सुसाइड केस: रेवाड़ी में 6 हजार रिश्वत लेते सब इंस्पेक्टर गिरफ्तार, एंटी करंप्शन ब्यूरो ने रंगे हाथ पकड़ा

Suicide case, Anti Corruption Bureau in Rewari caught sub inspector while taking a bribe of Rs 6000
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रेवाड़ी में ACB टीम ने ESI अधिकारी को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ पकड़ा।
आत्महत्या केस में सब इंस्पेक्टर को घूस लेते हुए ACB की टीम ने रंगे हाथ पकड़ा। आरोपी के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है मामले में आगे की कार्रवाई की जा रही है।

Rewari Crime News: रेवाड़ी से ESI कम सब इंस्पेक्टर द्वारा 6 हजार रुपए रिश्वत लेने का मामला सामने आया है। दरअसल, रेवाड़ी में बावल थाना में तैनात ESI वीर सिंह को एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) की टीम ने 6 हजार रुपए रिश्वत लेते हुए शनिवार को रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया है। जांच में सामने आया है कि आरोपी ने सुसाइड के मामले में रिश्वत मांगी थी। इस बारे में पीड़ित ने ACB टीम को भी जानकारी दे दी। फिलहाल आरोपी ACB टीम की गिरफ्त में है। मामले की जांच की जा रही है।

फांसी लगाकर आत्महत्या
जानकारी के मुताबिक 25 जून को भरतपुर की रहने वाली 23 साल की बीना ने किराये के कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। जांच में यह भी सामने आया है कि 13 जून को बीना घर से लापता हो गई थी। बीना की गुमशुदगी का मामला भरतपुर थाने में भी दर्ज था। पुलिस की तफ्तीश में सामने आया है कि बीना बावल के प्राणपुरा रोड पर किराये के मकान में रहती थी। बीना को किसी लड़के ने किराये पर कमरा दिलवाया था। उस लड़के के साथ ही बीना बावल पहुंची थी। बीना के लापता होने पर उसके परिवार वालो ने बावल थाना में शिकायत दर्ज कराई थी। मामले की जांच बावल थाने में तैनात ईएसआई वीर सिंह कर रहे थे।

आईओ ने लगाए झूठे आरोप
इस मामले में रेवाड़ी एसीबी के इंस्पेक्टर वेदप्रकाश ने बताया कि आईओ वीर सिंह (आरोपी) ने मथुरा निवासी मोहन पाल और उसकी पत्नी को डराया धमकाया और कहा कि उन्होंने ही बीना को कमरा दिलाया था। यह भी कहा कि इस सुसाइड केस में तुम्हारा हाथ है। झूठे आरोप लगाकर आईओ वीर सिंह मोहन पाल से 10 हजार रूपए हड़पना चाहता था। 10 हजार में से 4 हजार रुपए मोहनपाल 7 जुलाई को आरोपी ईएसआई को दे चुका था। मोहनपाल को 6 हजार रुपए और देने थे।

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एसीबी की टीम ने आरोपी को रंगे हाथो पकड़ा
इसके बाद आरोपी बार-बार कॉल करके पीड़ित को परेशान करने लगा। आरोपी का कहना था कि वह जल्द से जल्द 6 हजार रुपए लेना चाहता था। इसके अलावा उसने कहा कि अगर उसने पैसे वापस न लौटाए तो इसका अंजाम अच्छा नहीं होगा। मोहनपाल (पीड़ित) ने इसकी सूचना एसीबी की रेवाड़ी यूनिट को दी। एसीबी के इंस्पेक्टर वेद प्रकाश ने अपनी टीम के साथ मिलकर मामले की जांच की।

एसीबी के इंस्पेक्टर वेद प्रकाश ने पीड़ित को नोट थमाकर आरोपी ईएसआई वीर सिंह को देने के लिए भेज दिया। मोहन पाल ने जैसे आरोपी को 6 हजार रूपए दिए पहले से एक्टिव एसीबी की टीम ने आरोपी को दबोच लिया। एसीबी की टीम आरोपी पुलिसकर्मी को रेवाड़ी स्थित कार्यालय लेकर पहुंची। उसके खिलाफ केस दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।

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