हरियाणा : प्ले-वे स्कूलों को अब 45 दिन में मिलेगी सरकारी मान्यता, हर साल होगा नवीनीकरण

हरियाणा सरकार ने निजी प्ले-वे स्कूलों को मान्यता देने की प्रक्रिया को सुगम और समयबद्ध कर दिया है। महिला एवं बाल विकास विभाग की इस महत्वपूर्ण सेवा को अब हरियाणा सेवा का अधिकार अधिनियम, 2014 के तहत लाया गया है। इसके तहत, निजी प्ले-वे स्कूलों को मान्यता प्रदान करने के लिए अधिकतम 45 दिन की समय सीमा निर्धारित की गई है।
मान्यता का नवीनीकरण 30 दिन में, जिला कार्यक्रम अधिकारी होंगे नामित अधिकारी
मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी द्वारा जारी अधिसूचना के अनुसार, एक बार मान्यता मिलने के बाद, इसका नवीनीकरण हर साल कराना अनिवार्य होगा। नवीनीकरण की प्रक्रिया को भी सरकार ने समयबद्ध करते हुए 30 दिन की सीमा तय की है। इन दोनों सेवाओं के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए जिला कार्यक्रम अधिकारी को नामित अधिकारी बनाया गया है।
शिकायत निवारण के लिए त्रि-स्तरीय व्यवस्था, एनसीपीसीआर गाइडलाइन का पालन जरूरी
यदि मान्यता या नवीनीकरण की प्रक्रियामुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी। में कोई शिकायत होती है, तो उसके निवारण के लिए सरकार ने त्रि-स्तरीय व्यवस्था की है। महानिदेशक-निदेशक को प्रथम शिकायत निवारण अधिकारी, जबकि विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव-प्रधान सचिव, आयुक्त एवं सचिव को द्वितीय शिकायत निवारण अधिकारी बनाया गया है। इसके अलावा, हरियाणा में प्ले स्कूलों को मान्यता प्राप्त करने के लिए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) की गाइडलाइन का पालन करना अनिवार्य होगा।
प्ले स्कूल संचालन के लिए जरूरी नियम और शर्तें
एनसीपीसीआर की गाइडलाइन के अनुसार, हरियाणा में प्ले स्कूलों को हर साल अपनी मान्यता का नवीनीकरण कराना होगा। स्कूलों में बच्चों की आयु सीमा 3 से 6 वर्ष के बीच होनी चाहिए। इसके अतिरिक्त, प्रति 20 बच्चों पर कम से कम एक शिक्षक और एक केयर टेकर की नियुक्ति आवश्यक है। लड़के और लड़कियों के लिए अलग-अलग शौचालय, प्ले ग्राउंड और पूरे परिसर में सीसीटीवी कैमरे लगाना भी अनिवार्य है।
मान्यता के लिए ऑनलाइन आवेदन और निरीक्षण, RTE के तहत 25% सीटें आरक्षित
प्ले स्कूलों को मान्यता प्राप्त करने के लिए ऑनलाइन आवेदन करना होगा, जिसके बाद सरकारी टीम द्वारा स्कूलों का निरीक्षण किया जाएगा। स्कूलों के पास सुरक्षित भवन और फायर सेफ्टी के पर्याप्त इंतजाम होने चाहिए। लाइब्रेरी में बच्चों के लिए ऑडियो-वीडियो सामग्री उपलब्ध होनी चाहिए, और बच्चों व स्टाफ का रिकॉर्ड नियमित रूप से अपडेट रखना होगा।
सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि हरियाणा में प्राइवेट स्कूलों को मान्यता प्राप्त करने के लिए शिक्षा का अधिकार (RTE) अधिनियम, 2009 के तहत आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के बच्चों के लिए 25% सीटें आरक्षित रखनी होंगी। साथ ही, स्कूलों को RTE के सभी नियमों और विनियमों का पालन सुनिश्चित करना होगा, जिसमें छात्रों के लिए पानी और शौचालय की उचित व्यवस्था शामिल है।
