ऑनलाइन सट्टे पर सियासत : बघेल ने उठाया सवाल, पूछा- पीडीएम, एक्सचेंज, टाइगर के नाम से अब कौन चला रहा है सट्टा 

हरिभूमि की खबर को पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने शेयर किया और ट्वीट कर सरकार से पूछा कि, ...तो अब कौन चला रहा है ऑनलाइन सट्टे का कारोबार? 

By :  Ck Shukla
Updated On 2024-07-20 20:29:00 IST
महादेव सट्टा एप्प

रायपुर। छत्तीसगढ़ में सट्टेबाजी को लेकर सियासत थमने का नाम नहीं ले रही है। महादेव सट्टा ऐप ने राज्य के सियासी गलियारे में जो तूफान मचाया है वह बाकायदा लोकसभा और विधानसभा के चुनावों में भी देखने को मिला। इसी कड़ी में सट्टा संचालक अब महादेव एप की जगह पीडीएम, एक्सचेंज, टाइगर नाम से आईडी बांट रहे हैं और उससे ऑनलाइन सट्टा खिलवा रहे हैं। हरिभूमि ने इसकी पड़ताल कर इसको प्रमुखता से प्रकाशित किया। जिसके बाद शनिवार को पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने उसी खबर को शेयर किया और ट्वीट कर सरकार से पूछा कि, तो अब कौन चला रहा है ऑनलाइन सट्टे का कारोबार? केंद्र की मोदी-भाजपा सरकार संरक्षण दे रही है या राज्य की विष्णु देव सरकार? क्यों बंद नहीं हो रहा है ऑनलाइन सट्टा? क्यों गिरफ्तार नहीं हो रहे हैं विदेश में बैठे सट्टा चलाने वाले? सट्टा चल रहा साँय-साँय। 

हरिभूमि ने पड़ताल कर प्रकाशित की खबर 

दरसअल, दो साल पहले महादेव आईडी के नाम से बड़े-बड़े विज्ञापन प्रकाशित होते थे। लाखों रुपए लेकर आईडी बेची जाती थीं और उसके माध्यम से छत्तीसगढ़ समेत पूरे देश में सट्टा खिलाया जाता था। महादेव आईडी के कर्ताधर्ता छत्तीसगढ़ से जुड़े थे तो सबसे ज्यादा जाल इसी प्रदेश में फैलाया गया। रसूखदार लोग इस धंधे से जुड़े। राजनीतिक प्रशासनिक, पुलिस से लेकर गुंडे मवालियों ने खूब पैसा कमाया। हरिभूमि ने इसका खुलासा किया और देखते ही देखते सरगना फरार हो गए और सैकड़ों लोगों की गिरफ्तारियां की गईं। लेकिन अरबों के इस धंधे की कमर नहीं टूटी। महादेव सट्टा एप के ऑपरेटर रवि उप्पल और सौरभ चंद्राकर ने विदेश में भी अपने पैर पसारे। 

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