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Blood Donor of Delhi: देश के लिए जान देने वाले ही लोगों के लिए हीरो होते हैं, लेकिन कुछ लोग ऐसे भी होते हैं, जो समाज में रहकर भी देश की सेवा के लिए जी-जान से जुटे रहते हैं। आइये इस खबर में दिल्ली के रियल हीरो से रूबरू कराते हैं।

Blood Donor of Delhi: जिस तरह बॉर्डर पर खड़े हमारे सैनिक देश की हिफाजत में अपनी जान देने को तैयार रहते हैं, वैसे ही हमारे समाज में भी कई ऐसे लोग हैं, जो दूसरों की मदद के लिए जी-जान से जुटे हैं। इन्हीं दिलेरों में शामिल हैं दिल्ली पुलिस के हेड कॉन्स्टेबल आशीष दहिया, जिन्होंने 133 वीं बार रक्तदान करके दिल्ली के सबसे बड़े ब्लड डोनर बन चुके हैं। 40 साल के आशीष दहिया रक्तदान करने की वजह से आज इनकी पहचान देश ही नहीं दुनिया भर में है।

किसी भी जरूरतमंद को रक्तदान करने के लिए ये हमेशा तैयार रहते हैं और अब तक यह 133 बार ब्लड डोनेट कर चुके हैं। दहिया मूल रूप से सोनीपत के खरखौदा सिसाना के रहने वाले हैं और यह अपने वॉट्सऐप ग्रुप, सोशल मीडिया के जरिए जरूरतमंदों की मदद कर रहे हैं। यह साल 2003 से ही रक्तदान की अपनी मुहिम चला रहे हैं। इसके लिए उन्होंने एक वॉट्सऐप ग्रुप भी बनाया हुआ है, जिसमें बड़ी संख्या में लोग उनसे जुड़े हैं। कोविड के समय जरूरतमंदों को रक्तदान करने को लेकर वह काफी चर्चा में थे। उन्होंने आखिरी बार बीती छह फरवरी को 133वीं बार रक्तदान किया है। उन्होंने अपने ट्विटर अकाउंट पर लिखा, 'त्याग भी एक पूजा है, जो भगवान को सबसे प्रिय हैं। दादा दधीचि ऋषि की कृपा से कल एक माताजी के लिए 133वीं बार रक्तदान करने की सेवा प्राप्त हुई।'  

ये है दिल्ली के ब्लड डोनर

आज ऐसे कई ब्लड डोनर हर साल अपना रक्तदान करते हैं। ये रक्तदाता अलग-अलग जातियों और व्यवसायों से हैं। दिल्ली की ब्लड डोनर्स लिस्ट में राजीव कुमार यादव भी टॉप पर हैं। राहुल कुमार, सुभाष हांडा, अभय सूद, श्वेता शर्मा, दीपांशु गोला, आदीश जैन और अभिषेक निश्चल समेत 250 से ज्यादा डोनर्स हैं, जो नियमित रूप से रक्तदान करके समाजसेवा कर रहे हैं।  

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ब्लड बैंकों में स्टोरेज क्षमता

देश में 3840 लाइसेंसी ब्लड बैंक हैं, जिनमें से महज 1244 ब्लड बैंक ही सरकारी हैं। यानी 68 प्रतिशत से ज्यादा ब्लड बैंक प्राइवेट है या फिर एनजीओ ब्लड बैंक को चला रहे हैं। ब्लड डोनेशन के लिए कैंपेन चलाने वाले बताते हैं कि सरकारी या प्राइवेट, अधिकतर ब्लड बैंकों में ब्लड स्टोरेज की क्षमता कम है। मैनपावर कम होने से खून की जांच में काफी समय लगता है। नतीजा, डोनेट किए गए खून का एक बड़ा हिस्सा बर्बाद हो जाता है। देश में 1.25 करोड़ यूनिट ब्लड स्टोरेज है, लेकिन डिमांड 1.46 करोड़ यूनिट की है। इसमें से भी करीब 6 प्रतिशत ब्लड बेकार हो जाता है। 

आप भी रक्तदान अवश्य करें 

www.listofdonors.com पर आप जाकर दिल्ली के रक्तदाताओं की सूची देख सकते हैं। खास बात है कि हर डोनर का नाम ब्लड ग्रुप के हिसाब से लिस्टिंग किया गया है। आप न केवल यहां आपातकालीन स्थिति में ब्लड डोनर्स की मदद मिल जाएगी बल्कि आप यहां स्वयं भी ब्लड डोनर्स में शामिल हो सकते हैं। तो इंतजार किस बात की, आप भी इस पुण्य के कार्य में अवश्य योगदान करें। 

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