नाबार्ड द्वारा आम महोत्सव का शुभारंभ: प्रदेश का पहला जी आई टैग प्राप्त आम ‘सुंदरजा’, जिस पर जारी हुआ डाक टिकट
Bhopal: मध्य प्रदेश का पहला जी आई टैग प्राप्त आम की वैरायटी ‘सुंदरजा’, रीवा जिले में गोविंदगढ़ में पाया जाने वाले सुंदरजा को साल 2023 में जी आई टैग मिला।
मधुरिमा राजपाल, Bhopal: मध्य प्रदेश का पहला जी आई टैग प्राप्त आम की वैरायटी ‘सुंदरजा’, रीवा जिले में गोविंदगढ़ में पाया जाने वाले सुंदरजा को साल 2023 में जी आई टैग मिला। सुंदरजा आम की खोज रीवा के महाराजा रघुराज सिंह ने 1985 में की थी और इंदिरा गांधी के प्रधानमंत्री काल में दिल्ली में आयोजित आम महोत्सव में सुंदरजा आम को प्रथम पुरस्कार भी मिला। अपनी मीठी मिठास और खुशबू के लिए प्रसिद्ध सुंदरजा ऐसा आम बना जिस पर डाक टिकट भी जारी हुए।
यह कहना है रीवा के गोविंदगढ़ से आए सुंदरजा आम उत्पादक आशीष का, जिन्होंने रीवा के प्रसिद्ध सुंदरजा आम को एग्जीबिट किया, जिसकी कीमत 250 रुपए प्रति किलो है। नाबार्ड द्वारा आयोजित ‘आम महोत्सव’ में। 14 जून तक नाबार्ड कार्यालय में आयोजित आम महोत्सव में प्रदेश के अनेकों स्थानों से आए आम उत्पादकों ने अपने अपने आमों की प्रदर्शनी लगाई।
महोत्सव में छिंदवाड़ा के पातालकोट से आए चिन्मय ने छिंदवाड़ा के प्रसिद्ध केसर, दशहरी और मल्लिका जैसे आमों की प्रदर्शनी लगाई। करीब 300 रुपए किलो इन आमों की खासियत है कि यह साइज में काफी बड़े होते हैं और 1 किलो में मुश्किल से दो ही आम चढ़ पाते हैं लेकिन इनका स्वाद अन्य आमों से काफी अलग होता है क्योंकि इन आमों को प्राकृतिक रुप से पकने पर ही पेड़ों से तोड़ा जाता है।
तोतापरी मध्य प्रदेश में सबसे ज्यादा बिकने वाला आम
वहीं महोत्सव में छिंदवाड़ा के ब्लॉक मोहखेड़ से आए अजय गोलडेक और योगेश बड़वा आम्रपाली और तोतापरी आम की बेहतरीन वैरायटी लेकर आए हैं। अजय ने बताया कि मल्लिका जहां बोल्ड और खूबसूरत है तो वहीं आम्रपाली उसकी प्यारी और आकर्षक छोटी बहन है जो आकार में छोटी, लेकिन स्वभाव और दिल से बड़ी। उन्होंने कहा कि तोतापरी मुख्यत: आंध्र प्रदेश में पाया जाता है लेकिन छिंदवाड़ा का तोतापरी भी मध्य प्रदेश में काफी प्रसिद्ध और ज्यादा बिकने वाला आम है और इस आम को बिना किसी केमिकल के प्रयोग के ओरिजिनल तरीके से पकाया जाता हैं जिसमें तेंदू पत्ते के अंदर इन आमों को ढक कर कई दिनों तक रखा जाता है।