मेडिकल कॉलेज में तब्दील होंगे जिला अस्पताल: मोहन कैबिनेट का बड़ा फैसला, गरीबों के लिए रिजर्व होंगे बेड, प्राइवेट एजेंसी को काम

Mohan Yadav cabinet Big decision
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Mohan Yadav cabinet Big decision
Mohan Yadav cabinet Big decision: मध्यप्रदेश सरकार ने सोमवार को तय किया कि जिस जिले में मेडिकल कॉलेज नहीं है, वहां पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप मोड पर जिला अस्पतालों को मेडिकल कॉलेज के रूप में विकसित किया जाएगा। 

Mohan Yadav cabinet Big decision: मध्यप्रदेश की मोहन यादव सरकार ने प्रदेश के हर में मेडिकल कॉलेज बनाने का फैसला लिया है। सोमवार को अयोध्या रवाना से पहले हुई कैबिनेट बैठक में तय किया गया कि जिने जिलों में मेडिकल कॉलेज नहीं हैं, वहां के जिला अस्पतालों को PPP (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) मोड पर अपग्रेड मेडिकल कॉलेज बनाया जाएगा। जिला अस्पतालों को मेडिकल कॉलेज बनाने की जिम्मेदारी प्राइवेट एजेंसी को सौंपी जाएगी।

नगरीय विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कैबिनेट फैसले की जानकारी देते हुए बताया कि 75 फीसदी बेड गरीबों के लिए आरक्षित होंगे। शेष 25 फीसदी बेड प्राइवेट एजेंसी उपयोग कर सकेगी। सरकार ने पंचायत सचिवों को जिले के बाहर तबादले और उनके परिवार को अनुकंपा नियुक्ति दिए जाने का निर्णय लिया है।

मंत्री विजयवर्गीय ने बताया कि केंद्र सरकार ने स्मार्ट सिटी 2.0 योजना की शुरू की है। इस योजना के तहत 100 स्मार्ट शहरों में से 18 को चिह्नित कर 135 करोड़ की राशि आवंटित किया जाएगा। 50 फीसदी राशि राज्य सरकार देगी।

मोहन कैबिनेट के प्रमुख फैसले

  • 2000 प्रोफेर्स को PhD के लिए अधिकृत किया जाएगा।
  • जावरा और उज्जैन के बीच फोरलेन ग्रीनफील्ड एक्सेस कंट्रोल्ड हाईवे बनाया जाएगा। इसके लिए 5000 करोड़ के बजट को मंजूरी दी गई है।
  • PWD और जल संसाधन विभाग की पुरानी योजनाओं के लिए अतिरिक्त बजट को मंजूरी दी गई है।
  • डायल-100 के संचालन के लिए कंपनी को 6 माह का और मौका।
  • जबलपुर में बरेला बायपास के मंगेली गांव में न्यायिक अधिकारियों के प्रशिक्षण के लिए 485.84 करोड़ की लागत से भवन निर्माण किया जाएगा।
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