राष्ट्रीय एकता दिवस विशेष: सरदार पटेल की 150वीं जयंती पर आज पूरे प्रदेश में गूंजेगी 'रन फॉर यूनिटी' का संदेश

सरदार पटेल की 150वीं जयंती पर आज पूरे प्रदेश में गूंजेगी रन फॉर यूनिटी का संदेश
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​इस दौड़ के माध्यम से, युवाओं और आम नागरिकों को यह संदेश दिया जा रहा है।

इसका उद्देश्य लौह पुरुष को श्रद्धांजलि देते हुए देश की एकता और अखंडता का संदेश फैलाना है, जिसमें छात्र, पुलिसकर्मी और नागरिक भाग लेंगे।

लखनऊ : ​लौह पुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल की 150वीं जयंती के उपलक्ष्य में, जिसे राष्ट्रीय एकता दिवस के रूप में मनाया जाता है, आज पूरे उत्तर प्रदेश में 'रन फॉर यूनिटी' का भव्य आयोजन किया जा रहा है। इस दौड़ का मुख्य उद्देश्य देश की एकता, अखंडता और राष्ट्रीय समरसता के प्रति नागरिकों के संकल्प को सुदृढ़ करना है। उत्तर प्रदेश पुलिस, प्रशासन और भारतीय जनता पार्टी सहित विभिन्न संगठन इस कार्यक्रम का नेतृत्व कर रहे हैं।

इस कार्यक्रम में पुलिसकर्मियों, प्रशासनिक अधिकारियों, विद्यालयों और महाविद्यालयों के छात्र-छात्राओं, एनसीसी कैडेटों, स्काउट्स, स्वयंसेवकों और आम नागरिकों सहित समाज के हर वर्ग की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित की जा रही है।प्रदेश के सभी जिलों और पुलिस कमिश्नरेट मुख्यालयों पर यह दौड़ सुबह 7 बजे से 10 बजे के बीच आधे घंटे के लिए आयोजित की जाएगी। यह दौड़ हर जिले में संबंधित थानों या पुलिस मुख्यालयों से लगभग एक से डेढ़ किलोमीटर की दूरी तक होगी।

प्रतिभागियों के हाथों में तिरंगा झंडा लहराएगा और वे देशभक्ति के नारों के साथ आगे बढ़ेंगे, जिससे एक विशेष रूप से प्रेरणादायक और देशभक्तिपूर्ण माहौल बनेगा। राजधानी लखनऊ में, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इस दौड़ को हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे। पुलिस और प्रशासन द्वारा पूरे मार्ग पर सुरक्षा व्यवस्था, बैरिकेडिंग और आवश्यक दिशा-संकेतकों के व्यापक इंतज़ाम किए गए हैं ताकि यह आयोजन सुचारू रूप से संपन्न हो सके।

​दौड़ का उद्देश्य- राष्ट्रीय एकता और अखंडता को सुदृढ़ करना
​'रन फॉर यूनिटी' केवल एक शारीरिक गतिविधि या दौड़ मात्र नहीं है, बल्कि यह सरदार पटेल के 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' के सपने को साकार करने का एक आंदोलन है। सरदार वल्लभभाई पटेल ने स्वतंत्रता के बाद 560 से अधिक रियासतों को भारतीय संघ में एकीकृत करके देश की वर्तमान भौगोलिक और राजनीतिक एकता की नींव रखी थी। यह दौड़ उन्हीं के अविस्मरणीय योगदान को श्रद्धांजलि अर्पित करने का माध्यम है।
​इस दौड़ के माध्यम से, युवाओं और आम नागरिकों को यह संदेश दिया जा रहा है कि देश की एकता और अखंडता को बनाए रखना हर नागरिक का कर्तव्य है। यह कार्यक्रम सांप्रदायिक सौहार्द, राष्ट्रीय समरसता और देश के प्रति समर्पण की भावना को मजबूत करता है।
विभिन्न क्षेत्रों के गणमान्य व्यक्ति, खेल हस्तियां और सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर भी लोगों से इस दौड़ में शामिल होने की अपील कर रहे हैं, इसे एक खेल नहीं बल्कि एकता का एक शक्तिशाली संदेश बता रहे हैं। विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों में भी इस अवसर पर निबंध, वाद-विवाद और प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जा रहा है ताकि युवा पीढ़ी को लौह पुरुष के आदर्शों से जोड़ा जा सके।
​प्रदेशव्यापी तैयारी और राजनीतिक महत्व
​इस वर्ष, सरदार पटेल की 150वीं जयंती के अवसर पर यह कार्यक्रम पहले से कहीं अधिक भव्य और विस्तृत पैमाने पर आयोजित किया जा रहा है। भाजपा, विशेष रूप से, इस आयोजन को एक बड़े राजनीतिक और सामाजिक कार्यक्रम में बदल रही है, जिसमें बूथ स्तर तक के कार्यकर्ताओं की भागीदारी सुनिश्चित की गई है।
लखनऊ में GPO के पास स्थित सरदार वल्लभभाई पटेल की प्रतिमा के आसपास विशेष साफ-सफाई और रंग-रोगन का काम कराया गया है।
​इस बड़े पैमाने के आयोजन से स्पष्ट है कि यह केवल एक स्मरणोत्सव नहीं है, बल्कि यह राजनीतिक और सामाजिक स्तर पर एकता के संदेश को सुदृढ़ करने का एक प्रयास है। यह दौड़ विभिन्न समुदायों और वर्गों के लोगों को एक साझा उद्देश्य के लिए एकजुट होने का अवसर प्रदान करती है, जिससे राष्ट्रीय भावना का संचार होता है।
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