CII Annual Conference: उद्योगपति मित्तल बोले-क्रिप्टो और AI पर काम करे भारत, खुलेंगे विकास के नए द्वार
सुनील भारती मित्तल ने कहा- क्रिप्टो और एआई ऐसे क्षेत्र हैं, जहां सरकार को गंभीरता से नियामकीय ढांचे पर काम शुरू कर देना चाहिए। ताकि, तेजी से प्रगति कर रही इस तकनीक का भारत पूरा लाभ उठा सके।
Sunil Bharti Mittal
CII Annual Conference : भारती एयरटेल के चेयरमैन सुनील भारती मित्तल ने कहा कि भारत को क्रिप्टोकरेंसी और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के क्षेत्र में काम करने की जरूरत है। गुरुवार (29 मई) को दिल्ली में भारतीय उद्योग परिसंघ (CII) के वार्षिक सम्मेलन में कहा, क्रिप्टोकरेंसी और एआई में तेजी से हो रही प्रगति भारत के लिए नए अवसरों के द्वार खोल रही है, लेकिन इसके लिए एक सशक्त और विवेकपूर्ण नियामक ढांचे की जरूतर भी सामने की जा रही है।
सुनील भारती मित्तल ने कहा- क्रिप्टो और एआई ऐसे क्षेत्र हैं, जहां सरकार को गंभीरता से नियामकीय ढांचे पर काम शुरू कर देना चाहिए। ताकि, तेजी से प्रगति कर रही इस तकनीक का भारत पूरा लाभ उठा सके।
भारत-अमेरिका व्यापार संबंधों के लिए सकारात्मक पहल
भारती एयरटेल के चेयरमैन मित्तल ने भारत-अमेरिका व्यापार संबंधों पर भी टिप्पणी की है। कहा, वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल की भूमिका की सराहनीय है। वह भारत-अमेरिका व्यापार वार्ता को आगे ले जाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। वे इस प्रक्रिया को सकारात्मक और परिणामदायी बनाने के लिए लगातार प्रयास भी कर रहे हैं।
टैलेंट पूल को भविष्य के लिए तैयार करें
सुनील मित्तल ने सीआईआई ‘एनुअल बिजनेस समिट’ में 5जी डिप्लॉयमेंट में भारत की सफलता का उदाहरण दिया। कहा, राष्ट्र को जनसांख्यिकीय लाभांश को पहचानना होगा। भारत का युवा और ऊर्जावान वर्कफोर्स विकसित दुनिया के लिए उपयोगी साबित हो सकता है, लेकिन उनके टैलेंट पूल को भविष्य के लिए तैयार करना होगा।
इनोवेशन के साथ डीप साइंटिफिक रिसर्च जरूरी
सुनील मित्तल ने कहा, भारत में वैश्विक क्षमता केंद्रों (जीसीसी) का तेजी से विकास इसका स्पष्ट संकेत है। रिसर्च और डेवलपमेंट फ्रंट पर देश को इनोवेशन के साथ-साथ डीप साइंटिफिक रिसर्च में निवेश बढ़ाने की जरूरत है। इसमें उद्योगों को भी अग्रणी भूमिका निभानी होगी।
10 साल में सही निवेश से बड़ा बदलाव
मित्तल ने कहा, आरएंडडी में सार्वजनिक-निजी भागीदारी मल्टीप्लायर इफेक्ट पैदा कर रही है। हमें उद्देश्य-संचालित उत्पाद और सेवाएं बनाने और वैल्यू एडिशन के साथ निर्यात पर ध्यान देना होगा। अगले 10 साल में सही निवेश के साथ, हम बड़ा बदलाव कर सकते हैं। खासकर सेमीकंडक्टर में, जो रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण होते जा रहे हैं।
सरकारी नीतियों में हो उद्योगों की भागीदारी
सुनील मित्तल ने पूर्वोत्तर राज्यों का जिक्र करते हुए कहा, यह तेल और गैस भंडारों से समृद्ध हैं, लेकिन पूरी तरह से इनका दोहन नहीं हुआ। सरकारी नीतियों को उद्योग की भागीदारी के साथ मिलकर बनाए जाने पर जोर दिया। कहा, सीआईआई जैसे निकायों को सरकार के साथ मिलकर काम करना होगा।