Bhopal Metro Train Trial: भोपाल में पहली बार रात के समय दौड़ी मेट्रो ट्रेन, सफल ट्रायल को लोगों ने कैमरे में किया कैद

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भोपाल में पहली बार रात के समय दौड़ी मेट्रो ट्रेन
Bhopal Metro Train Trial: भोपाल में पहली बार रात के समय में मेट्रो ट्रेन चलाई गई। ट्रेन का ट्रायल सफल रहने पर लोगों के चेहरे पर खुशी साफ देखी गई।

Bhopal Metro Train Trial: राजधानी भोपाल में पहली बार रात के समय में 80 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से मेट्रो चलाई गई। मेट्रो ट्रेन का ट्रायल सफल रहने पर लोगों के चेहरे पर खुशी साफ देखी गई। इस दौरान शहर के लोगों ने भी इस नजारे को अपने कैमरे में भी कैद कर लिया।

मेट्रो में लगी सभी लाइटें चालू रखी गईं
मेट्रो के ट्रायल अब तक जितनी बार भी यहां किया गया था वह दिन के समय ही हुआ था। इस दौरान मेट्रो में लगी सभी लाइटें ट्रायल के दौरान चालू रखी गईं। मेट्रो में लगे सभी विद्युत उपकरणों की जांच भी कर्मचारी करते दिखाई दिए। भोपाल के रहवासी लंबे समय से मेट्रो ट्रेन के चलने का इंतजार कर रहे हैं। शुक्रवार-शनिवार की दरमियानी रात भोपाल के एमपी नगर के ट्रैक जब मेट्रो दौड़ाई गई तो लोग रोमांचित हो गए। एलिवेटेड कॉरिडोर पर रात करीब 12 बजे लोगों ने चमचमाती मेट्रो को चलते देखा तो उनके चेहरों पर भी खुशियां झलकती रहीं। इस नजारे को कई लोगों ने अपने कैमरे में भी कैद कर लिया।

बिजली उपकरणों, लाइट आदि की जांच की जा सके
मेट्रो प्रबंधन के अनुसार रात में ट्रायल रन इसलिए किया गया ताकि ट्रेन में लगे बिजली उपकरणों, लाइट आदि की जांच की जा सके। बता दें कि इससे पूर्व भी भोपाल में मेट्रो का सफल ट्रायल दिन के समय में हुआ था। तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मेट्रो को हरी झंड़ी दिखाते हुए इसका सफर भी करते दिखे। भोपाल में मेट्रो प्रोजेक्ट के काम में अब और भी तेजी लाई गई है। मेट्रो लाइन में अड़चन आ रहे मार्गों को लेकर भी समीक्षा बैठक पूरी कर ली गई है।

लंबे ऑरेंज मार्ग का निर्माण अभी होगा
भोपाल में मेट्रो परियोजना के प्रथम चरण में ही एम्स से करोंद तक 16.8 किलोमीटर लंबे ऑरेंज मार्ग का निर्माण अभी होगा। एम्स से सुभाष नगर तक काम काफी तेजी से चल रहा है, जबकि प्रथम चरण के दूसरे फेस में सुभाष नगर से करोंद तक काम शुरू होना है। इस फेस में सबसे बड़ी अड़चन आरा मशीनें व अन्य अतिक्रमण हैं, जिन्हें शिफ्टिंग के लिए मेट्रो प्लानिंग के समय से ही जिला प्रशासन को निर्देश दिया जा रहा है।

सुभाष नगर से करोंद तक 14 किलोमीटर का मार्ग एलिवेटेड होगा
इस फेस के लिए मुख्यमंत्री के भूमि पूजन शुरु करने के बाद शिफ्टिंग होनी थी। मेट्रो कंपनी और जिला प्रशासन के साथ ही नगर निमन अधिकारियों ने इस संबंध में समीक्षा बैठक की। इसके अनुसार अगले माह आरा मशीनों की शिफ्टिंग शुरू हो जाएगी। मेट्रो कंपनी के अनुसार सुभाष नगर से करोंद तक 14 किलोमीटर का मार्ग एलिवेटेड होगा। पुल पुख्ता से भारत टॉकीज रोड पर जहां काम शुरू होना है, वहीं आरा मशीनें हैं। आरा मशीन के पास से ही सिंधी कॉलोनी तक का मार्ग भूमिगत होगा। इसके लिए जमीन के 20 मीटर नीचे दो किलोमीटर लंबी टनल बनाई जाएगी। यह टनल आरा मशीनें शिफ्ट होने के बाद ही बन सकेगी।

इसी मार्ग पर कर्व टनल भी बनेगी
भूमिगत मार्ग में 900 मीटर कर्व की टनल भी बनाई जाएगी। सबसे बड़ी टनल सिंधी कालोनी के पास बनेगी। यहां पर भी मौजूद अतिक्रमण जिला प्रशासन को हटाना है। एलिवेटेड रूट से अंडरग्राउंड स्टेशन में प्रवेश के लिए 35 डिग्री से मेट्रो का प्रवेश होगा। 125 डिग्री के कोण से मेट्रो भूमिगत स्टेशन से बाहर निकल एलिवेटेड रूट पर रवाना होगी।

20 फीट गहराई पर बनेगी सुरंग
आरा मशीनें हटने के बाद ही भूमिगत मेट्रो ट्रैक तैयार करने के लिए ट्विन टनल बोरिंग मशीन का उपयोग किया जाएगा। यह मशीन जमीन में 20 फीट गहराई पर सुरंग बनाती जाएगी और सीमेंट कंक्रीट के सेगमेंट डालती जाएगी। मशीन कैप्सूल आगे बढ़ता जाएगा। अधिकारियों का दावा है कि सुरंग खोदने के दौरान धरातल पर मौजूद इमारतों में रहने वाले लोगों को निर्माण कार्य चलने का अहसास भी नहीं होगा।

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