मलेरिया उन्मूलन कार्यक्रम: EMBED ने मनाया 10 साल की सफलता का जश्न; 3047 गांव मलेरिया मुक्त

मध्य प्रदेश में EMBED की 10 साल की सफलता, 3,047 गांव मलेरिया मुक्त.
मधुरिमा राजपाल, भोपाल। भारत ने 2030 तक मलेरिया उन्मूलन का लक्ष्य रखा है, और मध्य प्रदेश इस दिशा में ईएमबीईडी (एलिमिनेशन ऑफ मॉस्किटो बोर्न इंडिमिक डिजीजेज) के साथ नेतृत्व कर रहा है। यह एक सार्वजनिक-निजी पहल है, जिसे राज्य सरकार द्वारा गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (जीसीपीएल) और फैमिली हेल्थ इंडिया (एफएचआई) के सहयोग से 2015 में शुरू किया गया था।
पिछले वर्षों में इस कार्यक्रम ने राज्य को राष्ट्रीय मलेरिया उन्मूलन फ्रेमवर्क में उच्च मलेरिया संचरण (श्रेणी 3) से कम संचरण (श्रेणी 1) की ओर बढ़ने में मदद की है। अब तक 3,047 से अधिक गांव और बस्तियां मलेरिया मुक्त हो चुकी हैं।
इस उपलब्धि के उपलक्ष्य में आयोजित कार्यक्रम में डॉ. हिमांशु जायसवार, उप संचालक स्वास्थ्य सेवाएं, सुधीर सितापती, एमडी और सीईओ, गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड, और पकजन दस्तूर, हेड, सस्टेनेबिलिटी एंड सीएसआर, गोदरेज इंडस्ट्रीज ग्रुप, सहित अन्य गणमान्य व्यक्तियों और सभी अग्रिम पंक्ति के योगदानकर्ताओं की उपस्थिति थी।
कार्यक्रम में फैमिली हेल्थ इंडिया से जुड़े एनजीओ, शिक्षकों और आशा कार्यकर्ताओं को सम्मानित भी किया गया, जिन्होंने दूरस्थ जंगलों और गांवों तक पहुंचकर परिवारों को रोग मुक्त जीवन जीने के लिए जागरूक किया।
कम्युनिटी हेल्थ वॉलंटियर ऐप और सप्लाई चेन ऐप लांच
ईएमबीईडी कार्यक्रम के दस वर्षों की उपलब्धियों को आगे बढ़ाते हुए, मध्य प्रदेश के स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग ने गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स के सहयोग से एक तकनीक आधारित नई पहल शुरू की है। इस पहल के अंतर्गत दो अत्याधुनिक डिजिटल प्लेटफॉर्म लॉन्च किए गए हैं- कम्युनिटी हेल्थ वॉलंटियर ऐप और सप्लाई चेन ऐप, जिनका उद्देश्य मलेरिया उन्मूलन की प्रक्रिया को तेज, सटीक और अधिक प्रभावी बनाना है।
कम्युनिटी हेल्थ वॉलंटियर ऐप स्थानीय स्वास्थ्यकर्मियों और स्वयंसेवकों को लार्वा व बुखार के सर्वेक्षण को डिजिटल रूप से करने में सक्षम बनाता है। यह ऐप रीयल-टाइम डेटा कैप्चर, डैशबोर्ड, जियो-ट्रैकिंग और ऑटोमैटेड रिमाइंडर जैसी उन्नत सुविधाओं से लैस है, जो हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं में उपलब्ध हैं।
सार्वजनिक-निजी भागीदारी से कैसे राष्ट्रीय चुनौती से निपटा जा सकता है? इस सवाल पर डॉ. हिमांशु जायसवार ने कहा कि जीसीपीएल द्वारा समर्थित मध्य प्रदेश का मलेरिया कार्यक्रम यह दर्शाता है कि सार्वजनिक-निजी भागीदारी का समग्र दृष्टिकोण एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय चुनौती से कैसे निपट सकता है।
निगरानी को मजबूत करके, आशा कार्यकर्ताओं को सशक्त बनाकर और जागरूकता बढ़ाकर, हमने मलेरिया में तेजी से गिरावट और मजबूत सामुदायिक स्वामित्व देखा है।
