कैक्टस लिली, मेघदूत, तलवार... पाक के खिलाफ भारत के सैन्य अभियान; Operation Sindoor जैसी सबकी अपनी कहानी
Indian Army Operations Against Pakistan: भारत हर सैन्य अभियान के लिए एक खास कोड नेम रखता है। पाकिस्तान के खिलाफ जो भी जंग हुई हैं, उनके लिए भी खास कोड रखा गया था। जानिये कौन से थे कोड नेम और क्या है उसके पीछे की कहानी...
Indian Army Operations Against Pakistan: दुनियाभर में आज 'ऑपरेशन सिंदूर' की चर्चा चल रही है। कोई जानना चाहता है कि सिंदूर का अर्थ क्या है, कोई जानना चाहता है कि इस अभियान का नाम किसने रखा। लेकिन, ऐसे लोगों की संख्या कम ही है क्योंकि ज्यादातर लोग तो जान चुके हैं कि इस अभियान का नाम पीएम मोदी ने रखा था क्योंकि आतंकियों ने पहलगाम में महिलाओं के सामने उनके सुहाग उजाड़ दिए थे।
अब भारतीय सेना ने ऑपरेशन सिंदूर से पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में सक्रिय आतंकियों और उनके आलाकमानों को एक चुटकी सिंदूर की कीमत बता दी है। खास बात है कि जब भी कोई युद्ध होता है, तो उस अभियान को खास कोड नेम दिया जाता है। आगे पढ़िये भारत और पाकिस्तान के बीच कब-कब युद्ध हुआ और भारत की ओर से सैन्य अभियानों को क्या कोड नेम दिया गया।
भारत-पाकिस्तान 1971 युद्ध
ऑपरेशन ट्राइडेंट 1971: भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 में भीषण युद्ध हुआ, लेकिन पाकिस्तान को भारत के हाथों करारी शिकस्त का सामना करना पड़ा। यही नहीं, पाकिस्तान से टूटकर बांग्लादेश के नाम से अलग देश बन गया। पाकिस्तान के खिलाफ भारतीय नौसेना ने इस ऑपरेशन का नाम ऑपरेशन ट्राइडेंट रखा था। यह युद्ध 4-5 दिसंबर 1971 को समाप्त हुआ। इसके बाद से हर 4 दिसंबर को नौसेना दिवस मनाकर इस दिन को याद करते हैं।
ऑपरेशन कैक्टस लिली 1971: पाकिस्तान के साथ 1971 की जंग में भारतीय नौसेना की मदद के लिए भारतीय वायुसेना ने भी ऑपरेशन लॉन्च किया था, जिसका नाम रखा था ऑपरेशन कैक्टस लिलि। भारतीय वायु सेना के आगे पाकिस्तानी सेना पस्त हो गई, जिसका नतीजा ये हुआ कि बांग्लादेश की नए राष्ट्र के रूप में स्थापना हो गई। आज भी 1971 की जंग को याद करके पाकिस्तानी तिलमिला जाते हैं।
सियाचिन युद्ध 1987
ऑपरेशन मेघदूत 1984: भारतीय सेना ने 13 अप्रैल 1984 को सबसे ऊंचे युद्ध मैदान यानी सियाचिन ग्लेशियर पर नियंत्रण पाने के लिए ऑपरेशन मेघदूत के तहत सैन्य हमला किया। यह सैन्य अभियान इसलिए खास था कि इतने ऊंचे युद्ध स्थल पर भी सेना ने अद्भूत पराक्रम दिखाया।
ऑपरेशन राजीव 1987: पाकिस्तान ने सियाचिन की कायद चौकी पर नियंत्रण कर लिया। भारतीय सेना ने इस चौकी पर नियंत्रण पाने के लिए ऑपरेशन राजीव के तहत सैन्य कार्रवाई की गई। ऑपरेशन के परिणामस्वरूप भारत ने पाकिस्तानी सैनिकों को खदेड़ दिया और इस पोस्ट पर नियंत्रण पा लिया। इसमें परमवीर चक्र सम्मानित कैप्टन बाना सिंह के साहस को सराहा गया। उनके नाम पर ही इस पोस्ट का नाम बदलकर बाना पोस्ट कर दिया गया था।
ऑपरेशन विजय 1999
भारत और पाकिस्तान के बीच 1999 में कारगिल युद्ध हुआ। पाकिस्तानी सेना ने कई चौकियों को अपने नियंत्रण में ले लिया था। पाकिस्तान से इन भारतीय पोस्ट को वापस लेने के लिए ऑपरेशन विजय चलाया गया। दोनों तरफ से भारी गोलीबारी हुई, लेकिन अंत में पाकिस्तान को फिर से भागना पड़ा। कारगिल युद्ध में भारतीय वायु सेना और नौसेना ने भी अलग से ऑपरेशन चलाया था।
ऑपरेशन सफेद सागर 1999: कारगिल युद्ध के दौरान भारतीय वायुसेना ने भारतीय थल सेना को सहायता प्रदान करने के लिए ऑपरेशन सफेद सागर लॉन्च किया। वायुसेना ने दुश्मन सेना पर बमबारी कर उन्हें भागने को मजबूर कर दिया।
ऑपरेशन तलवार 1999: भारतीय नौसेना ने भी भारतीय थल सेना की मदद के लिए ऑपरेशन तलवार के तहत सैन्य सहायता दी। उत्तरी अरब सागर में नौसेना के बेड़े तैनात कर दिए गए ताकि पाकिस्तान को भारत की सैन्य क्षमता पता चल सके। यह कार्य ऑपरेशन विजय के सफल होने के लिए जरूरी थे। अंत में जीत भारत को मिली और पाकिस्तान को मुंह की मार खाकर लौटना पड़ा।
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