गुरु घासीदास जयंती पर कसडोल में भव्य आयोजन: शोभायात्रा के बाद हुईं विभिन्न स्पर्धाएं, पंथी नृत्य में बिल्लहरी ने मारी बाजी
कसडोल में संत शिरोमणि गुरु घासीदास बाबा की 269वीं जयंती 27 दिसंबर को मनाई गई। शोभायात्रा के बाद विभिन्न स्पर्धाएं हुईं। पंथी नृत्य में बिल्लहरी ने मारी बाजी।
कसडोल में 27 दिसंबर को मनाई गई गुरु घासीदास बाबा जी की जयंती
डेविड साय- कसडोल। बलौदाबाजार जिले के कसडोल में संत शिरोमणि गुरु घासीदास बाबा की 269वीं जयंती 27 दिसंबर को मनाई गई। इस अवसर पर कसडोल नगर में भक्ति, संस्कृति और सामाजिक समरसता का अद्भुत दृश्य देखने को मिला। सतनाम युवा मंच कसडोल नगर में भव्य शोभायात्रा का आयोजन किया गया, जिसमें क्षेत्रभर से हजारों श्रद्धालुओं ने सहभागिता रही।
शोभायात्रा की शुरुआत कसडोल स्थित सतनाम भवन से हुई। यह यात्रा नगर के प्रमुख मार्गों से होते हुए पूरे कसडोल का भ्रमण करते हुए गुरु घासीदास बाबा चौक में विधिवत रूप से सम्पन्न हुआ। शोभायात्रा में महिलाएं, पुरुष, युवा और बच्चे बड़ी संख्या में सतनामी समाज के लोग शामिल हुए। श्रद्धालु पारंपरिक वेशभूषा धारण कर बाबा के जयकारे लगाते हुए, झांकियों और सादे ध्वज-के साथ आगे बढ़ते नजर आए। पूरे नगर में धार्मिक उत्साह, भक्ति और अनुशासन का वातावरण बना रहा।
प्रतियोगिता में कई जिलों के कलाकारों ने लिया भाग
शोभायात्रा के समापन बाद रात में राज्यस्तरीय खड़ी पंथी नृत्य प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया, जिसने दर्शकों को देर रात तक मंत्रमुग्ध कर दिया। इस प्रतियोगिता में छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों से आई पंथी नृत्य दलों ने अपनी उत्कृष्ट कला और परंपरा का शानदार प्रदर्शन किया। इस प्रतियोगिता में प्रथम पुरस्कार 50,000 रुपये, मां सबरी दाई राइस मिल सर्वानी (सर्वा) के संचालक अजय बंजारे द्वारा ,द्वितीय पुरस्कार 30,000 रुपये डॉ सुरेंद्र दिव्यकार सर्जन आद्या हॉस्पिटल कसडोल और तृतीय पुरस्कार 20,000 रुपये पप्पू दिवाकर और ऋषभ दिवाकर के द्वारा प्रदान किया गया।
संत समाज पंथी नृत्य एवं छाकी पार्टी बिल्लहरी ने प्रथम स्थान प्राप्त किया
निर्णायकों के निर्णय अनुसार, प्रथम स्थान संत समाज पंथी नृत्य एवं छाकी पार्टी, बिल्लहरी (जिला राजनांदगांव) ने प्राप्त किया। द्वितीय स्थान संत शिरोमणि गुरु घासीदास आदर्श युवा लोक कला मंडल, पंथी नृत्य दल को मिला, जबकि तृतीय स्थान मां सफूरा माता बालिका पंथी नृत्य दल, उमरपोटी (जिला दुर्ग) ने प्राप्त किया।
बाबा जी के संदेशों को हर समाज में पहुंचाना उद्देश्य
आयोजकों ने बताया कि, इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य संत गुरु घासीदास बाबा के महान संदेश “मनखे-मनखे एक समान” को समाज के हर वर्ग तक पहुंचाना, सामाजिक एकता को मजबूत करना और युवा पीढ़ी को अपनी सांस्कृतिक विरासत और परंपराओं से जोड़ना है। इस कार्यक्रम की सफलता में सतनाम युवा मंच के सदस्यों, कलाकारों, अतिथियों और कसडोल नगरवासियों का सराहनीय योगदान रहा। आयोजन ने न केवल धार्मिक आस्था को सशक्त किया, बल्कि छत्तीसगढ़ की लोक कला और पंथी नृत्य की समृद्ध परंपरा को भी नई पहचान दी।
ये लोग रहे मौजूद
कसडोल नगर में आयोजित इस कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि के रूप में अजय बंजारे, कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ सुरेंद्र दिव्यकार, विशिष्ट अतिथि पप्पू दिवाकर, ऋषभ दिवाकर, अतिथि में डॉ रवि अजगले बीएमओ कसडोल, मनीष वारे, कसडोल एस डी ओ पी कौशल किशोर वासनिक, गायत्री यशवंत जाटवार, संजय बंजारे, पंकज घृतलहरे, देवेन्द्र खूंटे, असम से आए मनीषा घृतलहरे, जयशीला घृतलहरे, विश्वनाथ जांगड़े, हरिकांत राजू साहू, संतोष साहू सहित अन्य लोग मौजूद थे।