शशि थरूर के समर्थन में मनोज तिवारी: कांग्रेस पर साधा निशाना, बोले- मुझे हैरत होती है...
Operation Sindoor: शशि थरूर को ऑपरेशन सिंदूर के लिए प्रतिनिधिमंडलों में एक की अघुआई करने के लिए चुना गया है। इसको लेकर कांग्रेस नेताओं में खुशी नहीं है। इसके लिए बीजेपी नेता मनोज तिवारी और मनजिंदर सिरसा ने कांग्रेस पर निशाना साधा है।
मनोज तिवारी ने शशि थरूर का किया समर्थन।
Operation Sindoor: पहलगाम में आतंकी हमले के बाद पूरा भारत एक लय में आतंक के खिलाफ खड़ा रहा। भारत ने भी आतंकवाद के खिलाफ सख्त कदम उठाते हुए पाकिस्तान के आतंकवादी ठिकानों पर हमला कर दुनिया को संदेश दिया कि भारत आतंकवाद पर नरमी नहीं बरतेगा। इसी कड़ी में भारत सरकार ने सात सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडलों को को चुनकर विदेश भेजने का निर्णय लिया है। ये प्रतिनिधि दुनिया को संदेश देंगे कि भारत आतंकवाद पर किसी तरह की नरमी नहीं बरतेगा।
शशि थरूर के समर्थन में आए मनोज तिवारी
इसमें खास बात ये है कि इन प्रतिनिधिमंडलों में से एक की अगुवाई कांग्रेस नेता और सांसद शशि थरूर करने वाले हैं। इसको लेकर कांग्रेस के अंदर ही सवाल उठने लगे हैं। कांग्रेस की इस चुप्पी पर बीजेपी सांसद मनोज तिवारी ने निशाना साधा है। मनोज तिवारी ने कहा कि मुझे इस बात की हैरानी है कि क्या शशि थरूर को कांग्रेस अपना नहीं मानती? वे देश के एक जाने-माने नेता और शानदार वक्ता हैं।
अगर शशि थरूर को देश का प्रतिनिधित्व करने का मौका मिल रहा है, तो ये अच्छी बात है। कांग्रेस को तो इस पर गर्व होना चाहिए। हालांकि दुख की बात तो ये है कि कांग्रेस के नेता तो उन्हें समर्थन तक नहीं दिखा रहे। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के अंदर कई कांग्रेस बसे हुए हैं, जो कांग्रेस की कमजोरी है।
मनजिंदर सिंह सिरसा ने भी कांग्रेस पर साधा निशाना
इस मुद्दे को लेकर दिल्ली बीजेपी के मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने भी कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि अगर शशि थरूर को देश का प्रतिनिधित्व करने का मौका मिल रहा है, तो ये कांग्रेस के लिए गर्व की बात होनी चाहिए। उनकी आलोचना करना गलत है।
कांग्रेस नेताओं को इस बात से नाराजगी
बता दें कि भारत सरकार ने शशि थरूर को आतंकवाद के खिलाफ देश को भारत का रुख बताने के लिए चुना। इसका एक कारण ये भी है कि शशि थरूर अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की बात प्रभावशाली ढंग से रखने की क्षमता रखते हैं। वहीं कांग्रेस नेताओं को इस बात की नाराजगी है कि शशि थरूर को इस प्रतिनिधिमंडल में शामिल होने से पहले पार्टी की सलाह लेनी चाहिए थी।