INS विक्रमादित्य से मोदी का ऐलान- कमजोर नहीं हैं हम, आंख दि‍खाने वालों को जवाब देंगे

INS विक्रमादित्य से मोदी का ऐलान- कमजोर नहीं हैं हम, आंख दि‍खाने वालों को जवाब देंगे
X
26 मई को पद संभालने के बाद से प्रधानमंत्री का दिल्ली के बाहर यह पहला दौरा होगा।
नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को भारतीय नौसेना के सबसे बड़े एयरक्राफ्ट करियर आईएनएस विक्रमादित्‍य को देश को सौंप दिया। इस दौरान उन्‍होंने कहा कि भारत किसी को आंख दिखाने के पक्ष में नहीं है लेकिन हम किसी के आगे आंख भी नहीं झुकाएंगे, उन्‍होंने कहा कि‍ दुश्‍मनों की हर हरकत का करारा जवाब दि‍या जाएगा। नौसैनिकों को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा, 'सेना में 'वन रैंक-वन पेंशन' योजना लागू करने के साथ ही देश में युद्ध स्मारकों का निर्माण होगा। बदलते समय में देश की सुरक्षा सबसे बड़ी प्राथमिकता हैं जिसमें नौसेना का महत्व बढ़ा है।'

'समुद्र में एक दिन' नाम से नौसेना द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम के दौरान नरेन्द्र मोदी नौसैनिक अधिकारियों और नाविकों को भी सम्बोधित करेंगे। इस दौरान नौसेना के आधुनिकतम लड़ाकू विमान मिग-29K, लम्बी दूरी के समुद्र टोही विमान पी-8-आई , सी हैरियर, पनडुब्बियों के खिलाफ युद्धभूमिका में काम आने वाले टीयू-142 टोही विमान, आईएल-38 , कामोव और सी किंग हेलिकॉप्टर वगैरह की उड़ानें देखेंगे।

इस दौरान दूसरे विमानवाहक पोत आईएनएस विराट, दिल्ली वर्ग के विध्वंसक पोत, तलवार वर्ग के फ्रिगेट वगैरह भी विक्रमादित्य के सामने से गुजर कर प्रधानमंत्री को अपनी विशालता का अहसास दिलाएंगे। इस दौरान मिग-29K लड़ाकू विमानों का विक्रमादित्य पोत पर उतरने का भी प्रदर्शन दिखाया जाएगा। विक्रमादित्य पोत पर हेलिकॉप्टर से पीएम को पहुंचाया जाएगा। नेवी चीफ एडमिरल आरके धवन उनकी अगवानी करेंगे। इसके बाद 150 नौसैनिक पोत पर प्रधानमंत्री को गार्ड ऑफ ऑनर देंगे। 15 हजार करोड़ रुपये की लागत और 45 हजार टन विस्थापन क्षमता वाला विक्रमादित्य पोत दो महीना पहले ही रूस से भारत पहुंचा है।
आईएनएस विक्रमादित्य की खासियत-

आईएनएस विक्रमादित्य 45 हजार टन का भारतीय नौसेना का सबसे बड़ा ही नहीं बल्कि सबसे नया पोत है। तत्कालीन रक्षा मंत्री ए के एंटनी ने रू स के सेवमाश शिपयार्ड से इसे भारतीय नौसेना में पिछले साल 16 नवंबर को शामिल किया था। जहाज करीब 20 मंजिला है, जिसमें कुल 22 डेक हैं। विक्रमादित्य पर 1600 से ज्यादा कर्मी सवार हो सकते हैं।
नीचे की स्लाइड्स में पढ़िए, क्या है मोदी का मकसद -
खबरों की अपडेट पाने के लिए लाइक करें हमारे इस फेसबुक पेज को फेसबुक हरिभूमि और हमें फॉलो करें ट्विटर पर-

और पढ़े: Haryana News | Chhattisgarh News | MP News | Aaj Ka Rashifal | Jokes | Haryana Video News | Haryana News App

WhatsApp Button व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें WhatsApp Logo

Tags

  • 1
  • 2
  • ...
  • 5
  • 6

  • Next Story