगरानी में रखा। उनकी इन्हीं सेवाओं के चलते अब बीमार गिद्ध का बच्चा स्वस्थ्य हुआ और उड़ने लगा। उसे छोड़ दिया गया और अब वह उड़ कर चला गया। शायद वह अपने परिजनों के पास पहुंचने में सफल भी रहा हो। 

वन्यप्राणी बीमार मिले तो उपचार कराने के निर्देश

इंद्रावती टायगर रिजर्व जगदलपुर के मुख्य वन संरक्षक (वन्य जीवन) एवं क्षेत्रीय निदेशक आरसी दुग्गा ने बताया कि, रिजर्व में अधिकारियों एवं कर्मचारियों को निर्देश दिया गया है कि, बीमार वन्य जीव कहीं मिले तो वेटनरी के डॉक्टर से उनका उपचार कराएं, ताकि वन्य प्राणी स्वस्थ्य हो सकें।

Similar News