आतंकी साजिश नाकाम: गुजरात ATS की गिरफ्त में UP के दो युवक, लखनऊ, दिल्ली और अहमदाबाद में हमले की थी तैयारी!

एटीएस के अनुसार युवकों ने बताया कि उन्होंने लखनऊ, दिल्ली और अहमदाबाद सहित कई स्थानों की रेकी की थी।
शामली: गुजरात एंटी-टेररिस्ट स्क्वॉड ने देश के कई शहरों में आतंकी हमलों की साजिश रचने के आरोप में तीन संदिग्धों को गिरफ्तार किया है, जिनमें उत्तर प्रदेश के दो युवक शामिल हैं।
इनमें से एक युवक शामली जिले के झिंझाना कस्बे का रहने वाला आज़ाद सुलेमान शेख है, जबकि दूसरा लखीमपुर खीरी का मोहम्मद सुहैल सलीम खान है। ATS की जांच में सामने आया है कि इस गिरोह को पाकिस्तान और अफगानिस्तान से जुड़े हैंडलर निर्देश दे रहे थे।
पाकिस्तान से ड्रोन के जरिए हथियार लेने की बात कबूली
गुजरात एटीएस ने सबसे पहले हैदराबाद के डॉक्टर अहमद मोहियुद्दीन सैयद को अहमदाबाद-मेहसाणा रोड से गिरफ्तार किया था। उसकी निशानदेही पर ही शामली के आज़ाद शेख और लखीमपुर खीरी के मोहम्मद सुहैल को बनासकांठा से पकड़ा गया।
गिरफ्तार आरोपियों ने अफगानिस्तान स्थित एक हैंडलर जिसका संबंध इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रोविंस (ISKP) से है, उसके साथ-साथ पाकिस्तान स्थित हैंडलरों से संपर्क में होने की बात स्वीकार की है। आरोपियों ने यह भी खुलासा किया है कि वे सीमावर्ती इलाकों से ड्रोन के जरिए पाकिस्तान स्थित हैंडलरों से हथियार प्राप्त कर रहे थे।
दिल्ली, लखनऊ और अहमदाबाद में की गई थी रेकी
एटीएस के अनुसार, गिरफ्तार युवकों का समूह देश के प्रमुख शहरों में आतंकी हमले करने की साजिश रच रहा था। युवकों ने पूछताछ में स्वीकार किया है कि उन्होंने लखनऊ, दिल्ली और अहमदाबाद सहित कई संवेदनशील स्थानों की रेकी की थी।
रेकी के दौरान उन्होंने रणनीतिक क्षेत्रों की तस्वीरें लीं और हमले के लिए लॉजिस्टिक विवरण जुटाए। एटीएस ने इनके पास से हथियार और जहरीले प्रीकर्सर बरामद किए हैं।
बुढ़ाना के मदरसे से कारी बना था आज़ाद शेख
शामली का रहने वाला आज़ाद शेख कस्बा झिंझाना के मोहल्ला शेखा मैदान का निवासी है। आज़ाद ने मुजफ्फरनगर के बुढ़ाना स्थित एक मदरसे से 'कारी' की दीनी तालीम हासिल की थी। उसके पिता सुलेमान शेख और बड़ा भाई राजमिस्त्री का काम करते हैं, और गिरफ्तारी से पहले आज़ाद भी घर पर रहकर राजमिस्त्री के काम में हाथ बंटा रहा था। बताया गया है कि अगस्त महीने में वह दिल्ली मरकज से 40 दिन की जमात में कोलकाता भी गया था।
आज़ाद की गिरफ्तारी के बाद उसके परिजनों ने कहा कि उसका पहले किसी संगठन या आपराधिक गतिविधि से कोई संबंध नहीं रहा और आशंका जताई कि उसे झूठा फंसाया गया है, जिसके लिए परिजनों ने इस मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की है।
यूएपीए एक्ट के तहत दर्ज हुआ मुकदमा और जांच जारी
एटीएस ने तीनों आरोपियों के खिलाफ गुजरात में गैरकानूनी गतिविधियां अधिनियम (UAPA), भारतीय न्याय संहिता (BNS) और शस्त्र अधिनियम (Arms Act) की संबंधित धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया है। अहमद मोहियुद्दीन सैयद को 17 नवंबर तक पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया है, जबकि अन्य से पूछताछ जारी है। शामली पुलिस भी आज़ाद शेख के बैकग्राउंड की गहनता से जांच कर रही है। पुलिस अधीक्षक एनपी सिंह ने बताया कि आज़ाद के खिलाफ पहले से कोई मामला दर्ज नहीं था।
