मोहन सरकार का बड़ा एक्शन: बिना भवन और स्टाफ वाले 42 कॉलेजों की मान्यता रद्द

बिना भवन और स्टाफ वाले 42 कॉलेजों की मान्यता रद्द
MP News: ग्वालियर-चंबल अंचल में शिक्षा के नाम पर चल रही लापरवाही और फर्जीवाड़े पर उच्च शिक्षा विभाग ने बड़ी कार्रवाई की है। जीवाजी यूनिवर्सिटी से एफिलिएटेड 42 कॉलेजों की मान्यता रद्द कर दी गई है। ये कॉलेज न तो तय मानकों पर खरे उतरे और न ही इनके पास स्थायी भवन या पर्याप्त शिक्षकों की व्यवस्था थी।
जांच में खुलासा हुआ कि कई कॉलेज सिर्फ कागजों पर ही अस्तित्व में हैं, जबकि असल में वे किराए के मकानों में या बिना किसी मान्यता के चल रहे थे। विभाग ने अप्रैल से जून 2025 तक तीन महीने लंबी जांच करवाई, जिसमें 13 जांच समितियों और 26 सदस्यों को शामिल किया गया।
45 कॉलेजों की जांच, 19 में मिलीं गंभीर अनियमितताएं
साइंस कॉलेज, ग्वालियर के प्राचार्य डॉ. वीपीएस जादौन के नेतृत्व में की गई इस व्यापक जांच में पाया गया कि कई कॉलेजों के पास भूमि के दस्तावेज अधूरे थे, कुछ ने निर्माण अनुमति या डायवर्जन सर्टिफिकेट तक जमा नहीं किए थे। कई संस्थानों को पहले अस्थायी मान्यता दी गई थी, लेकिन वे आवश्यक शर्तें पूरी करने में नाकाम रहे।
11 और कॉलेजों की मान्यता खत्म
हाल ही में जारी लिस्ट में 12 कॉलेजों की समीक्षा की गई, जिनमें से 11 की मान्यता आगामी सत्र 2025-26 से खत्म कर दी गई है। केवल जय श्रीकृष्णा कॉलेज, महाराजपुर (मुरैना) को ही अपवाद रूप में मान्यता दी गई है। बाकी कॉलेजों के सभी कोर्स अमान्य घोषित कर दिए गए हैं।
रिपोर्ट यूनिवर्सिटी को सौंपी गई
उच्च शिक्षा विभाग के अतिरिक्त संचालक ने बताया कि सभी कॉलेजों का फिजिकल वेरिफिकेशन लीड कॉलेज के माध्यम से कराया गया। मानकों का पालन न करने वाले कॉलेजों को यूनिवर्सिटी की संबद्धता सूची से बाहर कर दिया गया है। अब यह पूरी रिपोर्ट जीवाजी यूनिवर्सिटी को सौंप दी गई है, जहां से अंतिम निर्णय लिया जाएगा।