आगरा में रफ्तार का कहर: मां-बेटे समेत 5 लोगों की दर्दनाक मौत, बेकाबू एसयूवी ने रौंदी जिंदगियां

स्थानीय लोगों के के मुताबिक, कार की रफ्तार 120 किलोमीटर प्रति घंटा के आसपास थी।
आगरा : उत्तर प्रदेश के आगरा में शुक्रवार देर रात रफ्तार के कहर ने पांच परिवारों का रोशनी छीन लिया। न्यू आगरा थाना क्षेत्र के नगला बूढ़ी इलाके में एक बेकाबू टाटा नेक्सॉन एसयूवी ने सड़क किनारे बैठे और खड़े सात लोगों को कुचल दिया। इस भीषण हादसे में एक मां और बेटे समेत पांच लोगों की दर्दनाक मौत हो गई, जबकि दो अन्य गंभीर रूप से घायल हुए हैं। घटना से पूरे इलाके में शोक की लहर दौड़ गई है और आक्रोशित स्थानीय लोगों ने घटना स्थल पर जमकर हंगामा किया।
भीषण दुर्घटना और मृतकों की पहचान
दुर्घटना शुक्रवार रात करीब 8:35 बजे हुई। जानकारी के अनुसार, तेज रफ्तार एसयूवी चला रहे ड्राइवर ने वाहन पर से नियंत्रण खो दिया। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, कार की रफ्तार 120 किलोमीटर प्रति घंटा के आसपास थी। बेकाबू कार ने पहले एक बाइक सवार डिलीवरी बॉय को टक्कर मारी। इसके बाद वह डिवाइडर से टकराई और सड़क किनारे घर के बाहर बैठे लोगों को रौंदते हुए आगे बढ़ गई।
हादसे में जान गंवाने वालों में एक मां और बेटा भी शामिल हैं, जो कपड़े खरीदने के लिए निकले थे। मृतकों की पहचान 33 वर्षीय बबली , 25 वर्षीय भानु प्रताप, 23 वर्षीय कमल 20 वर्षीय कृष्ण, और 21 वर्षीय बंतेश के रूप में हुई है। सभी घायलों को तुरंत एसएन मेडिकल कॉलेज ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने पांचो को मृत घोषित कर दिया। हादसे में घायल हुए दो अन्य लोगों, राहुल और गोलू, का उपचार जारी है।
आक्रोशित भीड़, ड्राइवर की गिरफ्तारी और प्रशासनिक कार्रवाई
दर्दनाक हादसे के तुरंत बाद घटनास्थल पर मौजूद लोगों में गहरा आक्रोश फैल गया। लोगों ने दुर्घटनाग्रस्त कार को घेर लिया और कार चला रहे व्यक्ति को बाहर निकालकर उसकी जमकर पिटाई की। सूचना मिलते ही पुलिस बल मौके पर पहुंचा और स्थिति को नियंत्रित किया। पुलिस ने आरोपी चालक को तुरंत हिरासत में ले लिया है और दुर्घटना में शामिल एसयूवी को जब्त कर लिया गया है।
पुलिस के मुताबिक मृतकों के परिजनों के अनुरोध पर संबंधित थाने में मामला दर्ज कर लिया गया है। पुलिस अब यह सुनिश्चित करने के लिए जांच कर रही है कि ड्राइवर नशे में था या नहीं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी इस दुखद हादसे पर गहरा शोक व्यक्त किया है और प्रशासनिक अधिकारियों को घायलों के समुचित इलाज और पीड़ित परिवारों को हर संभव सहायता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।
